
भोपाल। मध्यप्रदेश विधानसभा के मानसून सत्र का बुधवार को दूसरा दिन है। सत्र के शुरू होने से पहले ही विधानसभा परिसर के बाहर कांग्रेस विधायकों ने जमकर हंगामा किया। कांग्रेस विधायकों ने सरकार पर पोषण आहर में घोटाले का आरोप लगाया। इस दौरान बड़ी संख्या में कार्यकर्ताओं ने नारेबाजी भी की। इधर, सदन के भीतर भी प्रवेश को लेकर भाजपा और कांग्रेस विधायकों में जोरदार हंगामे की स्थिति रही।
बुधवार को हंगामे के बीच वित्त मंत्री प्रदेश का पूरक बजट पेश करेंगे। चालू वित्त वर्ष का यह पहला पूरक बजट होगा। बताया जा रहा है कि आज का दिन सबसे लंबा सत्र चलेगा, जिसमें हंगामे के आसार हैं।
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1.55 pm
शिवराज ने विपक्ष पर साधा निशाना
सदन की कार्यवाही स्थगित होने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मीडिया से बात की। उन्होंने कहा कि सीएम ने कहा कि गड़बडी़ करने वालों को छोड़ा नहीं जाएगा। जो पोषण अमानक पाए गए वे कांग्रेस सरकार में हुए थे। शिवराज ने कहा कि कैग की रिपोर्ट में विपक्ष के 15 माह भी शामिल हैं। यह अंतिम रिपोर्ट नहीं। हम कैग की रिपोर्ट का इंतजार करेंगे। महालेखाकार की रिपोर्ट अंतिम नहीं है। कांग्रेस के मित्र भी जानते हैं कि हर विभाग का आडिट होता है। मेरा साफ कहना है कि हम तथ्यों को बारीकी से देख रहे हैं। कहीं गड़बड़ी पाई गई तो हम सख्त कार्रवाई करेंगे। अभी हमने अनियमितताओं के खिलाफ 104 लोगों पर कार्रवाई की है। 24 के खिलाफ निलंबन की कार्रवाई। कई के खिलाफ विभागीय जांच चल रही है। लेकिन कांग्रेस ने क्या किया। गुणवत्ता में टेक होम राशन अमानक स्तर का पाया गया, वो कांग्रेस के शासनकाल का है। जिसका हमने 36 करोड़ रुपए पेमेंट रोका हुआ है। कांग्रेस चर्चा से भाग रही है, हंगामा कर रही है। बीजेपी गड़बड़ी करने वालों को छोड़ेगी नहीं।
1.45 pm
पोषण आहार मामले में विपक्ष का भारी हंगामा...। विधानसभा की कार्यवाही कल तक के लिए स्थगित..।
1.35 pm
हंगामे के बीच मुख्यमंत्री ने दिया भाषण
विधानसभा स्पीकर से अनुमति मिलने के बाद जब मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौोहान ने पोषण आहार पर अपना संबोधन शुरू किया तो विपक्ष ने जमकर नारेबाजी की। इस दौरान काफी देर तक उनके भाषण को विपक्ष ने नहीं सुना। भारी हंगामे के कारण जैसे-तैसे शिवराज ने अपना भाषण पूरा किया।
12.00 pm
पोषण आहार मामले में वक्तव्य देंगे सीएम
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पोषण आहर मामले में सदन में वक्तव्य देंगे। कार्यवाही शुरू होते ही मुख्यमंत्री ने स्पीकर से कहा कि पोषण आहर मामले में भ्रम फैलाए जा रहे हैं। सदन के माध्यम से जनता के सामने स्थिति स्पष्ट की जानी चाहिए। स्पीकर ने प्रश्नकाल के बाद मुख्यमंत्री को बोलने की अनुमति दी है।
11.45 AM
भाजपा-कांग्रेस विधायक आमने सामने
नेता प्रतिपक्ष क्या बोले
नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह ने कहा कि सदन की कार्रवाई के संकेत होने के बावजूद भाजपा विधायक उमाकांत शर्मा ने कांग्रेस विधायक पाची लाल मीणा की गर्दन पकड़ी और हाथ मरोड़ा। उन्होंने पूछा कि क्या एक विधायक का दूसरे विधायक के साथ ऐसा आचरण उचित है। हंगामा बढ़ता देख स्पीकर ने सदन की कार्यवाही प्रश्नकाल तक के लिए स्थगित कर दी।
अध्यक्ष ने दी नसीहत
विधानसभा अध्यक्ष गिरीश गौतम ने सदस्यों को नसीहत दी। अध्यक्ष ने कहा कि विधानसभा की कार्यवाही पर न की जाए किसी प्रकार की टिप्पणी।
कमलनाथ के बकवास कहने पर हंगामा
इधर, कमलनाथ के बयान को लेकर पीडब्ल्यूडी मंत्री गोपाल भार्गव ने सदन में आपत्ति जताई है। एक दिन पहले कमलनाथ ने विधानसभा में नहीं जाने पर बयान दिया था कि मैं शिवराज सिंह की बकवास सुनने नहीं जाउंगा। इस बीच भार्गव और बाला बच्चन के बीच तीखी बहस हुई।
11.45 AM
विधानसभा में जमकर हंगामा, कांग्रेस विधायक का पजामा फाड़ा
