अब तक यह थी व्यवस्था
उद्योग आयुक्त व शासन सचिव सीएसआर कृष्णकांत पाठक ने बताया कि उद्योगों की ओर से सीएसआर के तहत कितना बजट खर्च किया गया। इससे समाज में क्या बदलाव आया, इसकी जानकारी सरकार के पास नहीं रहती थी। मॉनिटरिंग भी नहीं होती थी। एेसे में बजट खर्च करने में भी मनमानी की शिकायतें आती थी। कई उद्योग खानापूर्ति करने के कार्यक्रम कर कागजों में खर्च का दिखावा कर देते थे। अब इस पर लगाम लग सकेगी।
उद्योग आयुक्त व शासन सचिव सीएसआर कृष्णकांत पाठक ने बताया कि उद्योगों की ओर से सीएसआर के तहत कितना बजट खर्च किया गया। इससे समाज में क्या बदलाव आया, इसकी जानकारी सरकार के पास नहीं रहती थी। मॉनिटरिंग भी नहीं होती थी। एेसे में बजट खर्च करने में भी मनमानी की शिकायतें आती थी। कई उद्योग खानापूर्ति करने के कार्यक्रम कर कागजों में खर्च का दिखावा कर देते थे। अब इस पर लगाम लग सकेगी।
ये हैं नियम
भारतीय कंपनी अधिनियम २०१३ की धारा १३५ तथा कॉर्पोरेट अफेयर्स मंत्रालय की ओर से जारी गाइडलाइन कम्पनीज रूल्स २०१४ के तहत प्रत्येक कंपनी जो सीएसआर के दायरे में आती है, उनकी ओर से गत तीन वर्षों के शुद्ध लाभ से दो प्रतिशत राशि सीएसआर फंड में जमा करानी होती है। इससे सामाजिक सरोकार के काम होते हैं। सीएसआर के दायरे में आने के लिए कंपनी का टर्नओवर एक हजार करोड़ या इससे अधिक हो, कंपनी की संपत्ति ५०० करोड़ या इससे अधिक हो तथा कंपनी का शुद्ध लाभ पांच करोड़ का इससे अधिक होने पर वह सीएसआर के दायरे में आती है।
भारतीय कंपनी अधिनियम २०१३ की धारा १३५ तथा कॉर्पोरेट अफेयर्स मंत्रालय की ओर से जारी गाइडलाइन कम्पनीज रूल्स २०१४ के तहत प्रत्येक कंपनी जो सीएसआर के दायरे में आती है, उनकी ओर से गत तीन वर्षों के शुद्ध लाभ से दो प्रतिशत राशि सीएसआर फंड में जमा करानी होती है। इससे सामाजिक सरोकार के काम होते हैं। सीएसआर के दायरे में आने के लिए कंपनी का टर्नओवर एक हजार करोड़ या इससे अधिक हो, कंपनी की संपत्ति ५०० करोड़ या इससे अधिक हो तथा कंपनी का शुद्ध लाभ पांच करोड़ का इससे अधिक होने पर वह सीएसआर के दायरे में आती है।
अब विभाग आगे होकर देंगे प्रस्ताव
उद्योग आयुक्त ने सभी विभागों को निर्देशित किया है कि शिक्षा, चिकित्सा, कौशल गरीबी उन्मूलन, आपदा सहायता, पर्यावरण संरक्षण, समानता, महिला सशक्तीकरण जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सीएसआर के तहत राशि खर्च की जा सकती है। एेसे में सरकारी विभाग इस तरह के प्रस्ताव बनाकर कंपनियों में भिजवाएं। सीएसआर की नहीं है पूरी जानकारी
उद्योग आयुक्त ने सभी विभागों को निर्देशित किया है कि शिक्षा, चिकित्सा, कौशल गरीबी उन्मूलन, आपदा सहायता, पर्यावरण संरक्षण, समानता, महिला सशक्तीकरण जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सीएसआर के तहत राशि खर्च की जा सकती है। एेसे में सरकारी विभाग इस तरह के प्रस्ताव बनाकर कंपनियों में भिजवाएं। सीएसआर की नहीं है पूरी जानकारी
सभी विभागों को सीएसआर को आगे बढ़ाने का उद्ेश्य बताया है। कई लोगों को पता ही नहीं है कि सीएसआर का उपयोग कहां और कैसे करना है। इस कारण पूरा फायदा नहीं मिल रहा था। अब उद्योग विभाग में अलग से अनुभाग सृजित कर रिसर्च एंड डवलपमेंट अनुभाग भी सृजित किया है।
कृष्णकांत पाठक, उद्योग आयुक्त व शासन सचिव सीएसआर
कृष्णकांत पाठक, उद्योग आयुक्त व शासन सचिव सीएसआर