Bhumi Pednekar: फिट रहने की चाह में अक्सर लोग ऐसी गलतियां कर बैठते हैं जो शरीर को फायदा नहीं, बल्कि नुकसान पहुंचाती हैं। ऐसे में बॉलीवुड की जानी-मानी एक्ट्रेस भूमि पेडनेकर ने भी महसूस किया और अपनी फिटनेस जर्नी को पूरी तरह बदल दिया। आइए जानते हैं वर्कआउट करते समय किन गलतियों से बचना चाहिए।
Bhumi Pednekar weight loss: फिट और एक्टिव रहने की चाहत आजकल की प्राथमिकता बन गई है, लेकिन इस चाह में कई बार लोग जल्दबाजी में ऐसे फैसले ले लेते हैं, जिससे न सिर्फ शरीर को नुकसान होता है, बल्कि मानसिक तनाव भी बढ़ जाता है। इसी कशमकश से एक वक्त पर जानी-मानी बॉलीवुड एक्ट्रेस भूमि पेडनेकर भी गुज़रीं। अपने करियर की शुरुआत में भूमि ने एक ऐसे किरदार के लिए वजन बढ़ाया था, जो उनके अभिनय के लिए जरूरी था। लेकिन उसके बाद उन्होंने फिट रहने का फैसला किया और शुरुआत में उन्होंने कई ऐसी गलतियां कीं, जो अक्सर लोग कर बैठते हैं। उन्होंने खुद बताया कि उन्होंने क्या-क्या गलतियां कीं। आइए जानते हैं उन आम लेकिन अहम गलतियों के बारे में, जिनसे बचा जा सकता है।
हाल ही में भूमि ने खुलासा किया कि ज़रूरत से ज़्यादा मेहनत ने उनके शरीर को नुकसान पहुंचाया। उन्होंने कहा,
“शुरुआत में मुझे लगता था कि फिट बनने के लिए खुद को खूब थकाना जरूरी है। मैं रोज़ सैकड़ों कैलोरी बर्न करने पर फोकस करती थी। लेकिन इस दौरान मैंने कभी यह नहीं सोचा कि मेरी बॉडी को रिकवरी की भी जरूरत है।”
भूमि का यह अनुभव सिर्फ उनका नहीं है, बल्कि आज के समय में बहुत से लोग इसी स्थिति से गुजर रहे हैं। कुछ समय पहले उन्होंने इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट शेयर की थी, जिसमें उन्होंने लिखा था,
“मैंने भी वही गलती की थी। मुझे लगा कि दर्द के बावजूद एक्सरसाइज करना ताकत की निशानी है, लेकिन वो मेरी बॉडी के लिए खतरनाक साबित हुआ।”
ब्यूटी और वेलनेस एक्सपर्ट वसुंधा राय ने भी अपनी फिटनेस जर्नी साझा की थी। उन्होंने बताया कि वह हफ्ते में 5 दिन भारी वेट ट्रेनिंग करती थीं। शुरुआत में उन्हें लगता था कि यह उनकी स्ट्रेंथ दिखाता है, लेकिन धीरे-धीरे उनके शरीर ने जवाब देना शुरू कर दिया। उन्होंने लिखा"मेरा पेट फूलने लगा, स्किन में सूजन आ गई और मैं अंदर से पूरी तरह तनाव में थी। शरीर कह रहा था कि अब और नहीं।"
UCLA Health के अनुसार, जब शरीर पर अत्यधिक फिजिकल प्रेशर डाला जाता है और उसे रिकवरी का समय नहीं मिलता, तो यह स्थिति ओवरट्रेनिंग सिंड्रोम कहलाती है। इसके नकारात्मक प्रभाव शरीर और मानसिक स्वास्थ्य दोनों पर पड़ सकते हैं। इसके लक्षणों में शामिल हैं:
हॉर्मोनल असंतुलन, जैसे स्ट्रेस हार्मोन कॉर्टिसोल का बढ़ जाना
इम्यून सिस्टम कमजोर होना, जिससे बार-बार बीमार पड़ना
लगातार थकान, एंग्जायटी और नींद की कमी
पाचन से जुड़ी समस्याएं और त्वचा में सूजन या एलर्जी
इतना सब सहने के बाद भूमि ने अपनी फिटनेस सोच को पूरी तरह बदल दिया। अब वह जिम में घंटों बिताने की बजाय, योग, लंबी वॉक और हफ्ते में सिर्फ दो बार स्ट्रेंथ ट्रेनिंग करती हैं।
उनका नया फोकस है: “Healing Over Hustle” – यानी अब वह अपने शरीर की सुनती हैं, उसे आराम देती हैं और खुद के प्रति दयालु रहती हैं। अब उनके लिए फिटनेस सिर्फ शारीरिक मजबूती नहीं, बल्कि मानसिक और भावनात्मक संतुलन का भी प्रतीक है।
वार्म-अप जरूर करें
एक्सरसाइज शुरू करने से पहले हल्के वार्म-अप करें जैसे स्ट्रेचिंग, जॉगिंग या स्पॉट वॉक। इससे मांसपेशियाँ सक्रिय होती हैं और चोट का खतरा कम होता है।
हाइड्रेटेड रहें
वर्कआउट से पहले, दौरान और बाद में पर्याप्त पानी पिएं। पानी की कमी से थकान और चक्कर आ सकते हैं।
सही फॉर्म और पोस्चर अपनाएं
एक्सरसाइज करते समय गलत पोजिशन से मांसपेशियों पर ज़्यादा दबाव पड़ सकता है और इंजरी हो सकती है।
बॉडी को ओवरस्ट्रेस न करें
अपनी लिमिट को पहचानें और जरूरत से ज्यादा न करें। शरीर को धीरे-धीरे ट्रेन करें, अचानक ज़्यादा वजन उठाने से चोट लग सकती है।
ब्रीदिंग पर ध्यान दें
हर एक्सरसाइज के साथ सही तरीके से सांस लेना जरूरी है। गलत ब्रीदिंग से थकान जल्दी आती है।
कूल-डाउन न भूलें
वर्कआउट खत्म करने के बाद शरीर को धीरे-धीरे आराम देने के लिए कूल-डाउन स्ट्रेचिंग करें। इससे मांसपेशियों में दर्द कम होगा।
भरपूर नींद लें
वर्कआउट के बाद बॉडी को रिकवर करने के लिए पर्याप्त नींद जरूरी होती है। यह मांसपेशियों के विकास में मदद करता है।