राजस्थान सरकार ने पिछले 2 साल में रोजगार, शिक्षा के क्षेत्र में तकनीकी विस्तार और स्कूलों के आधारभूत ढांचे को मजबूत करने के लिए कई घोषणाएं कीं, लेकिन अधिकांश योजनाएं अभी धीमी गति से आगे बढ़ रही हैं।
Rajasthan Education Department: राजस्थान की भजनलाल सरकार ने पिछले 2 साल में रोजगार, शिक्षा की गुणवत्ता, तकनीकी विस्तार और स्कूलों के आधारभूत ढांचे को मजबूत करने के लिए कई घोषणाएं कीं। बजट भाषणों में बड़ी योजनाएं नई आइटीआइ, पॉलिटेक्निक कॉलेज, विद्यालयों का अपग्रेडेशन, रोजगार मेले और अटल लैब तक लक्ष्य तय हुए। जमीनी स्तर पर कुछ काम जरूर दिखाई दिया, लेकिन अधिकांश योजनाएं अभी धीमी गति से आगे बढ़ रही हैं।
इन दो वर्षों में 92 हजार से अधिक नौकरियां और भर्ती परीक्षाओं में पारदर्शिता सरकार की उपलब्धियों में रही। हालांकि, निजी क्षेत्र में रोजगार सृजन और शिक्षा सुधार से जुड़ी कई घोषणाएं अब भी अधूरी हैं। युवा नीति 2024 के तहत निजी क्षेत्र में 10 लाख रोजगार और रोजगार नीति 2025 में 500 करोड़ रुपए के 'विवेकानंद रोजगार सहायता कोष' की घोषणा की गई थी, लेकिन लक्ष्य साकार नहीं हो सके हैं।
शिक्षा क्षेत्र में नई संस्थाओं का निर्माण, भवन विहीन कॉलेजों के भवन, लासरूम व लैब विस्तार, विद्यालयों में नई विषय शृंखलाएं और सीसीटीवी जैसी योजनाएं कागजों में सीमित हैं। शिक्षा के टॉप राज्य कर्नाटक से राजस्थान अभी काफी पीछे है। IT जॉब हब के रूप में राज्य की पहचान तो दूर, इसकी ठोस शुरुआत भी नहीं हो पाई है। साक्षरता दर में भी राजस्थान बहुत पीछे है।
तीन साल का रोडमैप
कर्नाटक सबसे मजबूत शिक्षा राज्यों में है। इसके पीछे मजबूत आधारभूत ढांचा, निरंतर निवेश और स्पष्ट नीति है। बेंगलुरु के आइआइएससी, आइआइटी, इंटरनेशनल यूनिवर्सिटीज ने राज्य को राष्ट्रीय पहचान दिलाई। वहीं राजस्थान में ग्रामीण स्कूलों की स्थिति, संसाधनों की कमी और उच्च शिक्षा की गुणवत्ता अब भी बड़ी चुनौती है। राजस्थान की साक्षरता दर में वृद्धि देखी गई है, लेकिन अभी अन्य की तुलना में अभी प्रदेश काफी पीछे है।
एक्सपर्ट राय
शिक्षा में सुधार के लिए बुनियादी ढांचे, शिक्षकों की उपलधता, डिजिटल संसाधनों और रोजगारपरक पाठ्यक्रम पर फोकस करना होगा। उच्च शिक्षा व शोध में निवेश बढ़ाए बिना कर्नाटक मॉडल संभव नहीं है।
-प्रो. दरियाव चुंडावत, पूर्व उपाध्यक्ष, राजस्थान राज्य उच्च शिक्षा परिषद
प्रश्न. दो वर्षों में विभाग की प्रमुख उपलब्धियां या रहीं?
उत्तर: 45,255 कार्मिकों की पदोन्नति हो चुकी है, जबकि 22 हजार प्रक्रियाधीन हैं, जिन्हें 31 मार्च 2026 तक पूरा किया जाएगा। शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति प्रक्रिया को शाला दर्पण पोर्टल से जोड़कर ऑनलाइन किया गया है। स्टाफ ड्यूटी मॉनिटरिंग मॉड्यूल शुरू हुआ है और वर्षों से लंबित शिक्षकों के समायोजन की प्रक्रिया पूरी की गई है।
प्रश्न. अधूरी घोषणाएं कब पूरी होंगी?
जवाब: बजट 2025-26 की सभी घोषणाओं पर काम शुरू हो चुका है।
प्रश्न. अगले तीन वर्षों में किन कार्यों पर फोकस रहेगा?
जवाब: 2 हजार विद्यालय भवनों की मरम्मत के लिए 175 करोड़ रुपए स्वीकृत किए गए हैं। 1,753 कार्यों के टेंडर प्रक्रियाधीन हैं। 'मुख्यमंत्री विधायक शिक्षा का साथी' योजना के तहत विधायक अपनी निधि से स्कूल भवनों की मरम्मत करेंगे। साथ ही समग्र शिक्षा अभियान के तहत केन्द्र को प्रस्ताव भेजे गए हैं।