scriptथाने में रामजी मिश्रा हत्या मामले में नया मोड़, इंस्पेक्टर पर केस दर्ज होने के बाद धरने पर बैठे परिजन | inspector family on strike after case in ram ji mishra murder case | Patrika News
भदोही

थाने में रामजी मिश्रा हत्या मामले में नया मोड़, इंस्पेक्टर पर केस दर्ज होने के बाद धरने पर बैठे परिजन

पुलिस लॉकअप में दो दिन पहले रामजी मिश्रा की मौत के बाद सोमवार को जिले के पुलिस अधीक्षक के निर्देश पर कोतवाली के इंस्पेक्टर सुनील वर्मा के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया गया।

भदोहीJul 02, 2018 / 09:45 pm

ज्योति मिनी

inspector family on strike after case in ram ji mishra murder case

थाने में रामजी मिश्रा हत्या मामले में नया मोड़, इंस्पेक्टर पर केस दर्ज होने के बाद धरने पर बैठे परिजन

भदोही. पुलिस लॉकअप में दो दिन पहले रामजी मिश्रा की मौत के बाद सोमवार को जिले के पुलिस अधीक्षक के निर्देश पर कोतवाली के इंस्पेक्टर सुनील वर्मा के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया गया। इससे नाराज सुनील वर्मा के परिजन कोतवाली में अनशन पर बैठ गये। ये लोग राम जी मिश्रा के मौत मामले में निष्पक्ष जाँच की मांग करते हुए सुनील वर्मा को बेकसूर बताया। बाद में परिजनों ने इस दौरान डीआईजी से से बात किया और निष्पक्ष जांच का आश्वसन मिलने के बाद धरना खत्म कर दिया।
सुनील वर्मा को न्याय दिलाने की मांग को लेकर छोटे भाई मोना वर्मा के नेतृत्व में परिवार के संतोष वर्मा, सोनी वर्मा, अनिल वर्मा, आशा वर्मा, चंद्रिका वर्मा, दिनेश वर्मा, इंदुबाला वर्मा समेत काफी लोग थाना परिसर में अनशन करने बैठे। मोना वर्मा ने कहा, किसी संगठन के फर्जी आरोप में मेरे भाई को फंसाया है। न्याय की मांग की और पूरे प्रकरण में उच्च स्तरीय जांच की मांग परिजनों ने की है। सुनील वर्मा को परिजन दोषी नहीं मानते थाना परिसर में एडिशनल SP क्षेत्राधिकारी भदोही समेत चार थानों की पुलिस भारी संख्या में महिला पुलिस पीएससी तैनात कर दिया गया है।
बता दें कि, भदोही जिले के गोपीगंज में फूलबाग के रहने वाले रामजी मिश्रा का अपने भाई से जमीन के बंटवारे को लेकर कोई विवाद था। दोनों भाई और उनके परिवार के लोग न्याय के लिये अपनी फरियाद लेकर कोतवाली गए थे। मृतबीच कहासुनी हो गई। इसक की बेटी दीपाली मिरा का आरोप है कि, पुलिस कर्मियों की मौजूदगी में ही उनके पिता और चाचा के के बाद पुलिस वालों ने दोनों को थप्पड़ मारे और हवालात में बंद कर दिया। बेटी ने बताया कि उन लोगों ने पुलिस से गुहार लगाई कि उसके पिता बीमार हैं पर उनसे मिलने तक नहीं दिया गया और हवालात में ही उनकी मौत हो गयी। बेटी ने साफ कहा कि पिता की मौत की जिम्मेदार पुलिस ही है।

हवालात में रामजी मिश्रा की मौत ने पुलिस पर सवालिया निशान लग गया है। लोग इस बात पर सवाल उठा रहे हैं कि जब परिजन बार-बार गुहार लगा रहे थे कि रामजी मिश्रा बीमार हैं तो उन्हें हवालात में कैसे डाला गया और उसके बाद भी परिजनों को उनसे मिलने क्यों नहीं दिया गया। लगातार सभी दलों के नेताओं के दबाव को देखते हुए पुलिस प्रशासन ने पहले तो इंस्पेक्टर सुनील वर्मा को लाइन हाजिर कर दिया। इसके बाद भी मामला तूल पकड़ता देख सोमवार को उनपर हत्या का मुकदमा दर्ज कर दिया गया।
input महेश जायसवाल

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो