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भारत ने अमेरिकी धरती पर किया कुछ ऐसा जो किसी ने सोचा भी नहीं होगा, जयशंकर ने ब्रिक्स देशों के विदेश मंत्रियों से की मीटिंग

BRICS Foreign Ministers Meeting: भारत ने अमेरिका में कुछ ऐसा कर दिखाया जिसके बारे में शायद ही किसी ने सोचा होगा। भारतीय विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने न्यूयॉर्क में ब्रिक्स देशों के विदेश मंत्रियों के साथ मीटिंग की।

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Sep 27, 2025
S. Jaishankar hosting BRICS foreign ministers meeting in New York (Photo - EAM's social media)

भारत (India) के विदेश मंत्री एस. जयशंकर (S. Jaishankar) इस समय अमेरिका (United States Of America) के न्यूयॉर्क (New York) शहर में चल रहे संयुक्त राष्ट्र महासभा - यूएनजीए (United Nations General Assembly - UNGA) के 80वें सत्र में भारत का प्रतिनिधत्व करने के लिए गए हुए हैं। भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) को इस सत्र में खास संबोधन देने के लिए न्यौता दिया गया था, लेकिन पीएम मोदी के न जा पाने की वजह से जयशंकर, न्यूयॉर्क गए। इस दौरान उन्होंने कुछ ऐसा किया जिसके बारे में शायद ही किसी ने सोचा होगा।

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अमेरिका की धरती पर ब्रिक्स की मीटिंग

भारत की तरफ से अमेरिका की धरती पर ब्रिक्स की मीटिंग हुई। शुक्रवार को न्यूयॉर्क में जयशंकर ने ब्रिक्स के सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों और अन्य प्रतिनिधिमंडल के लिए एक मीटिंग होस्ट की। यह बात हैरानी वाली इसलिए है क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump), ब्रिक्स के सख्त खिलाफ हैं।

अहम मुद्दों पर हुई बातचीत

न्यूयॉर्क में ब्रिक्स के सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों के बीच हुई मीटिंग में अहम मुद्दों पर बातचीत हुई। आइए इस मीटिंग में भारतीय विदेश मंत्री द्वारा उठाए गए कुछ मुद्दों पर नज़र डालते हैं।

➡️ जब बहुपक्षवाद दबाव में है, तब ब्रिक्स तर्क और रचनात्मक परिवर्तन की एक सशक्त आवाज़ बनकर मजबूती से खड़ा रहा है।

➡️ एक अशांत विश्व में, ब्रिक्स को शांति निर्माण, संवाद, कूटनीति और अंतर्राष्ट्रीय कानून के पालन के संदेश को सुदृढ़ करना चाहिए।

➡️ ब्रिक्स को संयुक्त राष्ट्र के प्रमुख अंगों, खास तौर पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में व्यापक सुधार के लिए अपने सामूहिक आह्वान को और मज़बूत करना चाहिए।

➡️ बढ़ते संरक्षणवाद, टैरिफ की अस्थिरता और गैर-टैरिफ बाधाओं के कारण व्यापार प्रवाह पर प्रभाव पड़ रहा है। ऐसे में ब्रिक्स को बहुपक्षीय व्यापार प्रणाली की रक्षा करनी चाहिए।

➡️ टेक्नोलॉजी और इनोवेशन, ब्रिक्स के आपसी सहयोग के अगले चरण को परिभाषित करेंगे।

➡️ भारत की अध्यक्षता डिजिटल परिवर्तन, स्टार्टअप्स,इनोवेशन और मज़बूत विकास साझेदारियों के ज़रिए खाद्य और ऊर्जा सुरक्षा, जलवायु परिवर्तन और सतत विकास पर केंद्रित होगी।

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