रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बिना नाम लेते हुए अमेरिका और पाकिस्तान पर निशाना साधा है। क्या कहा राजनाथ ने? आइए जानते हैं।
भारतीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Indian Defense Minister Rajnath Singh) ने मंगलवार को मानेकशॉ सेंटर में चल रहे संयुक्त राष्ट्र शांति अभियानों में योगदान देने वाले देशों के प्रमुखों के सम्मेलन में हिस्सा लिया। यह सम्मेलन भारत में पहली बार आयोजित किया जा रहा है। इस सम्मेलन में संबोधन देते हुए रक्षा मंत्री ने कहा कि दुनिया में शांति बनाए रखने के लिए सभी देशों को 4जी फॉर्मूला पर काम करना होगा। इसके तहत कंसल्टेशन यानी कि परामर्श, कॉपरेशन यानी कि सहयोग, कॉर्डिनेशन यानी कि समन्वय और कैपेसिटी बिल्डिंग यानी कि क्षमता निर्माण के सिद्धांत पर काम करना होगा।
राजनाथ ने अपने संबोधन के दौरान बिना नाम लिए अमेरिका और पाकिस्तान पर निशाना भी साधा। राजनाथ ने कहा कि आजकल कुछ देश खुलेआम अंतर्राष्ट्रीय नियमों का उल्लंघन कर रहे हैं, कुछ उन्हें कमजोर करने की कोशिश कर रहे हैं, जबकि कुछ अपने नियम बनाकर अगली सदी पर अपना दबदबा बनाना चाहते हैं। राजनाथ ने इसे पूरी तरह से गलत बताया।
राजनाथ ने यह भी कहा कि आज के इस दौर में सैनिकों को बेहद मुश्किल परिस्थितियों में काम करना पड़ता है, जहां आतंकवाद, अस्थिर राजनीति, मानवीय संकट और गलत सूचनाओं के प्रचार जैसी समस्याएं हैं।
रक्षा मंत्री के अनुसार आज की चुनौतियों से निपटने के लिए संयुक्त राष्ट्र को पुराने ढांचे से बाहर निकलकर सुधारों की दिशा में काम करना होगा। इसके लिए ऐसा सिस्टम चाहिए जो सभी देशों की आवाज़ सुने और इंसानियत को केंद्र में रखे।
राजनाथ ने बताया कि भारत ने अब तक 50 से ज़्यादा यूएन मिशनों में करीब 2.9 लाख सैनिकों को भेजा है, जो पूरी दुनिया में अपनी बहादुरी, अनुशासन और करुणा के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने यह भी बताया कि नई दिल्ली में स्थित संयुक्त राष्ट्र शांति स्थापना केंद्र ने अब तक 90 से ज़्यादा देशों के सैनिकों को प्रशिक्षण दिया है।
रक्षा मंत्री ने कहा कि शांति मिशनों में महिलाओं की भागीदारी सबसे प्रेरणादायक बदलावों में से एक है। उन्होंने याद दिलाया कि 2007 में लाइबेरिया में तैनात भारत की ऑल-विमेन पुलिस यूनिट ने पूरी दुनिया में मिसाल कायम की थी। आज भारतीय महिला अधिकारी अफ्रीका और मध्य पूर्व के कई देशों में यूएन मिशनों का हिस्सा हैं।