Rajasthan Electricity Theft : राजस्थान के बॉर्डर गांवों में जुगाड़ तकनीक से बिजली चोरी हो रही है। सिंगल फेस बिजली को थ्री फेस में बदलने की यह तकनीक जहां किसानों को राहत दे रही है, वहीं बिजली चोरी और लाइन ट्रिपिंग की समस्या को भी बढ़ा रही है।
Rajasthan Electricity Theft : हरियाणा की सीमा से सटे राजस्थान के गांवों में रबी की फसल के साथ जुगाड़ तकनीक की फसल भी पनप रही है। खेतों में छिपाकर लगाए जा रहे अवैध ट्रांसफार्मर (कैपेसिटर) अजमेर विद्युत वितरण निगम के लिए सिरदर्द बन चुके हैं। सिंगल फेस बिजली को थ्री फेस में बदलने की यह तकनीक जहां किसानों को राहत दे रही है, वहीं बिजली चोरी और लाइन ट्रिपिंग की समस्या को भी बढ़ा रही है।
विद्युत निगम किसानों को रबी सीजन में करीब पांच से छह घंटे थ्री फेस बिजली देता है, जो फसल सिंचाई के लिए पर्याप्त नहीं है। ऐसे में सीमावर्ती किसानों ने इसका तोड़ निकाल लिया। वे हरियाणा में अवैध रूप से बने जुगाड़ ट्रांसफार्मर लगाकर सिंगल फेस बिजली को थ्री फेस में कन्वर्ट कर रहे हैं।
डीग जिले के मेवात क्षेत्र में ट्रांसफार्मर की तरह 100 किलो का एक उपकरण बनाया है। मेवात में इसे डिम्मा कहा जाता है। यह पूरी तरह से नकली ट्रांसफार्मर होता है। प्रदेश में सर्वाधिक बिजली चोरी वाले जिलों में डीग जिले का पहला स्थान है। पिछले पांच वर्ष से कई गांवों में बिजली चोरी के लिए इनका इस्तेमाल हो रहा है। इसके उपयोग से सिंगल फेस आपूर्ति को भी थ्री फेस आपूर्ति में तब्दील कर दिया जाता है।
किसान खेतों में ट्रांसफार्मर को छिपाकर लगाते हैं। अजमेर विद्युत वितरण निगम को जानकारी मिलने पर पुलिस के सहयोग से छापेमारी कर अवैध ट्रांसफार्मर जब्त किए जाते भी हैं। लेकिन पिछले चार वर्षों में बुहाना एईएन कार्यालय में मात्र 10 प्रकरण ही सामने आ आए हैं।
हरियाणा के सतनाली में ट्रांसफार्मर बनाने वाले से बात करने पर उसने बताया कि एक कैपेसिटर की कीमत पच्चीस हजार रुपए है। एक हजार रुपए कम कर देंगे। फिलहाल सीजन का समय है। डिमांड अधिक है। दो सप्ताह इंतजार करना पड़ेगा। उसके बाद ट्रांसफार्मर (कैपेसिटर) दे देंगे। समय एवं स्थान बता देंगे, वहां लेने आ जाना। दस हजार रुपए एडवांस देने होंगे।
दरअसल हरियाणा के बाढ़ड़ा, सतनाली, लोहारू इलाकों में सिंगल फेस को थ्री फेस में बदलने वाले ट्रांसफार्मर आसानी से मिल जाते हैं। करीब 25 हजार रुपए में तैयार यह कैपेसिटर 11 केवीए सिंगल लाइन से जुड़कर थ्री फेस आउटपुट देता है। किसान इन्हें खेतों में छिपाकर लगाते हैं। इससे बिजली चोरी के साथ ही लाइन ट्रिपिंग बढ़ जाती है और निगम की छीजत भी होती है।
सूचना मिलते ही टीम कार्रवाई करती है। हरियाणा निर्मित ट्रांसफार्मर लगाने वालों पर बिजली चोरी की वीसीआर भरी जाती है और उपकरण जब्त किए जाते हैं। फीडर इंचार्ज व तकनीकी कर्मचारियों को ऐसी गतिविधियों पर नजर रखने के निर्देश दिए हैं।
कृष्ण कुमार, एईएन, अजमेर विद्युत वितरण निगम, बुहाना
मेवात में सर्वाधिक बिजली छीजत हो रही है। 1600 के करीब बिजली चोरी के प्रकरण बनाए हैं। 125 एफआइआर दर्ज कराई गई हैं।
बीएल वर्मा, एसई, जयपुर डिस्कॉम डीग