26 दिसंबर 2025,

शुक्रवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

Shyam Dhani Industries IPO: 1000 गुना सब्सक्रिप्शन, 100% GMP, लिस्टिंग से पहले ही ‘पैसा डबल’ कर रहा यह आईपीओ

Shyam Dhani Industries IPO: इस आईपीओ को निवेशकों से जबरदस्त प्रतिक्रिया मिली है। इससे शेयर का ग्रे मार्केट प्रीमियम पर भारी उछाल के साथ 100 फीसदी पर पहुंच गया है।

less than 1 minute read
Google source verification

भारत

image

Pawan Jayaswal

Dec 24, 2025

Shyam Dhani Industries IPO

श्याम धानी इंडस्ट्रीज के आईपीओ को निवेशकों से जबरदस्त रिस्पांस मिला है। (PC: AI)

Shyam Dhani Industries के आईपीओ को निवेशकों से जबरदस्त रिस्पांस मिला है। यह आईपीओ 22 दिसंबर को सब्सक्रिप्शन के लिए खुला था। तीसरे दिन तक इस आईपीओ को करीब 1000 गुना सब्सक्राइब किया जा चुका था। यह एक एनएसई एसएमई आईपीओ है। यह आईपीओ काफी अधिक चर्चा में इसलिए भी है, क्योंकि इसका ग्रे मार्केट प्रीमियम काफी हाई चल रहा है। आइए इस आईपीओ से जुड़ी अहम डिटेल्स जानते हैं।

लिस्टिंग से पहले ही 100% 'मुनाफा'

श्याम धानी इंडस्ट्रीज का शेयर जबरदस्त जीएमपी पर ट्रेड कर रहा है। यह शेयर ग्रे मार्केट में बुधवार शाम 100 फीसदी के प्रीमियम के साथ ट्रेड करता दिखाई दिया। इस अनुसार, शेयर स्टॉक एक्सचेंजों पर 140 रुपये पर लिस्ट हो सकता है। इस आईपीओ में प्राइस बैंड 65 रुपये से 70 रुपये प्रति शेयर रखा गया। रिटेल निवेशकों के लिए न्यूनतम 4,000 शेयरों की बोली लगाना अनिवार्य था। श्याम धानी इंडस्ट्रीज ने आईपीओ से पहले ही एंकर निवेशकों से 10.92 करोड़ रुपये जुटा लिये थे।

कंपनी कहां करेगी पैसे का इस्तेमाल?

यह पूरी तरह फ्रेश इश्यू है, जिसमें 38.5 करोड़ रुपये के नए शेयर जारी किये गए हैं। आईपीओ से मिली रकम का यूज कंपनी पुराने कर्ज चुकाने, मार्केटिंग और वर्किंग कैपिटल में खर्च करने, सोलर रूफटॉप प्लांट लगाने और सामान्य कॉर्पोरेट जरूरतों के लिए करेगी। आईपीओ में शेयरों का अलॉटमेंट 26 दिसंबर को हो सकता है। वहीं, शेयरों की लिस्टिंग 30 दिसंबर को हो सकती है। कंपनी के शेयर एनएसई एसएमई पर लिस्ट होंगे।

क्या करती है कंपनी?

यह कंपनी श्याम ब्रांड नेम के तहत 164 प्रकार के मसालों का निर्माण और प्रोसेसिंग करती है। वित्त वर्ष 2023 में कंपनी का मुनाफा 2.9 करोड़ रुपये था। यह वित्त वर्ष 2025 में बढ़कर 8.04 करोड़ रुपये हो गया।