
महाराजा अग्रसेन का जीवन प्रेरणा का स्रोत है, वे मैनेजमेंट के ज्ञाता थे-पं. विजय शंकर
बिलासपुर. महाराज अग्रसेन का जीवन प्रेरणा का स्रोत है। कम उम्र में ही गुरु से शिक्षा प्राप्त कर महाराज अग्रसेन ने अपना राजकाज सम्हाला और उसे पूरी तरह से व्यवस्थित किया। आज सीईओ का पद जो हर संस्थान में पाया जाता है वह यदि किसी ने शुरू किया तो वह महाराजा अग्रसेन ने शुरू किया। उनको देखकर लगता था कि वे प्रबंधन के ज्ञाता थे। सबसे पहले प्रबंधन को देखते थे। हमें उनसे प्रेरणा लेनी चाहिए। यह बातें प्रसिद्ध कथावाचक पंडित विजय शंकर मेहता ने बुधवार को अग्रसेन भागवत कथा के दौरान श्याम खाटू मंदिर परिसर में कही।
अखिल भारतीय महिला सम्मेलन व अग्रवाल समाज की ओर से दो दिवसीय महाराज अग्रसेन की भागवत कथा का आयोजन घोंघाबाबा मंदिर परिसर में किया गया। इसकी शुरुआत बुधवार को कलश यात्रा के साथ हुई। विधि-विधान से पूजा-अर्चना कर कथावाचक पंडित विजय शंकर मेहता ने महाराज अग्रसेन के जीवन पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि महाराज अग्रसेन से यदि कुछ सीखना है तो मैनेजमेंट सीखना चाहिए। उन्होंने कम उम्र में ही अपने पिता का राजकाज संभाला और अपने पिता से भी बेहतर ढंग से संभाला। पिता को अग्रसेन के कार्य करने के तरीके को देखकर बहुत खुशी हुई और वे सदैव गर्व करते रहे।
आचार्य ने कहा कि माता-पिता हमेशा अपने बच्चों की तरक्की चाहते है और जब बच्चा उनसे बेहतर करता है तो बहुत ज्यादा खुशी होती है। अग्रसेन के पिता भी बहुत खुश हुए और उन्होंने उनको आशीर्वाद दिया। माता-पिता के आशीर्वाद व अच्छे संस्कार व शिक्षा ने अग्रसेन को प्रबंधन का ज्ञाता बनाया था। घर-परिवार के साथ प्रजा के साथ बहुत अच्छा संबंध रहा और हर किसी को खुश किया। उन्होंने ही सीओ का पद सबसे पहले शुरू किया। वहीं सबसे पहले सीओ रहे और प्रबंधन के ज्ञाता। उनके प्रबंधन गुण को अपनाते हुए हर व्यक्ति को जीवन प्रबंधन कर जीवन को अच्छी तरह से व्यतीत करना चाहिए। इस अवसर पर बेनी गुप्ता, रामअवतार अग्रवाल, सतीश सुल्तानिया, सजन अग्रवाल, पवन अग्रवाल, जय प्रकाश अग्रवाल, विजय गुप्ता, आशा अग्रवाल, सरिता अग्रवाल, ऊषा अग्रवाल, प्रियंका अग्रवाल, रंजु सुल्तानिया, सीमा गुप्ता, रिंकु मित्तल, मधु अग्रवाल, सीमा अग्रवाल, राधा मित्तल, विमला सुल्तानिया, सुनीता मित्तल उपस्थित रहे।
निकाली गई भव्य कलश यात्रा : कार्यक्रम की शुरुआत भव्य कलश यात्रा निकालकर की गई। कलश यात्रा सुबह आठ बजे जूनी लाइन स्थित अग्रसेन भवन से निकाली, जो मध्यनगरी चौक, मारवाड़ी लाइन, गोलबाजार, सिटी कोतवाली होते हुए घोंघा बाबा परिसर स्थित श्याम ख्खांटू मंदिर पहुंची। जिसमें महिलाएं पारंपरिक लाल रंग के परिधान में नजर आई और पुरुष भी कुर्ता-पजामा में नजर आए। कलश के साथ ध्वज लेकर भी लोग शामिल हुए।
Published on:
29 Nov 2018 03:04 pm
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