
हर EMERGENCY में काम आता है ये एक हेल्पलाइन नंबर, हर शख्स अपने फोन में इसे कर ले SAVE
भोपालःमध्य प्रदेश समेत देश की सभी आपातकालीन ( Emergency ) स्थितियों में काम आने के लिए सिर्फ एक हेल्प लाइन नंबर ( helpline number ) ती व्यवस्था सुचारू ढंग से चल रही है। यानी देश के किसी भी कोने में पुलिस ( police ), फायर ब्रिगेड ( Fire Brigade ) , एंबुलेंस ( ambulance ) जैसी किसी भी आपातकालीन जरूरत के इस्तेमाल के लिए व्यक्ति को सिर्फ एक नंबर डाइल ( dial ) करना होगा। इस नंबर की मदद से व्यक्ति को संबंधित आवश्यक्ता को पूरा कराया जाएगा। किसी भी सरकारी ज़रूरत के इस्तेमाल के लिए आपको सिर्फ 112 नंबर डायल करना होगा और अपनी समस्या बतानी होगी। समस्या को डिटेक्ट करते हुए आपको संज्ञानकर्ता से अटैच कर दिया जाएगा।
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20 राज्यों के नागरिक ले सकते हैं सुविधा का लाभ
इससे पहले ये व्यवस्था अमेरिका ( America ) द्वारा शुरु की गई थी, जिसमें किसी भी आपात स्थिति में आप सिर्फ 911 नंबर डायल करके संबंधित विभाग ( Related department ) में समस्या बताकर उसका समाधान करा सकते हो। कैंद्रीय गृह मंत्रालय ( Central Home Ministry ) के मुताबिक, अब तक ये व्यवस्था सभी केन्द्र राज्यों में लागू हो चुकी है। इनमें लगभग देश के 20 राज्य आते हैं। देश भर के 20 राज्य और केन्द्र शासित प्रदेश अब तक आपातकालीन हेल्पलाइन नंबर ( helpline number ) ‘112’ से जुड़ चुके हैं। इस नंबर पर संकट की घड़ी में कोई भी तत्काल सहायता मांग सकता है।
एक अधिकारी के मुताबिक, ‘ 112 ’ हेल्पलाइन पुलिस ( 100 ), दमकल ( 101 ) और महिला हेल्पलाइन( 1090 ) नंबरों का समांतर करते हुए काम करेगी। खासतौर पर सरकार द्वारा ये व्यवस्था देश की बेटियों से जुड़ी इमरजेंसी के लिए शुरु की है।
संबंधित अधिकारी के मुताबिक, ये व्यवस्था मध्य प्रदेश समेत देश के 20 केन्द्र शासित राज्यों के लिए शुरु की है। इन राज्यों में मध्य प्रदेश के अलाव हिमाचल प्रदेश , आंध्र प्रदेश , उत्तराखंड , पंजाब , केरल , राजस्थान , उत्तर प्रदेश , तेलंगाना , तमिलनाडु , गुजरात , पुडुचेरी , लक्षद्वीप , अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, दादर और नगर हवेली, दमन और दीव, जम्मू और कश्मीर और नागालैंड शामिल हैं।
इमरजेंसी रिस्पांस सपोर्ट सिस्टम (ईआरएसएस) ने पूरे भारत में एकल आपात नंबर ‘112’ की परिकल्पना की है जो एक अंतरराष्ट्रीय स्तर ( internation level ) पर मान्यता प्राप्त नंबर है जिसका लक्ष्य सभी तरह की आपात सेवा मुहैया कराना है। अधिकारी ने बताया कि सभी मोबाइल फोनों में एक पैनिक बटन पहले से ही बनाया गया है जिसे किसी आपात स्थिति में ‘112’ पर कॉल करने के लिए क्रियाशील किया जा सकेगा । राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों ने जो आपात प्रतिक्रिया केन्द्र (ईआरसी) गठित किए हैं वे ‘112’ से वॉयस कॉल के जरिए पैनिक सिग्नल, राज्य के ईआरएसएस वेबेसाइट पर संदेश या ‘112’ मोबाइल एप संदेश प्राप्त कर सकते हैं।
Published on:
05 Aug 2019 04:58 pm
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