वहीं वर्ष 2020 में ही शनि 27 दिसम्बर को अस्त भी हो जाएंगे, शनि के अस्त होने के साथ ही उसके प्रभाव कुछ कम हो जाएंगे। धनु और मकर राशि में पहले से ही शनि की साढ़े साती का प्रभाव चल रहा था। ऐसे में अब कुम्भ राशि पर भी शनि की साढ़े साती का पहला चरण शुरु हो जाएगा। शनि मकर और कुम्भ दो राशियों के स्वामी हैं। शनि की दो राशियों में से एक राशि मकर में शनि का गोचर होने जा रहा है वहीं शनि की दूसरी राशि कुम्भ शनि की स्व-राशि और मूल त्रिकोण राशि है।
MUST READ : आपका ये छोटा सा काम कर देगा शनिदेव को प्रसन्न, होगी कृपा की बारिश
पंडित सुनील शर्मा के अनुसार शनि की मकर राशि में वक्री चाल केवल मकर राशि वालों को ही नहीं वरन सभी 12 राशियों पर अपना विशेष असर छोड़ेगा। लेकिन ये भी जरूरी नहीं कि शनि की ये चाल आपको परेशान ही करें अगर आपकी कुंडली में शनि मजबूत स्थिति में हैं तो शनि की वक्री चाल आपको कष्ट नहीं देगी। आईये जानते हैं शनि का ये गोचर आप सभी के व्यवसाय, नौकरी, विवाह, प्रेम, संतान, शिक्षा और स्वास्थ्य पर क्या प्रभाव पड़ेगा।राशियों पर असर… effect on your zodiac signs
1. मेष राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
मेष राशि में शनि दशम और एकादश भाव का स्वामी हो कर राशि से दशम भाव यानि कर्म भाव में ही गोचर करेगा। इस गोचर में आपकी मेहनत और संघर्ष बहुत बढ़ जाएगा। नये काम के लिए सोच रहे हैं, तो अप्रैल तक कर लें क्योंकि 11 मई से शनि के वक्री होने की वज़ह से नये काम में रुकावट आ सकती हैं और जिस लाभ की आशा कर रहे थे वह भी समय से नही मिल पाएगा। घर से जुड़े किसी कार्य में धन का खर्च हो सकता है और आपका अपने घर का सपना भी इस शनि के गोचर में अवश्य सफल होगा।
उपाय: महाराज दशरथ कृत नील शनि स्तोत्र का पाठ करने के अलावा शनिवार को शाम के समय पीपल वृक्ष के नीचे सरसों के तेल का दीपक रखें।
2. वृषभ राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
वृषभ राशि में शनि नवम और दशम भाव का स्वामी हो कर इस समय यह आपकी राशि से नवम भाव यानि भाग्य भाव में ही गोचर करेंगे। शनि का भाग्य स्थान में गोचर होने से पिता के साथ कुछ मतभेद हो सकता है। आपको उनकी सेहत का भी ध्यान रखना चाहिए। कार्य-स्थल में मेहनत अधिक होने के बाद लाभ के आसार कम नज़र आ रहे हैं। सब्र और धैर्य से ही काम करें तो बेहतर रहेगा। प्रमोशन के बारे सोच रहे हैं तो ये शनि का गोचर अभी और इंतज़ार करवायेगा। इस दौरान कोई भी ऐसा वादा न करें जिसे आप समय पर पूरा न कर पायें।
उपाय: शनि मंत्र का जाप करें।
MUST READ : शुरू होने जा रही है बुध की वृषभ यात्रा, जानिये क्या होगा असर
3. मिथुन राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 सेमिथुन राशि में शनि अष्टम और नवम भाव का स्वामी हो कर आपकी राशि से इस समय यह अष्टम भाव यानि आयु भाव में ही गोचर करेंगे। अष्टम भाव में शनि का प्रभाव होने से अचानक ही परेशानियों का सामना करना पड़ सकता हैं। आर्थिक स्थिति भी कुछ कमजोर नज़र आ रही है और धन से जुड़े कार्य में भी ये शनि आय व लाभ में कमी करेगा। शनि के आपकी राशि से अष्टम भाव में गोचर करने से कभी–कभी खुद को भ्रमित सा महसूस करोगे। अगर किसी महत्वपूर्ण निर्णय लेते समय ऐसा हो तो किसी सीनियर की सलाह लें या कुछ समय के लिए टाल दें तो बेहतर रहेगा।
शनि गोचर 2020 के अनुसार कर्क राशि में शनि सप्तम और अष्टम भाव का स्वामी हो कर आपकी राशि से सप्तम भाव यानि विवाह भाव में ही गोचर करेंगे। किसी महिला मित्र की वज़ह से आपको फायदा होगा। आलस को अपने से दूर ही रखें क्योंकि आलसी लोगों को शनि शुभ फल नही देते हैं।
5. सिंह राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
