धर्म और अध्यात्म

Premanand Maharaj: अंगूठी पहनने से क्या भाग्य बदलता है? प्रेमानंद महाराज से सच जानिए

Premanand Maharaj: क्या सोने या रत्न की अंगूठी पहनने से भाग्य चमकता है? प्रेमानंद महाराज बताते हैं सच्चाई अंगूठी नहीं, कर्म और भक्ति ही बदल सकते हैं किस्मत।

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Nov 08, 2025
Premanand Maharaj (photo- gemini ai)

Premanand Maharaj: अक्सर लोग सोचते हैं कि अगर सोने, चांदी या किसी रत्न की अंगूठी पहन ली जाए, तो जीवन की परेशानियां खत्म हो जाती हैं और भाग्य चमक उठता है। लेकिन संत प्रेमानंद महाराज का मानना है कि किसी भी धातु में भाग्य बदलने की ताकत नहीं होती, बल्कि असली शक्ति कर्म और भक्ति में होती है।

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क्या सच में अंगूठी भाग्य बदल सकती है?

प्रेमानंद महाराज कहते हैं कि अगर अंगूठियों में इतनी शक्ति होती, तो जो व्यक्ति इन्हें बनाता है, वही सबसे सुखी होता। वो बताते हैं कि लोग ज्यादातर भय या लालच में अंगूठियां पहन लेते हैं, यह सोचकर कि इससे ग्रह-नक्षत्र ठीक हो जाएंगे। लेकिन सच्चाई यह है कि अंगूठी केवल एक धातु या पत्थर है, यह आपके कर्मों का फल नहीं बदल सकती।

घोड़े की नाल की अंगूठी और अंधविश्वास

महाराज जी ने एक उदाहरण दिया कि एक व्यक्ति मेरे पास आया और बोला कि उसकी साढ़ेसाती चल रही है। उसने घोड़े की नाल की अंगूठी पहन रखी थी और कहा कि इससे साढ़ेसाती नहीं आएगी। अब सोचो, अगर घोड़े की नाल से साढ़ेसाती उतरती, तो बेचारे घोड़े की तो कब की उतर जाती! वो तो दिनभर दौड़ता है, उसकी तो खुद दुर्गति हो रही है। यह बात लोगों के अंधविश्वास पर सीधा प्रहार करती है। किसी वस्तु से नहीं, आपके कर्म और सोच से ही जीवन बदलता है।

असली उपाय क्या है?

प्रेमानंद महाराज के अनुसार, अगर कुछ पहनना ही है, तो अंगूठी नहीं, जप माला पहनो। भगवान का नाम लो ‘राधा राधा राधा’। यही तुम्हारे दुखों का असली एनकाउंटर करेगा। वे कहते हैं कि भगवान की शरण में जाना, सच्चे कर्म करना और सच्चे मन से जप करना ही असली उपाय है। अंगूठियों या धातुओं में इतना सामर्थ्य नहीं कि वे आपके प्रारब्ध (कर्मफल) को मिटा सकें।

शोभा के लिए पहन सकते हैं अंगूठी

महाराज जी यह भी स्पष्ट करते हैं कि अगर कोई व्यक्ति सिर्फ सौंदर्य या शोभा के लिए सोने या हीरे की अंगूठी पहनना चाहता है, तो इसमें कोई बुराई नहीं है। लेकिन इसे भाग्य बदलने का साधन मानना मूर्खता है।

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Published on:
08 Nov 2025 03:47 pm
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