
Ballia news
बलिया. भारत की सैन्य शक्ति में राफेल विमान (Rafal fighter Jet) का जुड़ जाना गर्व की बात है। राफेल के पांच विमान बुधवार दोपहर भारत लाए गए। जिनमें से दो विमानों को देश की सरजमीं पर सुरक्षित लैंड कराने की जिम्मेदारी यूपी के दो जांबाज जवानों के कंधों पर रही जिसे उन्होंने बखूबी निभाया। बलिया के विंग कमांडर (Wing commander) मनीष सिंह और हरदोई के अभिषेक त्रिपाठी ने प्रदेश वासियों को गौरान्वित कर दिया। दोनों विंग कमांडर के गांव वालों में खुशी की लहर दौड़ गई है। लोगों ने पटाखे फोड़ कर जश्न मनाया व मिठाईयां बांट कर एक दूसरे से खुशी का इजहार किया। राफेल की पहली खेप के पांच विमान बुधवार दोपहर हरियाणा के अंबाला के वायुसेना एयरबेस पहुंचे। वायुसेनाध्यक्ष आर के एस भदौरिया ने उनकी अगुआई की।
मनीष के गांव जश्न का माहौल-
38 वषींय मनीष सिंह के बलिया के बांसडीह क्षेत्र व जनपद में बकंवा गांव के रहने वाले हैं। वह आर्मी से रिटायर सैनिक मदन सिंह के बेटे हैं। मनीष का छोटा भाई अनीश सिंह नौ सेना में हैं। खबर मिलने के बाद उनके पिता मदन सिंह व माता उमिंला देवी के साथ परिवार के अन्य लोग खुशी से फूले नहीं समा रहे। उनको बधाईयां देने वालों का तांता लगा रहा। बकंवा गांव में जश्न का माहौल देखने को मिला। लोगों ने एक-दूसरे को भी बधाई दी। मनीष के छोटे भाई अनीश सिंह ने बताया कि दो भाई और दो बहन में मनीष सबसे बड़े हैं। भइया को छह माह के प्रशिक्षण के लिए फ्रांस भेजा गया था, लेकिन कोरोना के चलते लगे लॉकडाउन के कारण उन्हें तीन महीने और वहां रूकना पड़ा। गांव के समाजसेवी संतोष सिंह ने कहा कि जैसे ही इसकी जानकारी हुई पूरे गांव के लोग उत्साहित हो गए। स्थानीय लोगों का कहना है कि बलिया की बागी धरती ने एक बार फिर देश में अपनी बादशाहत कायम किया है।
"मेरा बेटा पूरे देश का बेटा है"
मनीष सिंह के पिता मदन सिंह व मां उर्मिला देवी बेटे की इस उपलब्धि पर गौरवान्वित है। मदन सिंह ने कहा, यह मेरे लिए नहीं, पूरे देश के लिए गर्व की बात है। मां उमिंला देवी ने भगवान को याद करते हुए कहा कि मेरा बेटा पूरे देश का बेटा है। देश की सेवा व उसकी हिफाजत करना सबसे जरूरी है। परिवार, गांव व जनपद के साथ पूरे देश के लिए यह गौरव की बात हैं। मनीष सिंह की पत्नी वृत्तिका सिंहकंप्यूटर इंजीनियर हैं और वर्तमान में वह अपने सात वर्षीय बेटे काविन सिंह के साथ लखनऊ में है।
बचपन से थी हेलीकॉप्टर उड़ाने की इच्छा-
अनीश की माने तो मनीष सैनिक स्कूल कुंजपुरा हरियाणा से शिक्षा लेने के बाद वायुसेना में मनीष का चयन एनडीए के जरिये हुआ था।वह 2003 में बतौर फ्लाइट लेफ्टिनेंट वायुसेना में भर्ती हुए थे। फिलहाल विंग कमाण्डर हैं। इससे पहले वह गोरखपुर में तैनात थे। उन्हें राफेल उड़ाने का प्रशिक्षण लेने के फ्रांस भेजा गया था। प्रशिक्षण पूरा होने के बाद राफेल को भारत लाने वाले दल में उनका चयन किया जाना पूरे परिवार के लिए गर्व की बात है। दो भाई और दो बहन में सबसे बड़े मनीष के राफेल उड़ाकर भारत लाए जाने से बकवा गांव में खुशी की लहर है। मनीष के पिता मदन सिंह को अपने बेटे पर गर्व है। बचपन से ही वह उड़ते हुए जहाज को देखता था तो कहता था एक दिन बड़ा होकर हेलीकाप्टर उड़ाएगा।
Updated on:
29 Jul 2020 09:58 pm
Published on:
29 Jul 2020 06:23 pm
बड़ी खबरें
View Allबलिया
उत्तर प्रदेश
ट्रेंडिंग
