लखनऊ

Constable Suicide: शादी की खुशियों से पहले बुझ गया घर का चिराग, लखनऊ में सिपाही की आत्महत्या से हर आंख नम

Wedding Preparations Turn Tragic: लखनऊ में एक दर्दनाक घटना ने सभी को झकझोर दिया। शादी की तैयारियों में जुटे आलमबाग थाने में तैनात सिपाही बालकृष्ण ने अचानक आत्महत्या कर ली। कमरे में फंदे से लटका शव मिलने के बाद परिवार, साथी पुलिसकर्मी और पूरा महकमा गहरे सदमे में है।

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Dec 13, 2025
लखनऊ में शादी की तैयारियों के बीच दर्दनाक हादसा: सिपाही बालकृष्ण ने की आत्महत्या, पुलिस महकमे में शोक की लहर (फोटो सोर्स : Police Media Cell )

Constable Suicide Lucknow: राजधानी लखनऊ से एक बेहद दुखद और झकझोर देने वाली घटना सामने आई है। शादी की तैयारियों में जुटे आलमबाग थाने में तैनात सिपाही बालकृष्ण ने अचानक आत्महत्या कर ली। शुक्रवार को पूरे दिन फोन बंद रहने के बाद जब परिजनों को अनहोनी की आशंका हुई, तो सच्चाई सामने आई। कमरे के भीतर पंखे से फंदे के सहारे लटका बालकृष्ण का शव मिलने से परिवार, साथी सिपाही और पुलिस विभाग गहरे सदमे में हैं।

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बरहा कॉलोनी में मिला शव, कमरे का दरवाजा था अंदर से बंद

यह घटना आलमबाग थाना क्षेत्र की भीमनगर स्थित बरहा कॉलोनी की है, जहां सिपाही बालकृष्ण अपने साथी सिपाही विनोद के साथ किराए के कमरे में रहता था। शुक्रवार को बालकृष्ण की नाइट ड्यूटी नहीं थी, इसलिए वह दिनभर कमरे पर ही था। परिजनों के अनुसार शुक्रवार दोपहर से ही वे बालकृष्ण को लगातार फोन कर रहे थे, लेकिन उसका मोबाइल फोन बंद आ रहा था। पहले तो उन्होंने इसे सामान्य समझा, लेकिन देर शाम तक संपर्क न होने पर उन्होंने उसके रूममेट विनोद को फोन किया।

रूममेट ने खोला दरवाजा, सामने आई भयावह सच्चाई

रूममेट विनोद ने बताया कि वह रात करीब 8 बजे ड्यूटी खत्म कर कमरे पर पहुंचा। कमरे का दरवाजा अंदर से बंद था। काफी देर तक आवाज देने के बावजूद जब अंदर से कोई जवाब नहीं मिला, तो उसने दरवाजा धक्का देकर खोला। दरवाजा खुलते ही जो दृश्य सामने आया, उसने उसे सन्न कर दिया। कमरे के भीतर रस्सी के सहारे पंखे से बालकृष्ण का शव लटका हुआ था। यह देखते ही उसने तुरंत आलमबाग थाने में अपने वरिष्ठ अधिकारियों और सहकर्मियों को सूचना दी।

मौके पर पहुंची पुलिस और फोरेंसिक टीम

सूचना मिलते ही आलमबाग पुलिस मौके पर पहुंची। शव को फंदे से उतारकर पंचनामा भरने के बाद पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया। साथ ही घटना की गंभीरता को देखते हुए फोरेंसिक टीम को भी बुलाया गया। फोरेंसिक टीम ने कमरे की गहन जांच की और मृतक सिपाही का मोबाइल फोन समेत अन्य निजी सामान अपने कब्जे में ले लिया है, ताकि आत्महत्या के कारणों का पता लगाया जा सके। पुलिस को मौके से कोई सुसाइड नोट बरामद नहीं हुआ है।