विधानसभा में प्रवेश करने को लेकर सदन में सत्ता पक्षा और विपक्षी दल के विधायक आमने-सामने आ गए। इसके चलते हंगामा शुरू हो गया। विधायकों में तीखी बहस हुई। आरोप लगाया गया था कि पुलिस ने उन्हें सदन में विधानसभा परिसर में प्रवेश करने से रोका। सदन में प्रवेश करते ही मनोज चावला समेत अन्य कांग्रेसी विधायकों ने नारेबाजी शुरू कर दी। उनका आरोप था कि पुलिसकर्मियों ने उन्हें सदन में प्रवेश करने से रोका और हाथ मरोड़ दिया। विधायकों ने आरोप लगाया कि जिम्मेदार पुलिस वालों पर कार्रवाई की जाए। काफी देर तक विधायक पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई करने पर अड़े रहे।
गृहमंत्री ने किया हस्तक्षेप
इस पर गृहमंत्री नरोत्तम मिश्र ने कहा कि पुलिस ने किसी भी विधायक को नहीं रोका, यह विधायक हाथों में तख्तियां लेकर विधानसभा में आ रहे थे। पुलिस ने तख्तियों को रोकना चाहा। इस पर कांग्रेस विधायक जीतू पटवारी ने कहा कि तख्तियां हाथ में थी इसका मतलब तख्तियों को रोकने के लिए क्या विधायकों के हाथ तोड़ देंगे।
गर्भगृह में बैठकर विधायक ने दिखाया फटा पजामा
जांच और कार्रवाई की मांग करते हुए विधायक गर्भगृह में आकर बैठ गए। एक विधायक गर्भगृह में पहुंच कर अपना फटा हुआ पैजामा बताने लगा कि पुलिसकर्मियों ने इस प्रकार से उन्हें पटका और उनका पजामा फट गया। वे गृहमंत्री के पास भी बताने गए। इस पर भाजपा विधायक उमाकांत शर्मा वहां पहुंच गए और उस विधायक को गृहमंत्री के पास से हटाया। इस पर दोनों विधायकों में तीखी बहस भी होने लगी। दोनों पक्षों के विधायकों के आमने-सामने आने पर नजाकत को देकते हुए स्पीकर ने सदन की कार्यवाही 5 मिनट के लिए स्थगित कर दी।
पोषण आहार मामले में विपक्ष ने किया हंगामा
मानसून सत्र के दौरान सरकार के खिलाफ प्रमुख विपक्षी दल कांग्रेस ने विधानसभा के सामने जमकर हंगामा किया। इसमें पूर्व मंत्री पीसी शर्मा, जीतू पटवारी, जवर्धन सिंह शामिल थे। इन्होंने सरकार के खिलाफ जोरदार नारेबाजी की। हाल ही में आए कैग की रिपोर्ट के बाद विपक्ष राज्य सरकार पर घोटाले के आरोप लगा रहा है। इसी रिपोर्ट के आधार पर पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से इस्तीफे की मांग की थी।
11.00 AM
सदन की कार्यवाही शुरू।
10.45 AM
बुधवार से सदन की बैठकें देर शाम चलेंगी। लंच ब्रेक भी नहीं होगा। यह फैसला इसलिए लिया गया क्योंकि सदन की बैठक एक दिन पहले ही समाप्त हो रही है। क्योंकि 17 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी श्योपुर आएंगे।
10.40 AM
वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा थोड़ी देर में पूरक बजट पेश करेंगे। इस पर गुरुवार को चर्चा की जाएगी।
10.30 AM
मंत्री और विधायकों के सदन में पहुंचने का सिलसिला शुरू।
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ऐसा रहा विधानसभा का पहला दिन
सत्र के पहले दिन से मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने तेवर दिखाना शुरू कर दिए। विधायक लहसुन से भरी बोरियां लेकर विधानसभा भवन तक पहुंचे और बाहर लहसुन फेंककर विरोध जताया। आरोप था कि सरकार किसानों का लहसुन नहीं खरीद रही। दाम नहीं मिलने से किसान इसे फेंकने को मजबूर हैं।
विधायक जीतू पटवारी, सचिन यादव, लाखन यादव और कुणाल चौधरी ने विधानसभा भवन के बाहर लहसुन बिखेर दिया। उन्होंने कहा कि किसानों को उपज सड़कों पर फेंकनी पड़ रही है। उन्हें एक रुपए दाम मिल रहे हैं। किसानों के लिए चल रही योजनाओं को बंद किया जा रहा है।
विधायक तो खरीदे जा रहे हैं, लेकिन किसान की उपज खरीदने की बात आती है तो लाचारी सामने आ जाती है। पटवारी ने कहा कि किसानों का ये लहसुन सरकार को खरीदना पड़ेगा, अन्यथा जैसे यह लहसुन फेंकना पड़ रहा है, उसी तरह किसान भी आपको सत्ता से बाहर फेंक देंगे। सदन में पहले दिन दिवंगतों को याद किया गया। शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती के निधन सहित अन्य दिवंगतों का जिक्र कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की गई।
Updated on:
14 Sept 2022 02:00 pm
Published on:
14 Sept 2022 11:13 am
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