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कौन हैं एंथनी डी मेलो, जिनके नाम पर भारत और इंग्लैंड के बीच खेली जाती है टेस्ट सीरीज

Anthony de Mello Trophy: भारत और इंग्लैंड के बीच जब टेस्ट सीरीज भारतीय टीम सरजमीं पर खेली जाती है तो उसके विजेता को एंथनी डी मेलो ट्रॉफी दी जाती है। ऐसे में सवाल उठता है कि एंथनी डी मेलो कौन थे, जिनके नाम पर यह ट्रॉफी दी जाती है।

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Indian cricketers with Anthony De Mello trophy

Indian cricketers with Anthony De Mello trophy on Dec 20, 2016 (File Photo - IANS)

Anthony de Mello Trophy: एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी ( जिसे पहले पटौदी ट्रॉफी के नाम से जाना जाता था) से क्रिकेट प्रशंसक भलीभांति परिचित होंगे। लेकिन क्या आप जानते हैं कि भारत और इंग्लैंड के बीच जब टेस्ट सीरीज भारतीय सरजमीं पर खेली जाती है तो उसके विजेता को एंथनी डी मेलो ट्रॉफी दी जाती है। वैसे भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट सीरीज 1933-34 से खेली जा रही है, लेकिन एंथनी डी मेलो ट्रॉफी की शुरुआत 1951 में भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ने की थी। ऐसे में सवाल उठता है कि एंथनी डी मेलो कौन थे, जिनके नाम पर यह ट्रॉफी दी जाती है। यदि आपको यह नहीं पता तो चलिए हम इसके बारे में आपको बताते हैं।

दरअसल, एंथनी डी मेलो भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के संस्थापक सदस्यों में से एक थे। उन्होंने घरेलू स्तर पर क्रिकेट भी खेला और भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड की स्थापना में अहम भूमिका निभाई। उनका जन्म 1900 में कराची में हुआ, लेकिन उन्होंने अपनी शुरुआती शिक्षा सिंध में ली। हालाकि बाद में वे इंग्लैंड चले गए, जहां उन्होंने कैब्रिज यूनिवर्सिटी से डिग्री ली।

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एंथनी डी मेलो 1927 में हुई उस बैठक का हिस्सा थे, जिसमें बीसीसीआई की स्थापन पर बता हुई। इस बैठक में पटियाला महाराजा और कारोबारी आर.ई ग्रांट गोवन बी थे। दिल्ली के रोशनआरा क्लब में 1928 में बीसीसीआई का गठन हुआ तब आर.ई. ग्रांट गोवन भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) के पहले अध्यक्ष बने और डी मेलो पहले सचिव।

हालांकि एंथनी डी मेलो ने बाद में मुंबई में क्रिकेट क्लब ऑफ इंडिया के गठन का भी काम किया। एंथनी डी मेल 1928-29 से 1937-38 तक बीसीसीआई सचिव, 946-47 से 1950-51 के बीच अध्यक्ष रहे बने। उन्होंने ही 1934 में शनल चैंपियनशिप और इसकी ट्रॉफी का प्रस्ताव रखा, जो आगे चलकर रणजी ट्रॉफी कहलाया।

एथनी डी मेलो का जुड़ाव सिर्फ क्रिकेट से नहीं बल्कि टेबल टेनिस और एशियन गेम्स से भी रहा है। तभी तो वह 1948 में वे एशियन क्रिकेट कॉन्फ्रेंस के संस्थापक अध्यक्ष बने। वह भारतीय टेबल टेनिस फेडरेशन के अध्यक्ष रहे। इसके अलावा उन्होंने टेनिस फेडरेशन की स्थापना भी उन्होंने ही की। वहीं दिल्ली में हुए पहले एशियाई खेलों के आयोजन समिति के चेयरमैन पद पर भी आसीन रहे।

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