पटना

Bihar Politics: RLM में टूट की अटकलों पर ब्रेक? एक फ्रेम में दिखे उपेंद्र कुशवाहा के तीन विधायक, लिखा- हम साथ-साथ…

Bihar Politics: बिहार की राजनीति में राष्ट्रीय लोक मोर्चा के भीतर अनबन की खबरों के बीच विधायक रामेश्वर महतो, माधव आनंद और आलोक सिंह की एकसाथ तस्वीर सामने आई है। यह फोटो रामेश्वर महतो ने अपने फेसबुक अकाउंट पर शेयर की और लिखा कि हम साथ साथ हैं।

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Dec 31, 2025
आलोक सिंह, रमेश्ववर महतो और माधव आनंद (फोटो- rameshwar mahto FB)

Bihar Politics: बिहार की राजनीति में नए साल से ठीक पहले उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी राष्ट्रीय लोक मोर्चा (RLM) के अंदर चल रही राजनीतिक उथल-पुथल अब खत्म होती दिख रही है। पार्टी में फूट की अटकलों और असंतोष की खबरों के बीच RLM के तीनों विधायक एक साथ एक ही फ्रेम में दिखे हैं। हालांकि, यह साफ नहीं है कि यह तस्वीर कब ली गई थी और तीनों विधायक अभी कहां हैं।

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'हम साथ हैं…' रामेश्वर महतो ने पोस्ट किया

RLM विधायक रामेश्वर महतो ने अपने फेसबुक अकाउंट पर एक तस्वीर शेयर की है, जिसमें पार्टी के चार विधायकों में से तीन, रामेश्वर महतो, माधव आनंद और आलोक सिंह एक साथ बैठे दिख रहे हैं। तस्वीर के साथ कैप्शन में लिखा है, “हम सब एकजुट हैं, आज भी साथ हैं और आगे भी साथ रहेंगे। एनडीए की मजबूती और बिहार के सर्वांगीण विकास के संकल्प के साथ, हम साथ-साथ हैं। जय एनडीए।”

इस पोस्ट में #NDA4Bihar, #Bihar और #RLM जैसे हैशटैग का इस्तेमाल किया गया है, जिससे ये संदेश देने की कोशिश है कि तीनों विधायक न सिर्फ पार्टी के अंदर एकजुट हैं, बल्कि NDA के साथ भी मजबूती से खड़े हैं।

कहां से शुरू हुआ विवाद ?

RLM में राजनीतिक खींचतान तब सामने आई जब तीनों विधायक 25 दिसंबर को उपेंद्र कुशवाहा के पटना आवास पर हुई लिट्टी-चोखा पार्टी में शामिल नहीं हुए। इससे यह अटकलें लगने लगीं कि पार्टी के अंदर सब कुछ ठीक नहीं है और विधायकों का असंतोष साफ दिख रहा है। इसी दौरान, तीनों विधायक दिल्ली में बीजेपी के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष नितिन नवीन से मिले, जिससे ये अटकलें और तेज हो गईं।

पहले भी विरोध जता चुके हैं रामेश्वर महतो

RLM विधायक रामेश्वर महतो ने पहले भी मीडिया के सामने अपनी नाराजगी जाहिर की थी। उन्होंने उपेंद्र कुशवाहा के बेटे दीपक प्रकाश को मंत्री बनाए जाने को आत्मघाती फैसला तक कह दिया था। महतो ने कहा था कि ऐसी पार्टी के लिए यह फैसला सवाल खड़े करता है, जिसने हमेशा वंशवाद की राजनीति के खिलाफ अभियान चलाया है। उन्होंने मांग की थी कि बेटे को मंत्री बनाने के बजाय, तीनों विधायकों में से किसी एक को यह जिम्मेदारी दी जानी चाहिए थी।

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Published on:
31 Dec 2025 07:30 pm
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