Meerut News: मेरठ में ड्रग तस्करी के खिलाफ कार्रवाई के दौरान पुलिस को तस्लीम के घर से 100 मीटर लंबी गुप्त सुरंग मिली, जिसका इस्तेमाल पुलिस से बचने और फरार होने के लिए किया जाता था। तस्कर का बेटा और उसका साथी 530 ग्राम चरस के साथ गिरफ्तार किए गए हैं, जबकि मुख्य आरोपी फरार है।
Meerut Drug Smuggler: मेरठ में ड्रग तस्करी के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए पुलिस ने काशी टोल प्लाजा से कुख्यात ड्रग तस्कर तस्लीम के बेटे शाहबाज और उसके साथी सलमान को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने उनकी एसयूवी से 530 ग्राम चरस बरामद की है। लंबे समय से निगरानी में चल रहे शाहबाज को पुलिस ने चेकिंग के दौरान पहचान लिया और घेराबंदी कर तलाशी ली।
गिरफ्तारी के बाद शाहबाज की निशानदेही पर पुलिस ने रेलवे रोड स्थित मछेरान इलाके में तस्लीम के घर पर छापा मारा। तलाशी के दौरान घर के अंदर एक गुप्त तहखाना मिला, जिसे बेहद चालाकी से छिपाया गया था। इसी तहखाने से जुड़ा एक ऐसा रास्ता सामने आया, जिसने पुलिस को भी हैरान कर दिया।
छानबीन के दौरान पुलिस को तहखाने के अंदर एक बंद दरवाजा दिखाई दिया। जब उसे खुलवाया गया, तो वह करीब 100 मीटर दूर एक विवाह मंडप में जाकर खुलता मिला। यह रास्ता जमीन के भीतर नहीं बल्कि ऊपर बनी एक पुरानी आपचक से जुड़ा था, जिसका इस्तेमाल पहले बारिश के पानी और वेंटिलेशन के लिए किया जाता था।
पुलिस के मुताबिक, दबिश की भनक लगते ही ड्रग तस्कर तस्लीम इसी सुरंग के रास्ते फरार हो गया। इसी दौरान इलाके के कुछ लोगों ने पुलिस कार्रवाई का विरोध किया, जिसका फायदा उठाकर तस्कर मौके से निकल भागा। पुलिस का मानना है कि तस्लीम और उसका बेटा शाहबाज लंबे समय से इसी सुरंग का इस्तेमाल कर पुलिस को चकमा देते आ रहे थे।
बुधवार को पुलिस ने पूरे दिन तस्लीम के घर पर डेरा डाले रखा। सुरक्षा के मद्देनज़र घर को खाली कराकर सील कर दिया गया है। पुलिस ने घर के अंदर और आसपास कड़ी निगरानी रखी, ताकि तस्कर दोबारा इस रास्ते का इस्तेमाल न कर सके।
पूछताछ में शाहबाज ने खुलासा किया कि वह अपने पिता तस्लीम और साथी सलमान के साथ मिलकर दिल्ली एनसीआर से चरस लाता था और मेरठ सहित आसपास के कई जिलों में इसकी सप्लाई करता था। क्रिसमस और न्यू ईयर के मौके पर पूरे यूपी में नशे की सप्लाई बढ़ाने की योजना थी।
सुरंग और तहखाने की जानकारी मिलने के बाद खुफिया विभाग की टीम भी मछेरान पहुंची। टीम ने मौके का निरीक्षण किया और पाया कि सुरंग के दोनों सिरों पर लोहे के मजबूत गेट लगाए गए थे, ताकि किसी को शक न हो। यह रास्ता पूरी तरह से पुलिस से बचने के लिए डिजाइन किया गया था।
पुलिस जांच में सामने आया कि यह सुरंग असल में एक पुरानी आपचक थी, जो सरकारी जमीन पर बनी हुई थी। तस्लीम ने अपने घर के नीचे तहखाना बनाकर उसे सीढ़ियों के जरिए इस रास्ते से जोड़ दिया। विशेषज्ञों के अनुसार, इस तरह की आपचक का व्यक्तिगत इस्तेमाल किसी भी स्थिति में वैध नहीं है।
पुलिस का मानना है कि यह मामला सिर्फ तस्लीम और उसके बेटे तक सीमित नहीं है, बल्कि इसके पीछे एक बड़े ड्रग नेटवर्क की भूमिका हो सकती है। तस्लीम की गिरफ्तारी के लिए दबिशें दी जा रही हैं और सुरंग को जल्द ही स्थायी रूप से बंद कराया जाएगा।