
राम मंदिर में कमल दल पर विराजमान होंगे रामलला, मूर्ति का मॉडल स्वरूप पहुंचा अयोध्या
अयोध्या. भगवान रामलला के भव्य मंदिर का निर्माण चल रहा है। और भव्य मंदिर में मकर संक्रांति 2024 में भगवान रामलला बालक स्वरूप में स्थाई मूर्ति की स्थापना होगी। लेकिन कारसेवक पुरम में रखी भगवान रामलला के बाल स्वरूप एक मूर्ति चर्चा का विषय है अगर सूत्रों की माने तो बालक राम की मूर्ति रामलला के दर्शन मार्ग में अस्थाई मंदिर के पास रखी जाएगी ताकि श्रद्धालु उस मूर्ति का दर्शन कर अपनी स्वीकृति प्रदान कर सके।
भक्तों से स्वीकृति के लिए की योजना
राजस्थान की जयपुर से अयोध्या पहुंची यह मूर्ति का स्वरूप बेहद खूबसूरत है भगवान रामलला धनुष धारी रूप में बाल स्वरूप में कमल विराजमान हैं ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने संकेत में कहा कि बालक राम की मूर्ति कमलदल पर सुशोभित अच्छी लगती है लेकिन अगर सूत्रों की माने तो भगवान रामलला के मंदिर में लगने वाली मूर्ति कुछ इस मूर्ति से मिलती-जुलती होगी। जिसके बारे में ट्रस्ट के द्वारा गठित टीम मूर्ति के स्वरूप और आकार को लेकर मंथन कर रही है लगभग 3 फुट से 4 फुट ऊंची बालक राम की प्रतिमा भव्य मंदिर में लगाई जाएगी जिसका उद्देश्य होगा कि श्रद्धालु दूर से ही भगवान के चरणों से मस्तक का दर्शन आसानी से कर सकें।
ट्रस्ट की स्वीकृति कमल दल पर रामलला की मूर्ति
श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने कहा कि यह मूर्ति भगवान राम के प्रति राजस्थान के एक श्रद्धालु के समर्पण और श्रद्धा की प्रतीक है जिसे मैंने सहर्ष स्वीकार किया भगवान रामलला के बालक रूप कमल दल पर सवार मूर्ति लगभग सवा कुंटल वजन की है मूर्ति का वजन बर्दाश्त करने वाली मजबूत इमेज बनने के बाद उस पर मूर्ति को रखा जाएगा राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने संकेत देते हुए कहा कि भगवान राम की मूर्ति बाल रूप की है और यदि बाल रूप की मूर्ति कमल दल पर हो तो वह खूबसूरत लगती है लेकिन स्पष्ट करते हुए कहा कि रामलला के भव्य मंदिर में कौन सा स्वरूप विराजमान होगा यह भी तय नहीं हुआ है।
Published on:
09 Nov 2022 07:14 pm
बड़ी खबरें
View Allअयोध्या
उत्तर प्रदेश
ट्रेंडिंग
