तकनीकी विद्यार्थियों के लिए सबसे बड़ी बात यह होगी कि इस केंद्र में उन्हें वह सब कुछ सीखने का मौका मिलेगा जो कोर्स में नहीं पढ़ाया गया, लेकिन वर्तमान में इंडस्ट्री की डिमांड है। इससे विद्यार्थियों की क्षमता बढ़ाई जा सकेगी। केंद्र में विवि लेटेस्ट सॉफ्टवेयर्स की पढ़ाई कराएगा। हर तरह की डिग्री वाले युवा इसमें शामिल हो पाएंगे।
यह कोर्स सिर्फ डिग्री पर आधारित नहीं होंगे, बल्कि वीं पास से लेकर पीएचडी डिग्रीधारी तक इनमें प्रवेश ले पाएगा। योग्यता का कोई बंधन नहीं होगा। उद्घाटन कार्यक्रम कुलपति डॉ. एमके वर्मा की अध्यक्षता में होगा। रजिस्ट्रार डीएन सिरसांत, परीक्षा नियंत्रक एडी पाटिल सहित विवि के कई आला अधिकारी इस दौरान मौजूद रहेंगे।
फीस कितनी होगी
यह केंद्र सेल्फ फाइनैंस कोर्स पर आधारित होगा। फीस देनी होगी लेकिन नॉमिनल। प्रवेश लेने केंद्र से संपर्क कर सकेंगे। कोर्स की डिमांड के हिसाब से ही बैच तैयार होंगे। विवि में वैसे तो दर्जनों कोर्स संचालित किए जाएंगे, लेकिन इसकी शुरुआत आटोकैड कोर्स के साथ हो रही है।
विवि के अधिकारियों ने बताया कि इस कोर्स की वर्तमान में बहुत अधिक डिमांड है। कोर्स शुरू करने खुद विद्यार्थियों ने आग्रह किया है। इस कोर्स को सिखाने वाली फैकल्टी जल्द ही तय हो जाएगी। इस कोर्स का पहला बैच १५ जुलाई के आसपास शुरू होगा। दो जुलाई तक विवि की वेबसाइट पर प्रवेश की पूरी जानकारी उपलब्ध करा दी जाएगी।
इंडस्ट्री को भी ट्रेनिंग देगा विश्वविद्यालय
विवि तमाम तरह के कोर्स कराने में सिर्फ विद्यार्थियों व आउट साइड्र्स तक ही सीमित नहीं रहेगा, बल्कि केंद्र में इंडस्ट्री के लोग भी कुछ नया सीख सकेंगे। मसलन, कोई इंडस्ट्री यदि अपने स्टाफ को अपग्रेड करने के लिए नए सॉफ्टवेयर या फिर टेक्निकल टूल्स सिखाना चाहती है तो उनके बैच को भी विवि ट्रेंड करेगा।
एमएस ऑफिस से लेकर आर्किटेक्चर तक सबकुछ
अनौपचारिक शिक्षा केंद्र को सरल शब्दों में समझें तो यहां पर आप एमएस ऑफिस, एक्सल, पॉवर प्वाइंट जैसे कंप्यूटर टूल से लेकर आर्किटेक्चर, इंजीनियरिंग तक सबकुछ सीख सकेंगे। बीएसपी के कर्मचारियों को स्टील टेक्नोलॉजी जैसे शार्टटर्म कोर्स में प्रवेश मिल सकेगा।
75 फीसदी अटेंडेंस, प्रमाण पत्र मिलेगा
विश्वविद्यालयीन अधिकारियों ने बताया कि केंद्र से कोर्स में प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों की पढ़ाई पूरी होने के बाद उनकी परीक्षा ली जाएगी। परीक्षा में पास होने वाले को विवि प्रमाण पत्र देगा। खास बात यह है कि इस कोर्स में प्रवेश लेने के बाद विद्यार्थी को संजीदगी दिखानी होगी। सामान्य कोर्स की तरह इसमें भी ७५ फीसदी अटेंडेंस जरूरी होगी।
कोर्स २ से ६ महीनों तक के लिए डिजाइन किया जा रहा है। कुलपति सीएसवीटीयू डॉ. एमके वर्मा ने बताया कि अनौपचारिक शिक्षा केंद्र की शुरुआत होने जा रही है। इसका पहला बैच १५ जुलाई के आसपास लगेगा। छात्रों की डिमांड के हिसाब ही कोर्स डिजाइन होंगे।