
30 मार्च से शुरू हो रहे रामनवमी मेले के चलते शहर के होटलों और धर्मशालाओं में ठहरने की भारी समस्या उत्पन्न हो गई है। वर्तमान में ज्यादातर होटल और धर्मशालाएं बुक हो चुकी हैं जबकि शेष के लिए जबरदस्त मांग बनी हुई है।
रामनवमी मेले का मुख्य पर्व रामजन्मोत्सव छह अप्रैल को धूमधाम से मनाया जाएगा। इस पावन अवसर पर विभिन्न मठों और मंदिरों में विशेष अनुष्ठान आयोजित किए जाएंगे। इस बार मेले में 50 लाख से अधिक श्रद्धालुओं के आने की संभावना जताई जा रही है।
रामलला के दर्शन के लिए हर दिन 70 से 80 हजार श्रद्धालु अयोध्या पहुंच रहे हैं। लेकिन रामनवमी के दिन यह संख्या ढाई से तीन लाख तक पहुंचने की उम्मीद है। पिछले वर्षों की तुलना में इस बार श्रद्धालुओं की संख्या कई गुना बढ़ गई है, खासकर रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के बाद से श्रद्धालुओं की भीड़ अयोध्या में उमड़ रही है।
अयोध्या के होटल और धर्मशालाओं में कमरे लगभग पूरी तरह से भर चुके हैं। बचे हुए कमरों की बुकिंग के लिए होड़ मची हुई है। होटल मालिकों के पास सिफारिशों की भरमार है जिससे भक्तों को रुकने की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। जगह ना मिलने पर श्रद्धालु मठ-मंदिरों और आश्रमों में ठहरने के लिए जगह तलाश रहे हैं।
रामनवमी मेले के दौरान रामकथा, रामनाम संकीर्तन, नवाह पारायण, यज्ञ और हवन जैसे धार्मिक अनुष्ठानों का आयोजन किया जाएगा। यह नौ दिनों तक चलने वाले इस मेले की विशेषता होगी। देश-विदेश से श्रद्धालु इन अनुष्ठानों में शामिल होने के लिए अयोध्या पहुंचेंगे।
अयोध्या में होटल और धर्मशालाओं की स्थिति को लेकर स्थानीय होटल व्यवसायियों ने बताया कि रामनवमी के कारण 10 अप्रैल तक सभी कमरे पहले ही बुक हो चुके हैं। होटल व्यवसायी अनूप गुप्ता के अनुसार, रामनवमी मेले में शामिल होने के लिए लोगों में जबरदस्त उत्साह है और एक पखवाड़ा पहले ही सभी कमरे बुक हो चुके थे।
Published on:
28 Mar 2025 08:14 pm
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