
डर इतना कि बेटी ने बैंक कर्मी की बात भी नहीं मानी (Photo source- Patrika)
Digital Arrest: बीरेन्द्र शर्मा/शहर में एक 45 वर्षीय महिला डिजिटल अरेस्ट की शिकार हो गई। ठग ने सीबीआई अधिकारी और मुंबई क्राइम ब्रांच बताकर कॉल किया कि बैंक में गैर कानूनी ट्रांजेक्शन होने की वजह से अब आप लोग डिजिटली अरेस्ट हो गए हैं। अगर किसी प्रकार की होशियारी की तो गिरफ्तार कर लिए जाओगे।
घबराई बेटी, बुजुर्ग मां और पिता एक महीने तक ठगों के कब्जे में डिजिटल अरेस्ट रहे। इस बीच ठगों ने उससे 54 लाख 90 हजार रुपए ट्रांसफर करा लिया। नेवई पुलिस ने मामले में अपराध दर्ज कर जांच शुरू की है। नेवई थाना पुलिस ने बताया कि रिसाली निवासी नम्रता चंद्राकर पिता श्याम कुमार चंद्राकर (45) शिकायत लेकर रेंज साइबर थाना पहुंची।
जैसे ही 56 लाख रुपए साइबर ठगी होना बताया, साइबर थाना की टीम चौंक गई। मामले की जानकारी आईजी रामगोपाल गर्ग को दी। आईजी ने एसएसपी विजय अग्रवाल से चर्चा की। एसएसपी ने पहले डायल 1930 पर फोन कर होल्ड कराने और नेवई थाना में अपराध पंजीबद्ध करने का निर्देश दिए। नेवई पुलिस ने मामले में धारा 318 के तहत प्रकरण दर्ज किया है।
पुलिस ने बताया कि नम्रता ने रिसाली पंजाब बैंक से 2 लाख से 5 लाख तक किस्तों में रकम निकालती रही। बार-बार पैसा निकालने पर बैंक कर्मी को शक हुआ। उन्होंने नम्रता से कहा कि इतनी रकम क्यों निकाल रही हो। उसने घर में जरूरी काम बताया।
बैंक वाले को शक हुआ तो उसने पूछा कि कहीं आप साइबर ठगी के शिकार तो नहीं हुई हैं। नम्रता ने उन्हें जवाब दिया ऐसा कुछ नहीं है। इस तरह उसने 54 लाख 90 हजार रुपए मां, पिता के पीएनबी बैंक खाते से किस्तों में पैसे निकाले। ठगों द्वारा दिए गए बैंक ऑफ बड़ौदा, आईसीआईसीआई बैंक, एस बैंक, एक्सिस बैंक, इंडसंड बैंक, यूनियम बैंक और बंधन बैंक के खातों में ट्रांसफर कर दिए।
नम्रता ने पुलिस को बताया कि ठग ने यह कहा कि 12 से 15 खाते हैं, जिसमें गैरकानूनी ढंग से ट्रांजेक्शन हुए हैं। उन्हें वीडियो में वर्दीधारी दिखाई दिए। सीबीआई कार्ड भी दिखाकर डराया। कहा जो जानकारी मांगी जा रही है उसमें सहयोग करें। उसने धमकाया कि इसकी जानकारी किसी को दिया तो मुंबई क्राइम ब्रांच डिजिटल अरेस्ट कर लेगी।
नम्रता बहुत घबरा गई और बुजुर्ग मां और पिता के साथ एक महीने तक डिजिटल अरेस्ट रही। ठगों द्वारा मांगी गई जानकारी में बैंक खाता डिटेल, जमीन, सोना-चांदी समेत अन्य संपत्ति का जानकारी दी। ठग ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में केस चल रहा है। कोर्ट के आदेशानुसार रकम को वापस करना है। नहीं तो जेल हो सकती है। बताया गया कि उक्त खातों में गरीबों का रकम जमाकर मनी लॉन्ड्रिग किया है।
पुलिस ने बताया कि 29 अप्रैल को रिसाली आजाद मार्केट लिंक स्ट्रीट-1, मकान -1 निवासी नम्रता चंद्राकर (45) के बुजुर्ग पिता के मोबाइल पर कॉल आया। फोन नम्रता ने रिसीव किया। ठग ने बोला कि सीबीआई कार्यालय मुंबई से बोल रहा हूं। तुम्हारे पापा के नाम का सेट्रल बैंक का खाता मुंबई में नरेश गोयल के कब्जे से बरामद किया है। उस खाते में 2 करोड़ रुपए का मनी लॉड्रिंग हुई है।
इस संबंध में आधार कार्ड दिखाया। नरेश गोयल द्वारा उसके पिता से उक्त खाते को 5 लाख रुपए में खरीदना बताया। वीडियो कॉल से उसने आवाज भी सुनाई। फोन करने वाले ठग ने कहा कि वह सभी को गिरफ्तार करने आ रहा है। गिरफ्तारी से बचना है तो सहयोग करें। इस पर नम्रता और उसके पिता श्याम कुमार चंद्राकर सहयोग करने के लिए राजी हो गए।
एक महीने के बीच हर तरह की बातचीत करने लगे थे। ठगों ने नम्रता से कहा कि पूरा घर उनके कब्जे में है। जैसा बोल रहे हैं करते जाओ। नम्रता ने अपने पिता की गाढ़ी कमाई को पंजाब बैंक से अलग-अलग किस्तों में 54 लाख 90 हजार रुपए ठगे के कहे अनुसार ट्रांसफर कर दिए।
Digital Arrest: ठग खुद को कुरियर एजेंसी, पुलिस सीबीआई, ईड़ी, आरबीआई समेत अन्य अधिकारी बताकर कहते हैं कि आपके नाम से कोई संदिग्ध पैकेज मिला है। वे धमकी देकर पैसे ठगते हैं। वीडियो कॉल पर नकली वर्दी और आईडी दिखाते हैं। एआई से परिजन की आवाज़ की नकल करते है।
Published on:
31 May 2025 09:16 am
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