
हम आगे बढ़ ही रहे थे कि अचानक धसक गया पहाड़, मंजर देखकर रूह कांप गई
भोपाल. बालटाल से हमने तीन जुलाई को चढ़ाई शुरू की थी। सुबह तकरीबन 5 बजे हम बाबा का नाम लेकर आगे बढ़े। लगभग दस-साढ़े दस बजे का वक्त रहा होगा, तब हम सब बर्फानी बाबा के जयकारे लगाते हुए चल रहे थे। तभी बराड़ी टॉप के पास धड़ाम से एक पहाड़ आकर गिर गया, इसके नीचे तीन श्रद्धालुओं की मौत हो गई। यह दृश्य देखकर हम सभी यात्री सहम गए। इतने सालों में इतना भयावह मंजर मैने पहली बार देखा है।
यह कहना है मंडीदीप निवासी फूलसिंह परमार का। वे इन दिनों अमरनाथ यात्रा पर गए हुए हैं और दर्शन कर गुरुवार को ही बालटाल वापस पहुंचे हैं। इस दौरान उन्होंने वहां की स्थितियां बयां की। उन्होंने बताया कि उनके जत्थे में 84 लोग शामिल थे। इसमें से लगभग 50 यात्रियों ने बालटाल के रास्ते पवित्र गुफा के लिए चढ़ाई शुरू की थी, जबकि कुछ यात्री पहलगाम के रास्ते चढ़े थे। पहाड़ी धसकने की घटना के बाद हम सभी डर गए थे।
यहां से हमारे साथ वाले कुछ यात्री वापस बालटाल तो कुछ पहलगाम के लिए निकल गए, हम तकरीबन 20 यात्री इस घटना के बाद भी भोलेनाथ का नाम लेकर आगे बढ़े और दर्शन कर गुरुवार को ही वापस बालटाल पहुंचे हैं। भोलेनाथ का शुक्र है कि सभी यात्री सुरक्षित हैं। भोपाल या मप्र से किसी भी यात्री के हताहत होने की सूचना फिलहाल नहीं है। हमारे साथ वाले कुछ यात्री पहलगाम के लिए निकले है, जिनसे हमारा संपर्क नहीं हो पाया है।
अब तक सिर्फ तीन दिन चली यात्रा
अमरनाथ यात्रा को शुरू होने के लिए आठ दिन का समय हो चुका है, लेकिन इस बार बारिश, भूस्खलन के कारण आठ दिनों में महज तीन ही दिन यात्रा खुल पाई है। यात्री जगह-जगह रूके हुए हैं, कोई भंडारों में ठहरा है, तो कोई तंबुओं में रुका है, जम्मू की ओर से जाने वाले यात्रियों को भी रास्ते में जगह-जगह रुकना पड़ रहा है। पिछले दो दिनों से भी यात्रा रुकी हुई है। पहलगाम, बालटाल में हजारों की संख्या में यात्री डेरा डाले हुए हैं, वहीं जम्मू से आने वाली गाडि़यों को भी जगह-जगह रोका जा रहा है।
बर्फानी बाबा के दर्शन कर वापस लौटे यात्री
अमरनाथ यात्रा के लिए भोपाल से गए कुछ यात्री गुरुवार सुबह मालवा एक्सप्रेस से वापस भोपाल पहुंचे। ये यात्री पहले दिन के दर्शन के लिए रवाना हुए थे, लेकिन बारिश के कारण वे तीन दिनों तक पहलगाम में ही रूके रहे, इसके बाद 1 जुलाई को यात्रियों ने दर्शन किए थे। भोपाल पहुंचने पर यात्रियों का स्वागत सत्कार उनके परिवारजनों ने किया। श्रद्धालु राम मालवीय ने बताया कि बारिश के कारण हमे तीन दिन तक रूकना पड़ा था। वापसी के दौरान भी शहर में जगह-जगह जाम की स्थिति थी, लंगर, टेंट में श्रद्धालु रुके हुए थे, कई यात्री गाडि़यों में ही समय काट रहे थे।
Published on:
06 Jul 2018 08:01 am
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