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विधायक व अधिकारी पहुंचे खेतों में, फसल खराबे को देखा

locationबीकानेरPublished: Oct 16, 2019 07:17:08 pm

Submitted by:

Atul Acharya

locust attack- किसानों से की बातचीत, प्रभावित क्षेत्र का तुरंत सर्वे कराने के दिए निर्देश, काहिरा में नजर आया टिड्डियों का डेरा

locust attack- MLA and officials visit in the fields, seen the crop

विधायक व अधिकारी पहुंचे खेतों में, फसल खराबे को देखा

नोखा. नोखा तहसील के गांवों में इन दिनों खेतों में पकाव पर खड़ी फसलों को खाकर टिड्डियां चट कर रही हैं। टिड्डियों से खेतों में हुए नुकसान का आकलन करने के लिए बुधवार को विधायक बिहारी लाल बिश्नोई, कृषि विभाग के सहायक निदेशक रामकिशोर मेहरा, तहसीलदार द्वारका प्रसाद शर्मा कक्कू पहुंचे। यहां पर किसान मेघाराम, कोजाराम तर्ड, माननाथ सिद्ध के खेतों में फसल नुकसान का जायजा लिया और किसानों से फसल खराबे को लेकर बातचीत की। कुछ खेतों में जहां टिड्डियों ने पड़ाव डाला, वहां पर फसल को ज्यादा नुकसान हुआ है।
यहां से विधायक व अधिकारी काहिरा पहुंचे और गिरधारीपुरा, कुदणों की ढाणी में किसान देवीलाल, बस्तीराम के खेतों में फसल को नुकसान पहुंचाते टिड्डी दल को देखा। विधायक ने मौके पर ही मौजूद अधिकारियों को कसानों को तुरंत राहत पहुंचाने के निर्देश दिए। इस दौरान कृषि विभाग के सुपरवाइजर आत्माराम छींपा व भूपेंद्र खैरवा, जिप सदस्य भूपेंद्र सिंह बीदावत, सरपंच देवीलाल, भंवर लाल नैण, प्रभूदयाल पारीक, ओमप्रकाश जाखड़ सहित किसान मौजूद रहे।
सरकार व नुमाइंदों पर बरसे विधायक

खेतों में हुए नुकसान को देखने के बाद विधायक बिश्नोई ने कहा कि समय रहते राज्य सरकार व उनके नुमाइंदे चेत जाते, तो आज किसानों का इतना नुकसान नहीं होता। उन्होंने टिड्डियों का सफाया करने और पीडि़त किसानों के खेतों की तुरंत गिरदावरी कराकर उनको उचित मुआवजा दिलाने की मांग की।
पीपे, थाली व परात बजाते आए नजर किसान

काहिरा में गिरधारीपुरा, कुदणों की ढाणी में टिड्डियों को भगाने के लिए खेतों में किसान, महिलाएं और बच्चे पीपे, थाली व परात बजाते भी दिखाई दिए। वहीं कृषि विभाग की कीटनाशक स्प्रे गाड़ी से कुछ गांवों में टिड्डियों पर छिड़काव कर उनको भगाने का प्रयास किया गया।
36 साल पहले आई थी टिड्डी

कक्कू के किसान माननाथ सिद्ध ने बताया कि ३६ साल पहले इस तरह का टिड्डी दल आया था। उस समय दो हवाईजहाज से कीटनाशक स्प्रे कर टिड्डियों को खत्म किया गया था। जिससे फसलों का नुकसान होने से बच गया था। अब टिड्डियों को भगाने के लिए जो कीटनाशक स्प्रे किया जा रहा है, वह ज्यादा कारगार नहीं है।किसान मेघाराम ने बताया कि उसके खेत में टिड्डियों के रात्रि पड़ाव डालने से ज्यादा नुकसान हुआ है। टिड्डियों ने बाजरा, मूंग की फसल को नुकशान ज्यादा नुकसान पहुंचाया है। यहां बड़ी तादाद में मरी टिड्डियां भी देखने को मिली।
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