फरवरी में होनी थी शादी, चल रही थी तैयारियां

मृतक सिपाही बालकृष्ण के बारे में उसके साथी बताते हैं कि उसकी फरवरी में शादी तय थी। घर में शादी की तैयारियां चल रही थीं। वह अक्सर अपने साथियों से शादी की योजनाओं के बारे में बात करता था,कहां खरीदारी करनी है, किसे निमंत्रण देना है, शादी के बाद की जिम्मेदारियां क्या होंगी। साथी सिपाहियों के मुताबिक, बालकृष्ण भविष्य को लेकर काफी उत्साहित था और किसी तरह की परेशानी या तनाव का उसने कभी जिक्र नहीं किया।

2023 में हुई थी आलमबाग थाने में तैनाती

आलमबाग थाना प्रभारी इंस्पेक्टर सुभाष चंद्र सरोज ने बताया कि सिपाही बालकृष्ण की 2023 में आलमबाग थाने में तैनाती हुई थी। इससे पहले वह गोमतीनगर थाने में सेवाएं दे चुका था। उन्होंने बताया कि घटना की जानकारी मृतक के परिजनों को दे दी गई है और पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल मामले की जांच हर पहलू से की जा रही है।

मकान मालिक ने भी जताया दुख

जिस मकान में बालकृष्ण रह रहा था, वह राकेश कुमार सिंह का दो मंजिला मकान है। उन्होंने बताया कि दोनों सिपाही काफी समय से यहां किराए पर रह रहे थे। बालकृष्ण शांत स्वभाव का था और किसी से कोई विवाद नहीं करता था। घटना से वे भी बेहद दुखी हैं।

मिलनसार और शांत स्वभाव का था बालकृष्ण

बालकृष्ण के सहकर्मियों ने बताया कि वह बेहद मिलनसार, शांत और अनुशासित सिपाही था। कभी ऊंची आवाज में बात नहीं करता था। ड्यूटी के प्रति ईमानदार था और वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देशों का पालन करता था। एक साथी ने कहा कि हमें यकीन ही नहीं हो रहा कि बालकृष्ण ऐसा कदम उठा सकता है। वह रोज परिवार से बात करता था, शादी को लेकर खुश था। कोई अंदाजा नहीं था कि वह अंदर ही अंदर किसी परेशानी से जूझ रहा है।

पुलिस महकमे में शोक की लहर

घटना की खबर फैलते ही आलमबाग थाना परिसर और पुलिस विभाग में शोक की लहर दौड़ गई। साथी सिपाही, अधिकारी और जान-पहचान वाले लोग स्तब्ध नजर आए। हर कोई यही सवाल करता दिखा कि आखिर ऐसा क्या हुआ कि एक खुशमिजाज, शादी की तैयारी कर रहा जवान सिपाही इस हद तक टूट गया।

मानसिक स्वास्थ्य पर फिर उठे सवाल

इस घटना ने एक बार फिर पुलिसकर्मियों के मानसिक स्वास्थ्य और कार्य दबाव को लेकर सवाल खड़े कर दिए हैं। लंबी ड्यूटी, पारिवारिक जिम्मेदारियां और व्यक्तिगत तनाव कई बार जवानों को भीतर ही भीतर तोड़ देते हैं, जिसकी भनक किसी को नहीं लगती। विशेषज्ञों का मानना है कि पुलिसकर्मियों के लिए नियमित काउंसलिंग और मानसिक स्वास्थ्य सहायता बेहद जरूरी है, ताकि समय रहते ऐसे संकेतों को पहचाना जा सके।

जांच जारी, पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट का इंतजार

फिलहाल आलमबाग पुलिस पूरे मामले की जांच कर रही है। मोबाइल फोन और कॉल डिटेल्स की जांच की जा रही है, ताकि यह पता लगाया जा सके कि आत्महत्या से पहले बालकृष्ण ने किससे बात की थी या किसी प्रकार का मानसिक दबाव तो नहीं था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों को लेकर स्थिति पूरी तरह स्पष्ट हो पाएगी।

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