Rajasthan Assembly Budget Session: राजस्थान विधानसभा के बजट सत्र में जिलों को समाप्त करने के मुद्दे पर गुरुवार को कांग्रेस ने सरकार को जमकर घेरा।
Rajasthan Assembly Budget Session: राजस्थान विधानसभा के बजट सत्र में जिलों को समाप्त करने के मुद्दे पर गुरुवार को कांग्रेस ने सरकार को जमकर घेरा। कांग्रेस विधायकों ने सदन के अंदर और बाहर जमकर विरोध प्रदर्शन किया और सरकार पर राजनीतिक आधार पर जिलों को खत्म करने का आरोप लगाया।
शून्यकाल के दौरान कांग्रेस विधायकों सुरेश मोदी और रामकेश मीणा ने स्थगन प्रस्ताव लाकर नीमकाथाना और गंगापुर सिटी जिलों को समाप्त करने पर सवाल उठाए।
इस दौरान सुरेश मोदी ने सरकार पर पिक एंड चूज की नीति अपनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि पंवार कमेटी ने कई जिलों का दौरा किया, लेकिन नीमकाथाना को पूरी तरह नजरअंदाज किया गया। यह फैसला पूर्वाग्रह से प्रेरित था और सरकार ने पहले से ही तय कर रखा था कि किन जिलों को खत्म करना है।
वहीं, कांग्रेस विधायकों के सवालों का जब विधि और संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल ने जवाब दिया तो नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने पलटवार करते हुए सरकार से तथ्यों के साथ जवाब देने की मांग की। टीकाराम जूली ने कहा कि भाषण नहीं, हमें जवाब चाहिए! सरकार बताए कि किस जिले को किस आधार पर खत्म किया गया? हम यहां भाषण सुनने नहीं आए, बल्कि तथ्यों पर आधारित रिपोर्ट चाहते हैं।
विधानसभा की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक स्थगित होने के बाद कांग्रेस विधायकों ने सदन के बाहर नारेबाजी की। इसके बाद नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर सरकार से जिलों के गठन और निरस्तीकरण पर सवाल उठाए। टीकाराम जूली ने कहा कि अगर सरकार जनसंख्या के आधार पर जिले बना और खत्म कर रही है, तो डीग-भरतपुर, अलवर-खेरथल और सांचौर-जालौर की दूरी का हिसाब दें। साथ ही, सलूंबर, नीमकाथाना और गंगापुर सिटी की जनसंख्या का आंकड़ा भी सार्वजनिक किया जाए।
कांग्रेस के आरोपों का जवाब देते हुए विधि और संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल ने कहा कि राजस्थान में जिलों के गठन और निरस्तीकरण का अधिकार सरकार के पास है। भौगोलिक परिस्थितियां, प्रशासनिक संरचना, जनभावना, पिछड़ापन, आधारभूत सुविधाएं और कानून-व्यवस्था को ध्यान में रखकर यह निर्णय लिया गया है।
मंत्री जोगाराम पटेल ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि कांग्रेस ने अपने लंबे शासनकाल में केवल एक जिला बनाया था, जबकि राजस्थान में अब तक बने सभी जिले बीजेपी सरकार ने बनाए हैं। कांग्रेस ने केवल राजनीतिक लाभ के लिए एक साथ कई जिले बना दिए थे।
बताते चलें कि जिलों के गठन और समाप्ति के मुद्दे पर सरकार और विपक्ष के बीच तकरार लगातार बढ़ रही है। कांग्रेस इस फैसले को जनविरोधी बता रही है, जबकि सरकार इसे प्रशासनिक मजबूती और सुशासन का कदम करार दे रही है।