
रेलवे में टिकट कलेक्टर की नौकरी लगाने के नाम पर तीन लोगों ने 12 लाख ठगे
बालोद. गुरुर थाना अंतर्गत ग्राम खुंदनी के युवक से तीन लोगों ने रेलवे में टिकट कलेक्टर के पद पर नौकरी लगाने के नाम पर 12 लाख रुपए ठग लिए। पुलिस ने धारा 34, 420, 467, 468 के तहत मामला दर्ज कर लिया है। प्रार्थी अक्षय कुमार साहू निवासी ग्राम खुंदनी ने बताया कि डुलेश साहू पिता रामप्रसाद साहू निवासी गांधी चौक वार्ड नं 13 दल्लीराजहरा ने नौकरी लगवाने के नाम पर 12 लाख ठग लिया। उसे तीन किश्त में यह राशि दी गई है। नौकरी न लगाने पर डुलेश साहू ने पैसा वापसी का वादा किया था, लेकिन अब घुमा रहा है।
इस तरह मुझे विश्वास में लिया
उन्होंने बताया कि डुलेश साहू ने एक दिन उसे और हरिओम को अपने घर बुलाया। एक लाल रंग का रजिस्टर दिखाकर विश्वास दिलाया कि इसमें रेलवे में नौकरी के लिए आवेदन देने वालों के नाम, पते लिखे हैं। रजिस्टर रेलवे कार्यालय से प्राप्त किया है। उसमें रेलवे का सील लगा था। इसके अलावा कई लोगों का आवेदन, फोटो सहित एवं आवेदन में रेलवे विभाग का लोगो लगा होने के कारण मुझे विश्वास में ले लिया। इसमें मेरा और हरिओम का भी नाम था।
तीन किश्तों में दी राशि
उन्होंने बताया कि सबसे पहली किश्त सितंबर 2021 के पहले सप्ताह में 2 लाख रुपए नगद दिया। उस समय मेरे साथ पापा तरुण साहू, चाचा हिम्मत साहू, हरिओम और उसके पापा लिलेश्वर थे। उस रकम को करीब एक लाख रुपए का धान बेचकर और एक लाख रुपए मेरे दादा ने अपने खाते से निकालकर दिए थे। दूसरी किश्त 7 लाख रुपए 25 सितंबर 2021 को कोलिहामार गुरुर में मेरे दादा गोहन राम साहू के घर दिया। उस समय डुलेश के साथ उत्तम खांडेकर नाम का व्यक्ति भी था, जिसे उसने अपना बॉस बताया। इस समय पापा तरुण साहू, चाचा हिम्मत साहू, मम्मी झामिन साहू, हरिओम और उसके पापा लिलेश्वर साहू थे।
खेत बेचकर दी राशि
राशि को 80 डिसमिल खेत करीब 6 लाख रुपए में लोकेश कुमार साहू निवासी परसुली को बेचकर और पापा के खाते से 1 लाख 50 हजार रुपए निकालकर दिए थे। तीसरी किश्त दिसंबर 2021 में कलकत्ता ले जाकर टीपी लॉज में तीन लाख रुपए दिए। उस समय भी परिजन साथ में थे।
वाट्सऐप पर नियुक्ति पत्र भेजा
उन्होंने बताया कि कुछ समय के बाद नौकरी के नाम पर मुझे इस्टर्न रेलवे में रेलवे एवं भारत सरकार का लोगो लगा नियुक्ति पत्र वाट्सऐप पर डुलेश साहू ने भेजा। ऑफिशियली ऑर्डर रेलवे भवन का नोटिस जिसमें चीफ सेक्रेटरी दिल्ली का सील एवं मोहर लगी थी। ग्रुप सी में टीसी के लिए अप्वाइमेंट पत्र भेजा था। मेडिकल संबंधी पत्र भी भेजा।
वेबसाइट पर चेक करने पर दस्तावेज फर्जी निकला
उन्होंने अंकुश मिश्रा को क्राइम ब्रांच नागपुर का बड़ा अधिकारी बताते हुए आगे का काम उसके जरिए होने की बात कही। उसका मोबाइल नंबर 9119508285 दिया था। फिर 14000 रुपए फोन पे करने कहा। मई 2022 में दो बार में 14000 रुपए फोन पे किया था। इसके बाद मुझे भेजे गए रेलवे संबंधी दस्तावेज को रेलवे की वेबसाइट पर चेक किया तो वह फर्जी निकला। तब ठगी का अहसास हुआ।
Published on:
05 Apr 2024 11:53 pm
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