
सीमा
हरेन्द्र सिंह बगवाड़ा/दिनेश स्वामी/बीकानेर . एक तरफ देश की सुरक्षा में किसी प्रकार की सेंध ना लगे इसे लेकर सुरक्षा एजेंसियां 24 घंटे सतर्क हैं। वहीं दूसरी तरफ राज्य सरकार ही राजस्व के फेर में देश की सुरक्षा को ताक पर रख रही है। हालात यह हैं कि बीकानेर ? से 150 किमी दूर खाजूवाला से लेकर बज्जू क्षेत्र बिल्कुल भारत-पाक सीमा से सटा हुआ है और यहां पर जिप्सम खनन के लिए खाइयां खोद दी गई हैं।
यहां सरकार ने 209 खनन के पट्टे जारी कर रखे हैं। इसके चलते दिनभर अनजान लोगों का आना-जाना लगा रहता है। इसको देखते हुए पाकिस्तान की तरफ से सुरंग खोदकर या किसी अन्य तरीके से घुसपैठ की आशंका बढ़ गई है। सुरक्षा एजेंसियों ने कई बार सरकार से खनन बंद करवाने का आग्रह किया लेकिन ऐसा लगता है मानो सरकार ने मुद्दे पर आंखें मूंद रखी हैं। पत्रिका ने जब इस मामले की पड़ताल की तो चौंकाने वाली बातें सामने आईं। पढ़ें लालच ञ्च पेज १०
लालच...
हर तीन महीने में लागू होती है धारा १४४ : तीन महीने के अंतराल पर बॉर्डर एरिया में जिला प्रशासन धारा १४४ की बाध्यता प्रभारी करने के आदेश का नवीनीकरण करता है। इसके मुताबिक शाम ६ बजे से सुबह ६ बजे के बीच कोई भी व्यक्ति बिना अनुमति के सीमावर्ती क्षेत्र में प्रवेश नहीं करेगा। रात को सीमावर्ती क्षेत्र में चोरी-छिपे जिप्सम खनन और परिवहन होता है।
माफिया रात को बार्डर के नजदीक खनन कर जिप्सम को सरकार की ओर से लीज और पट्टों पर खनन के लिए दी गई जमीन पर पटक देता है। जिसे दिन के उजाले में ट्रकों में लादकर पार कर दिया जाता है। जिले में खनन की पहले ३५ लीज थी। अब 209 खातेदारों को खनन परमिट जारी किए हैं।
एजेंसियों ने खनन को लेकर अन्तरराष्ट्रीय सीमा पर सुरक्षा का मुद्दा उठाया है। इस मामले पर मुख्य सचिव स्तर पर बैठक के बाद निर्णय किया गया कि सीमावर्ती इलाके में परमिटधारी खातेदार सुबह ६ से शाम ६ बजे तक ही खनन कार्य कर सकेंगे।
राकेश सुषेमा, खनि अभियंता, खान एवं खनिज विभाग (बीकानेर)
20 साल की लीज
इन इलाकों में राज्य सरकार ने बीस साल के लिए खनन लीज दे रखी है। नई नीति के बाद काश्तकारों को भी ५ साल के लिए खनन पट्टे दिए हैं।
किया आगाह
सीमा सुरक्षा बल ने प्रशासन को पत्र लिख बार्डर एरिया में हो रहे खनन पर रोक का आग्रह किया था। बॉर्डर क्षेत्र में हालात यह हैं कि खनन के चलते सीमा सुरक्षा बल वहां पर गश्त भी नहीं कर पा रही है।
तारबंदी के नजदीक
जीरो लाइन से 5 किमी में खनन
खनन स्थल अं. बॉर्डर से दूरी
अखूसर बज्जू 4 किमी
कबरेवाला 4 किमी
भूरासर 2 किमी
8 वाली पुली 4 किमी
39 केजीडी 3 किमी
बॉर्डर एरिया
जिप्सम खनन का क्षेत्र
दंतौर 15 किमी
बल्लर 12 किमी
राववाला 15 किमी
रणजीतपुरा 20 किमी
फैला है नेटवर्क
बार्डर एरिया में खान मालिकों का जबरदस्त नेटवर्क बन चुका है। क्षेत्र में होने वाली हर हलचल पर उनकी नजर रहती है। पत्रिका की टीम जैसे ही बीकाने से दंतौर के लिए रवाना हुई खान मालिकों को जानकारी लग गई। हर ढाबे, होटल, बस स्टॉप में इनके लोग रहते हैं जो किसी भी कार्रवाई या टीम के आने की पहले से सूचना पहुंचा देते हैं। पत्रिका टीम खानों को देखने पहुंची तो वहां काम बंद पड़ा था। खान मालिक भी वहां नहीं थे। ग्रामीणों ने बताया कि सभी ट्रोले खानों से रवाना कर दिए गए।
Published on:
11 Feb 2018 08:41 am
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