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अस्पतालों में खतरनाक होते हालात, हर तीसरे मरीज को ऑक्सीजन सपोर्ट की जरूरत

ऑक्सीजन की जरूरतवाले मरीजों का आंकड़ा तेजी से बढ़ रहा

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ऑक्सीजन की जरूरत

भोपाल. देश की तरह मध्यप्रदेश में भी कोरोना महामारी का प्रकोप चल रहा है. तीसरी लहर में प्रदेश में 21 जनवरी को सबसे ज्यादा 11 हजार 275 नए केस मिले थे। इसके बाद नए केसों में जरूर कमी आई है पर हालात पूरी तरह काबू में नहीं आए हैं। प्रदेश में न केवल कोरोना के कारण होनेवाली मौतों का आंकड़ा बढ़ रहा है बल्कि अस्पतालों में भी हालात बुरे होते जा रहे हैं. अस्पताल में अब अधिकांश मरीजों को ऑक्सीजन सपोर्ट की जरूरत पड़ रही है.

प्रदेश में पिछले 24 घंटे में इंदौर में सबसे ज्यादा 2278, भोपाल में 2049, जबलपुर में 710 और ग्वालियर में 396 नए मामले सामने आए हैं। वहीं इस अवधि में प्रदेश के 51 जिलों में नए संक्रमित मिले हैं। इनमें अलीराजपुर में 37, अनूपपुर में 43, अशोकनगर में 76, आगर में 42, बालाघाट में 88, बड़वानी में 84, भिंड में 26, बुरहानपुर में 12, छिंदवाड़ा में 86, देवास में 72 केस मिले हैं.

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इनके अलावा गुना में 82, हरदा में 49, कटनी में 56, खंडवा में 73, मंडला में 88, मंदसौर में 11, नीमच में 85, निवाड़ी में 66, पन्ना में 26, राजगढ़ में 42, सतना में 4, शहडोल में 98, शाजापुर में 28, श्योपुर में 43, सीधी में 76, सिंगरौली में 39, टीकमगढ़ में 28, उमरिया में 79 केस और डिंडौरी में 40 केस मिले हैं.

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पिछले 24 घंटों में धार में 209, खरगोन में 255, होशंगाबाद में 171, विदिशा में 157, सागर में 152, सीहोर में 149, रायसेन में 148, सिवनी में 143, टीकमगढ़ में 137, झाबुआ में 134, रतलाम में 130, शिवपुरी में 127, रीवा में 127, नरसिंहपुर में 109, दतिया में 109, बैतूल में 108 और मुरैना में 104 केस मिले हैं.

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प्रदेश के इन आंकड़ों से स्पष्ट है कि झाबुआ, शाजापुर, आगर, रायसेन, बैतूल जैसे छोटे और ग्रामीण आबादी वाले जिलों में भी संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ रही है। दूसरी ओर अस्पतालों में भी मरीजों की बढ़ रही संख्या से दिक्कतें पैदा होने लगी है. अस्पतालों में भर्ती मरीजों को ऑक्सीजन सपोर्ट की जरूरत लग रही है.

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ऑक्सीजन सपोर्ट मरीजों का आंकड़ा तेजी से बढ़ रहा है। प्रदेश में अभी 1139 मरीज हॉस्पिटल में भर्ती है जिनमें से 410 मरीजों को ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा गया है। इस तरह करीब हर तीसरे मरीज को ऑक्सीजन सपोर्ट की जरूरत है. प्रदेश की राजधानी भोपाल में 120 और इंदौर में 66 संक्रमित ऑक्सीजन सपोर्ट पर हैं।

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