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जैन जन्म से नहीं, कर्म से होता है

कर्म से ही व्यक्ति ब्राह्मण, वैश्य, क्षत्रिय, शूद्र होता है।

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जैन जन्म से नहीं, कर्म से होता है

चामराजनगर. वर्धमान स्थानीवासी जैन श्रावक संघ गुंडलपेट में धर्मसभा में साध्वी साक्षी ज्याति ने कहा कि जैन जन्म से नहीं, कर्म से होता है। कर्म से ही व्यक्ति ब्राह्मण, वैश्य, क्षत्रिय, शूद्र होता है।

उन्होंने कहा कि महान गुणों की वजह से कबीर दास, महात्मा गांधी, लाल बहादुर शास्त्री की महानता है। यदि जीवन के अंदर बुराइयां हैं। कुव्यसन हैं तो ऐसा व्यक्ति तीर्थंकर की नजरों में जैन नहीं है।

जैन शब्द में ऊपर की मात्रा हटा दो ता 'जनÓ यानि साधारण लोग, जन के अन्दर दुर्जन भी होते हैं। हर आम इंसान जैन हो सकता है।

अगर कोई अपने ऊपर अहिंसा और संयम की मात्रा लगा ले, चाहे वह हिन्दू, मुसलमान, सिख, इसाई, यहूदी, पारसी धर्म में ही क्यों न जन्मा हो, तो वह जैन है।

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बॉस्को मनाएगा बाल दिवस
बेंगलूरु. संस्थान बॉस्को रविवार को चामराजपेट स्थित सेंट टैरेसा स्कूल में बाल दिवस मनाएगा। बॉस्कों के विभिन्न केंद्रों के करीब 600 बच्चे कार्यक्रम में हिस्सा लेंगे। पुलिस उपायुक्त (दक्षिण) के. अन्नामलाई मुख्य व पूर्व क्रिकेटर डोडा गणेश विशिष्ट होंगे।