
प्रशासन को सरकार के नाम ज्ञापन सौंपकर इस निर्णय का वापस लेने की मांग की
बाड़मेर
उप स्वास्थ्य केन्द्रों को पीपीपी मोड पर देने का विरोध मुखर होता जा रहा है। सीमावर्ती क्षेत्र गडरारोड के खलीफे की बावड़ी व मठाराणी साउद में ग्रामीणों ने रोष जताते हुए केन्द्रों के बाहर धरना देकर प्रदर्शन किया और प्रशासन को सरकार के नाम ज्ञापन सौंपकर इस निर्णय का वापस लेने की मांग की। पूर्व सरपंच खलीफे की बावड़ी रोशनखां खलीफा के नेतृत्व में ग्रामीणों ने गुरुवार को धरना दिया। पूर्व सरपंच ने कहा कि सरकार के इस निर्णय से आमजन को परेशानी होगी। बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं की बजाय एेसा निर्णय कर सरकार ने गरीब जनता के साथ कुठाराघात कर रही है। धरने में मोहम्मद खान, जार मोहम्मद, खुदा दोस्त, सदरखान, मौला बक्स,अली खान, मजीद नोहड़ी सहित काफी तादाद में ग्रामीण शामिल हुए। उप स्वास्थ्य केन्द्र मठाराणी साउद में भी ग्रामीणों ने धरना दिया। हाजी अमीरखान, रोशनखां, गोरखां, बाकरखान, अकबरखान, कालूखान, पिनलखान, फागलखान ने धरना दिया। ग्रामीणों ने कहा कि जब तक पीपीपी मोड सरकार वापस नहीं लेती, तब तक धरना देकर विरोध जारी रखेंगे।
क्या है पीपीपी मोड- सरकार ने विभिन्न सरकारी विभागों में संचालित संंस्थानों को इस योजना में शमिल किया है। इसके चलते शिक्षा विभाग और स्वास्थ्य विभाग सहित अन्य महकमों में संचालन का जिम्मा निजी हाथों में सौंपा जा रहा है। जिले में शिक्षा विभाग ने विभिन्न सरकारी विद्यालयों को इस योजना के तहत निजी हाथों में सौंपने का निर्णय किया है। वहीं, चिकित्सा महकमे में उप स्वास्थ्य केन्द्रों को भी इस योजना से जोड़ा जा रहा है। इसके चलते इनका संचालन भी अब निजी हाथों में होगा। एेसे में उप स्वास्थ्य केन्द्रों को निजी हाथों में दिया जा रहा है। सीमांत गांवों में भी इस योजना से कई गांवों के उप स्वास्थ्य केन्द्र आ रहे हैं। इसको लेकर ग्रामीणों का कहना है कि एेसा होने से गांवों की चिकित्सा व्यवस्था प्रभावित होगी। निजी हाथों में संचालन होने से वे मरीजों को नि:शुल्क दवाइयां सहित अन्य परिलाभ नहीं देगे।
Published on:
18 Jan 2018 07:38 pm
बड़ी खबरें
View Allबाड़मेर
राजस्थान न्यूज़
ट्रेंडिंग
