25 दिसंबर 2025,

गुरुवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

हैलो…हैलो…मैं एक्सईएन बोल रहा हूं…इमरजेंसी में हूं…20 हजार रुपए भेज दो

सावधान..आजकल साइबर ठग नए-नए जाल में फंसाकर आपसे रुपए की ठगी कर सकते हैं, ऐसे में बिना पूरी जांच-पड़ताल किए बिना किसी के साथ ऑनलाइन लेनदेन मत करो, वरना आप ठगी का शिकार हो सकते हैं।

3 min read
Google source verification
Cyber fraud

Demo pic

बस्सी। सावधान..आजकल साइबर ठग नए-नए जाल में फंसाकर आपसे रुपए की ठगी कर सकते हैं, ऐसे में बिना पूरी जांच-पड़ताल किए बिना किसी के साथ ऑनलाइन लेनदेन मत करो, वरना आप ठगी का शिकार हो सकते हैं।

गत दिनों बस्सी निवासी कान्हाराम के पास एक जने का फोन आया और कहा राजेश मीना एक्सईएन बोल रहा हूं,..आप कैसे हो, मिलते ही नहीं…धीरे धीरे चिकनी चुपड़ी बातें बोलकर उसने कहा कि उसका फोन-पे काम नहीं कर रहा है, वे इमरजेंसी में हैं, जयपुर से एक आदमी ऑनलाइन कुछ पैसे डालेगा, जो बाद में मुझे दे देगा।

ठग ने जिस राजेश मीना नाम लेकर फोन किया, उसको कान्हाराम से मिले करीब तीन वर्ष हो गए, ना ही कभी उससे बीच में कोई बातचीत हुई। लेकिन उसकी कई चिकनी चुपड़ी बातों के बाद भी सावधानी से ठगी का शिकार होने से बच गया। ऐसे में हर व्यक्ति को ध्यान में रखना है कि कोई आपको प्रलोभन दे सकता है। कोई ओटीपी पूछ सकता है, तो कोई आपको इमोश्नल कर ठगी का शिकार बना सकता है। इसलिए हमेशा सावधान रहना चाहिए।

सायबर ठग और पीड़ित के बीच हुई बातचीत

ठग : हैलो सर, राजेश मीना एक्सईएन बोल रहा हूं, आप कैसे हो।

कान्हाराम : कौनसे राजेश मीना, पहले दौसा विद्युत निगम में था, आजकल आप कहां हो… मिलते ही नहीं। सर मैं बस्सी हूं।

ठग : मेरा फोन पे खराब हो गया, जयपुर में एक जना मेरा जानकार है, वो आपको बीस हजार रुपए डालेगा….डलवा दूं क्यां।

कान्हाराम : नहीं सर।

ठग : इमरजेंसी है, मैं आपसे दो चार दिन में ले लूंगा।

कान्हाराम : चलो डलवा दो।

ठग : आपको दस रुपए डलवा कर देखा है, देखो आ गए क्या।

कान्हाराम : नहीं आए, बैलेंस देख लिया है।

ठग : मोबाइल के इन बॉक्स में मैसेज होगा, आप देखो।

कान्हाराम : हां मैसेज तो आ गया, लेकिन बैलेंस नहीं आया और फोन कट गया।

20 मिनट बाद फिर ठग का फोन आया

ठग : आपको 25 हजार रुपए डलवा दिए हैं। मोबाइल में मैसेज इन बॉक्स में देखो।

कान्हाराम : हां मैसेज तो आ गया, लेकिन बैलेंस नहीं आया है।

ठग : आपके व्हाट्सएप पर 25 हजार रुपए का स्क्रीन शॉट डाल दिया है।

कान्हाराम : लेकिन बैलेंस में पैसे नहीं दिखा रहा है।

ठग : स्क्रीन शॉट और मैसेज आ गया ना, बैलेंस सैटल होने में थोड़ा टाइम लगता है। ऐसा करो आप इन नबरों पर 15 हजार रुपए डाल दो, बाकी दो-चार दिन बाद ले लूंगा।

कान्हाराम : आपके पैसे आ जाएंगे तो मैं डाल दूंगा।

ठग : मुझे इमरजेंसी है, आप अपने पास से डाल दो। कुछ देर में मैसेज आ जाएगा।

कान्हाराम : आपको बता दिया खाते में पैसा नहीं है, आपका बैलेंस आ जाएगा तो डाल दूंगा। आप ऐसा करो राजेश मीना हो तो वाट्सऐप कॉल करो…इतना कहते ही फोन स्वीच ऑफ कर लिया, जो आज तक भी बंद है।

यह भी पढ़ें : 24 करोड़ ठगी के मामले में जयपुर पुलिस की बड़ी कार्रवाई, 2 विदेशी युवकों सहित 5 पकड़े; 6 राज्यों में मामले दर्ज

कॉल से पहले भी सावधानी की सलाह

आप किसी को भी फोन करते हैं तो मोबाइल पर भी कॉल मिलने से पहले सावधानी बरतने की सलाह दी जाती है। जिसमें कहा जाता है साइबर ठग आपको सीआईडी सीबी, बैंक अधिकारी बनकर व अन्य कई प्रकार के फोन आते हैं। बिना पूरी जांच-पड़ताल किए किसी के झांसे में नहीं आए।

मामला दर्ज होने के बाद भी पैसा वापसी की गारंटी नहीं

ऑन लाइन ठगी का शिकार व्यक्ति साइबर पुलिस थाने में मामला तो दर्ज करा देते है, लेकिन इस बात की कोई गारंटी नहीं है कि आपका पैसा वापस आ ही जाएगा। हालांकि पुलिस मामले की जांच करती है। लेकिन उलझा पैसा आने की गुंजाइश 90 फीसदी नहीं के बराबर होती है।