Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

करवा चौथ की रौनक… बाजारों में सजा श्रृंगार और पूजा सामग्री का मेला, 10 अक्टूबर को महिलाएं रखेंगी व्रत

Karva Chauth 2025: छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले में करवा चौथ का व्रत इस साल 10 अक्टूबर को दो शुभ संयोग में मनाया जाएगा। इस दिन पति के दीर्घायु के लिए व्रत रखने से अभिष्ट फल की प्राप्ति होगी।

2 min read
Google source verification
करवा चौथ की रौनक... बाजारों में सजा श्रृंगार और पूजा सामग्री का मेला, 10 अक्टूबर को महिलाएं रखेंगी व्रत(photo-patrika)

करवा चौथ की रौनक... बाजारों में सजा श्रृंगार और पूजा सामग्री का मेला, 10 अक्टूबर को महिलाएं रखेंगी व्रत(photo-patrika)

Karva Chauth 2025: छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले में करवा चौथ का व्रत इस साल 10 अक्टूबर को दो शुभ संयोग में मनाया जाएगा। ज्योतिषाचार्यों की मानें तो करवा चौथ के दिन वैदिक पंचांग के अनुसार सिद्धि योग और शिववास योग बन रहा है। इस दिन पति के दीर्घायु के लिए व्रत रखने से अभिष्ट फल की प्राप्ति होगी।

विप्र विद्ववत परिषद के मीडिया प्रभारी पंडित राजकुमारी तिवारी, श्रीकांत तिवारी ने बताया कि आश्विन माह के बाद कार्तिक माह की शुरूवात होती है। इस माह में भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने का विधान है।

Karva Chauth 2025: 10 अक्टूबर को महिलाएं रखेंगी करवा चौथ व्रत

देव पंचांग के अनुसार कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि पर करवा चौथ का त्यौहार मनाया जाता है। देव पंचांग के अनुसार करवा चौथ का व्रत 10 अक्टूबर को मनाया गया। चतुर्थी तिथि का समापन दस अक्टूबर की शाम को हो रहा है। कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि 9 अक्टूबर की रात्रि 10.45 बजे प्रारंभ होगी। 10 अक्टूबर को शाम 7.38 बजे समाप्त होगा। उदया तिथि के अनुसार व्रत 10 अक्टूबर को रखा गया।

करवा चौथ व्रत अब 3 बजे तक दिन शेष रह गए हैं। इसके लिए मकई चौक बाजार भी सजकर तैयार है। सामान विक्रेता इंद्राणी ढीमर, प्रेमिन बाई ढीमर ने बताया कि पिछले कुछ सालों में धमतरी में करवा चौथ व्रत का चलन बढ़ा है। इस साल आकर्षक डिजाईन वाली करवा 100 से 150 पोर्टफोलियो में बिक रही है। थाली गहनों का कपड़ा 60 से 70 डॉलर तथा आसन 70 से 100 रूपए तक उपलब्ध है। इसके अलावा काजल, मेहंदी समेत सोलह श्रृंगार की डिमांड है।

सरगी का सेवन करना अनिवार्य

करवा चौथ व्रत में कई नियमों का कड़ाई से पालन करना होता है। करवा चौथ व्रत शुरू करने के पहले महिलाओं को सुबह उठकर सरगी का सेवन करना अनिवार्य है। यह सरगी महिलाओं को उनकी सास द्वारा दिया जाता है। इस दिन नाखून कटाने समेत कई कड़े नियमों का पालन करना अनिवार्य होता है। दिनभर निर्जला व्रत रखकर शाम को करवा माता की पूजा कर रात में चंद्रदेव के दर्शन कर अर्ध्य देकर अपने पति के हाथों जल ग्रहण कर व्रत तोड़ना होता है।

इस तरह हुई थी करवा चौथ की शुरुआत

प्रचलित कथाओं के अनुसार करवा चौथ का सबसे पहले उपवास माता पार्वती ने भगवान शिव को पति रूप में वरण करने के लिए रखा था। इससे उन्हें अखंड सौभाग्य की प्राप्ति हुई थी। एक अन्य कथा के अनुसार देव-दानव युद्ध के समय अपने पति की दीर्घायु के लिए ब्रह्मदेव के कहने पर देवियों ने करवा चौथ का व्रत किया था। तब से करवा चौथ का व्रत रखा जाने लगा।