
अटके हाउसिंग प्रोजेक्ट्स को जल्द राहत मिलने वाली है। (PC: Pexels)
Real Estate News: अगर आपने भी अपने सपनों के घर के लिए पाई-पाई जोड़ी थी, लेकिन बिल्डर की लापरवाही या फंड की कमी के चलते आपका फ्लैट वर्षों से अटका पड़ा है, तो यह खबर आपके लिए राहत की सांस लेकर आई है। सूत्रों के अनुसार, केंद्र सरकार अटकी हुए हाउसिंग प्रोजेक्ट्स को फिर से पटरी पर लाने के लिए स्वामीह फंड-2 की रूपरेखा को अंतिम रूप दे रही है। इस कदम से रियल एस्टेट सेक्टर में भारी नकदी संकट दूर होने और उन लाखों मध्यमवर्गीय परिवारों को घर मिलने की उम्मीद जगी है, जो ईएमआई भरने के बावजूद किराए के मकानों में रहने को मजबूर हैं।
15,000 करोड़ रुपए के इस फंड के लॉन्च से लगभग 1,00,000 मध्यमवर्गीय घर खरीदारों को राहत मिलेगी। इसके लिए सरकार ने बजट 2025-26 में किफायती और मध्यम आय वाले आवास कोष (स्वामीह फंड) की विशेष विंडो के लिए 1,500 करोड़ रुपए की प्रारंभिक पूंजी पहले ही आवंटित कर दी है। अब नए फंड को अंतिम रूप दिया जा रहा है। और जल्द ही मंजूरी मिल जाएगी। यह फंड हाउसिंग परियोजनाओं के लिए अंतिम चरण की फंडिंग प्रदान करेगा और रुकी हुई आवासीय परियोजनाओं में निवेश को गति देगा।
रियल एस्टेट सेक्टर में कानूनी और नियामकीय अड़चनों के चलते कई बड़े प्रोजेक्ट्स संकट में फंसते नजर आ रहे हैं। रियल एस्टेट एक्सपर्ट रितेश अग्रवाल ने बताया कि जयपुर में ऐसे प्रोजेक्ट्स की संख्या 40 से अधिक है, जिनकी अनुमानित लागत करीब 1000 करोड़ रुपए है। इन परियोजनाओं में जमीन के मालिकाना हक से जुड़े विवाद प्रमुख कारण हैं, जिनमें लैंड टाइटल, उत्तराधिकार और पार्टनरशिप से जुड़े मामले शामिल हैं।
वर्ष 2024 के अंत तक देश के 44 बड़े शहरों में 2000 से अधिक हाउसिंग प्रोजेक्ट्स अटके हुए थे, जिनमें 5.10 लाख मकान खरीदारों का पैसा फंसा हुआ है। एसबीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, इन रुके हुए संकटग्रस्त हाउसिंग प्रोजेक्ट्स को पूरा करने के लिए 55,000 से 75,000 करोड़ रुपये का फंड चाहिए।
Published on:
26 Dec 2025 01:15 pm
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