
बरेली। भाजपा में गुटबाजी और खींचतान का मामला लखनऊ तक सुर्खियों में है। अपने अपने लोगों को मंडल अध्यक्ष बनवाने के लिये बरेली के दो बड़े भाजपा नेता काफी जोर लगाये हुये हैं। उनकी जोर आजमाइश में ही कैंट विधानसभा क्षेत्र के तीन मंडल अध्यक्षों की घोषणा फंसी हुई है। जबकि भाजपा महानगर के शहर विधानसभा क्षेत्र के पांचो मंडल अध्यक्षों के नाम घोषित कर दिए गए हैं।
कैंट विधानसभा क्षेत्र में चार मंडल हैं लेकिन इनमें से सिर्फ एक पूर्वी मंडल के अध्यक्ष का नाम लखनऊ से घोषित किया गया है। मढ़ीनाथ, कालीबाड़ी और दीनदयाल मंडल समेत तीन अध्यक्षों के साथ जिला प्रतिनिधि के नाम की भी घोषणा नहीं की गई। पार्टी सूत्रों के मुताबिक कैंट विधानसभा क्षेत्र के तीनों मंडल अध्यक्षों के नामों की घोषणा दो बड़े नेताओं के बीच आपसी खींचतान में अटक गई है। इन मंडलों में दावेदारों की संख्या भी ज्यादा है।
हर मंडल से छह से ज्यादा लोगों ने नामांकन कराया था, जबकि पैनल में तीन-तीन नाम ही भेजे गए हैं, इनमें से एक का ही चयन होना है। इन नामों पर सहमति न बनने से सूची फाइनल नहीं हो पा रही है। बताया जा रहा है कि दोनों बड़े नेता अपने समर्थकों को यह पद दिलाना चाहते हैं। दोनों ने इसे नाक का सवाल बना लिया और संगठन के बड़े पदाधिकारियों तक पैरवी कर रहे हैं। हालांकि आधिकारिक तौर पर भाजपा पदाधिकारियों का कहना है कि साफ- सुथरी छवि और क्षमतावान मंडल अध्यक्ष की तलाश के कारण सूची जारी करने में देर हो रही है।
Published on:
02 Jan 2025 02:37 pm
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