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जिले में तीन आईटीआई कॉलेज, पढ़ाने वाले शिक्षक नहीं

- बच्चों की पढ़ाई होती है प्रभावित- अंधकार में शिक्षा

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Three ITI colleges in the district, no teachers to teach

Three ITI colleges in the district, no teachers to teach

बुरहानपुर. आईटीआई में भविष्य बनाने का सपना देख रहे बुरहानपुर के युवाओं के लिए जिले में तीन आईटीआई कॉलेज औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थाएं चल रही है। लेकिन जब इसकी जमीनी स्तर पर जाकर हकीकत देखी तो बच्चों का भविष्य क्या बनेगा यहां की कमियां देखकर अंदाजा लगाया जा सकता है। सबसे बड़ी समस्या यहां पढ़ाने वाली फैकल्टी ही नहीं है, जो है उन्हें चार चार कामों की जिम्मेदारी दे रखी है। मशीन है तो यह भी धूल खा रही है। इसे साफ करने वाले तक कर्मी नहीं है।
औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान के ट्रेड में छात्रों को पढ़ाने के लिए टीचर की कमी बनी हुई है। ट्रेड में प्रशिक्षण अधिकारी नहीं होने के कारण छात्रों की क्लास प्रभावित हो रही है। ऐसा नहीं है कि उच्च विभाग तक इसकी जानकारी न हो, फिर भी व्यवस्थाएं सुधारने में लापरवाही बरती जा रही है। प्रभारी प्राचार्य का कहना है कि हमने पत्र व्यवहार कर समस्या बताई है। पढ़ाई नहीं होने के कारण छात्रों के भविष्य पर खतरा बना हुआ है। आईटीआई प्रबंधन की मानें तो ट्रेड में रिक्त पड़े प्रशिक्षण अधिकारियों के पदों को भरने के लिए कई बार पत्र लिखा गया है, लेकिन अभी तक कोई व्यवस्था नहीं की गई है।
बुरहानपुर कॉलेज की व्यवस्था
बुरहानपुर में आईटीआई कॉलेज शाहपुर रोड पर बना है। पहले किराए के भवन में यह कॉलेज चलता था, फिर इसके लिए भवन बना दिया। लेकिन पढ़ाने वालों की व्यवस्था नहीं की। न ही यहां भृत्य या अन्य कार्यालय सहायक है। जब यहां जानकारी ली तो पता चला कि यहां वेल्डर, फीटर, विद्युत व कोपा फैकल्टी है। 4 ट्रेनिंग शिक्षक यहां काम कर रहे हैं, जबकि आवश्यकता 10 की है। इतना बड़ा अंतर है, इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि बच्चों की क्या पढ़ाई होती होगी।
यह जिम्मेदारी संभाल रहे शिक्षक
प्रभारी प्राचार्य का ही कहना है कि जिला स्तर का कॉलेज होने से यहां पर सामान्य गतिविधि होती रहती है। स्टॉफ बहुत कम है। 4 टे्रनिंग ऑफिसर काम कर रहे हैं। कार्यालय सहायक के लिए कोई कर्मी नहीं है। आवश्यकता 9-10 की है। जो टे्रनिंग ऑफिसर है उनसे अकाउंट, भंडार ग्रह का भी काम कराया जा रहा है। भृत्य और माली की भी जरूरत है।
128 विद्यार्थियों की स्टैंड
बुरहानपुर के कॉलेज में 128 विद्यार्थियों की स्टैंड है। यहां एक और दो साल के कोर्स चलते हैं। इस लिहाज से यहां पढ़ाने वाले शिक्षकों की कमी है। सर्टिफिकेट कोर्स के लिए विद्यार्थी जिस उम्मीद से यहां आते है उस लिहास से यहां टे्रनिंग नहीं मिल पा रही है।
नेपानगर और खकनार में भी यही हाल
बुरहानपुर मुख्यालय के कॉलेज के यह हाल है तो खकनार और नेपानगर कॉलेज की स्थिति का अंदाजा लगाया जा सकता है। यहां भी पढऩे वाले बच्चे तो हैं, लेकिन फैकल्टी की कमी यहां भी बनी है।
- स्टॉफ की बहुत समस्या है। कई बार हम पत्र व्यवहार किया है। 4 ट्रेनिंग ऑफिसर है, आवश्यकता 9-10 की है। माली और भृत्य नहीं है। कार्यालय सहायक भी नहीं है।
- पीएल पुवांरे, प्रभारी प्रचार्य बुरहानपुर
2012 से शासकीय कॉलेज
3 शासकीय कॉलेज जिले में
4 निजी कॉलेज जिले में