चालीस साल बाद तैयब को अचानक देखकर परिवार के लोग हैरान रह गए। कुछ क्षण के लिए लोग पहचान भी नहीं पाए, लेकिन जब सच सामने आया तो घर में भावनाओं का ज्वार उमड़ पड़ा। गांव के पुराने लोग अपनी स्मृतियों को साझा करने तैयब के घर पहुंच गए।
कुशीनगर के खड्डा में हैरान करने वाली घटना हुई है, यहां मंगलवार को एक परिवार में उस समय खुशी की लहर दौड़ गई जब दरवाजे पर 45 साल पहले घर छोड़ कर गया व्यक्ति घर के दरवाजे पर खड़ा था। यह व्यक्ति और कोई नहीं बल्कि इस घर का बेटा था जो 15 साल की स्वस्थ में ही बहे चला गया था तबसे उसका कोई सुराग नहीं मिला। दरवाजे पर उसे देखते ही परिवार के लोग हैरान रह गए। वह उनका बेटा तैयब अली था, जो 45 साल पहले घर छोड़कर चला गया था। अब उसकी उम्र लगभग 60 वर्ष हो चुकी है। उसे देखकर परिवार की आंखों में आंसू आ गए और पूरा माहौल भावुक हो गया।
जानकारी के मुताबिक सिसवा गोपाल के सिसही गांव के तैयब अली ने 1980 में, केवल 15 साल की उम्र में घर छोड़ दिया था। घर में परिवार में रोज की किचकिच से परेशान होकर बिना किसी को बताए गांव छोड़ दिया। वक्त इतना लंबा हो गया था कि परिवार के लोग भी अब उसके आने की संभावना खत्म कर दिए थे। तय्यब ने बताया कि पहले वह पंजाब गए, फिर राजस्थान और गुजरात। इसके बाद वह यूपी के शामली में आ गए यही उनकी मुलाकात मैरून नाम की महिला से हुई और दोनों ने शादी कर ली। शादी के बाद दो बच्चे हुए। धीरे-धीरे परिवार बढ़ा और वही परिवार ही उनका सहारा बन गया। बाद में शामली जिले के कांधला शहर में घर किराए पर लेकर रहना शुरू कर दिया।
जब SIR फॉर्म भरने की बात आई तो पिता का दस्तावेज मंगा गया उस समय वहां के निवासी नहीं होने के वजह से कोई प्रमाण नहीं था फिर वापस अपने गांव आने के लिए मजबूर हो गया। हम जैसे बिछड़े हुए लोगों के लिए SIR अच्छा है। इसने हमें हमारे परिवार से मिलवा दिया। घर आने का मन नहीं था, लेकिन SIR ने आने के लिए मजबूर कर दिया। इधर परिवार में भावनाओं का ज्वार बढ़ गया, लोग आंखों में खुशी के आंसू लिए एक दूसरे से गले मिल रहे थे।