सिंह राशि में शनि षष्टम और सप्तम का स्वामी हो कर इस दौरान आपकी राशि से षष्टम भाव यानि रोग व शत्रु भाव में गोचर करेंगे। ऐसे में यह गोचर आपकी मेहनत और संघर्ष को बहुत बड़ा देगा, जिससे आप खुद को बहुत व्यस्त महसूस करेंगे। किसी ज़मीन में निवेश करने की सोच रहे हैं तो बहुत ही सोच समझ कर करें, नहीं तो वर्ष के मध्य में आपके साथ धोखा हो सकता है। किसी अच्छे पद की चाहत में जल्दबाज़ी न करें, संयम से ही चलेंगे तो प्रमोशन भी मिलेगा। स्वास्थ्य से जुड़ी समस्यायें दिखाई दे रही हैं। किसी पुरानी बीमारी की वज़ह से मानसिक तनाव बना रहेगा।
उपाय: शनिवार के दिन साबुत काली उड़द का दान करने के अलावा पीपल वृक्ष के नीचे तिल के तेल का दीपक शाम को जलाएं।
6. कन्या राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
कन्या राशि में शनि पंचम और षष्टम भाव का स्वामी हो कर आपकी राशि से पंचम भाव यानि बुद्धि व पुत्र भाव में यह इस दौरान ही गोचर करेगा। शनि के इस गोचर से आप किसी रुकी हुई शिक्षा को दोबारा शुरु कर सकते हैं या किसी शोध में भी खोज कर सकते हैं। शनि की स्थिति आपकी सोच को गंभीर बना देगी, जिससे आप बहुत ही गहराई में जा कर कोई महत्वपूर्ण निर्णय ले सकते हैं। आप अपनी महिला मित्र के लिए आभूषण भी ख़रीद सकते हैं। वाहन और घर से जुड़े खर्चे के लिए साल के मध्य का समय बेहतर नही है।
उपाय: आपको शनि प्रदोष का व्रत रखें।
MUST READ : कोरोना की जन्मपत्री – जानें राशि के अनुसार बचाव के उपाय
7. तुला राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
तुला राशि में शनि चतुर्थ और पंचम भाव का स्वामी हो कर आपकी राशि से चतुर्थ भाव यानि माता व सुख भाव में गोचर करेगा। तुला राशि वालों को व्यापार में शनि नये अवसर देगा, लेकिन किसी तरह का अहम आपके लिए नुकसान का कारण भी बन सकता है। अगर विदेश से जुड़े किसी प्रोजेक्ट का इंतज़ार कर रहे थे तो आपको उसके मिल जाने से लाभ की प्राप्ति होगी। किसी के कहने से कोई बड़ा निवेश न करें और न ही वर्ष के मध्य में भूमि में निवेश के बारे में सोचें। शनि के वक्री होने से माता से भी किसी तरह का मतभेद बना रहेगा। क्योंकि इस वज़ह से आपको मानसिक रुप से भी कष्ट का सामना करना पड़ सकता है।
उपाय: किसी जानकार की सलाह पर नीलम रत्न धारण करें।
8. वृश्चिक राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
वृश्चिक राशि में शनि तृतीय और चतुर्थ भाव का स्वामी हो कर आपकी राशि से तृतीय भाव यानि पराक्रम भाव में गोचर करेंगे। इस शनि के गोचर से आपके ऊपर चल रही साढ़े साती अब समाप्त हो जाएगी। इस समय आप कुछ आलस सा महसूस करेंगे और अगर काम को कल पर टालने की सोचेंगे तो नुकसान भी आपका ही होगा। व्यापार में कोई नया काम करने की सोच रहे हैं तो यह समय कार्य के लिए बेहतर रहेगा। आर्थिक स्थिति भी सामान्य बनी रहेगी और कार्य में आर्थिक स्थिति को लेकर कोई रुकावट नहीं आएगी। माता से किसी बात को लेकर वाद-विवाद हो सकता है। किसी मित्र की सहायता से आपके रुके काम सुचारु रुप से बनने लगेंगे लेकिन उसी मित्र के साथ किसी नये काम की शुरुआत न करें।
उपाय: शनिवार के दिन चीटियों को आटा डालें।
9. धनु राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
धनु राशि में शनि दूसरे और तृतीय भाव का स्वामी हो कर आपकी राशि से दूसरे भाव यानि संपत्ति भाव में गोचर करेगा। कोई भी नया कार्य पूरी तरह से ध्यान लगा कर ही शुरु करें, तभी यह शनि आपको सफलता दिलाएगा। शनि की साढ़े-साती का आखिरी चरण होने से ये शनि जाते जाते आपको सोने की तरह तपाकर उजला बना देगा।
व्यापार के लिए यह वर्ष बहुत मेहनत और संघर्ष भरा रहेगा, लेकिन इसका परिणाम भी बेहतर ही होगा। आर्थिक स्थिति के लिए यह गोचर कुछ तंगी लाएगा और धन से जुड़ी समस्या बनी रहेगी, लेकिन आपका कोई काम नही रुकेगा। ज़मीन से जुड़ा कोई फायदा ये शनि आपको दे सकता है।
उपाय: आपको शनिवार के दिन किसी काले कपड़े अथवा काले धागे में धतूरे की जड़ धारण करें।
10. मकर राशि : शनि गोचर 11 मई 2020 से
मकर राशि में शनि लग्न के और दूसरे भाव का स्वामी हो कर आपकी राशि में ही गोचर कर रहा है। इस गोचर से मानसिक परेशानी तो बनी रहेगी पर शनि के अपनी ही राशि में गोचर करने से इस मानसिक तनाव से लड़ने की प्रेरणा भी यही शनि ही देगा। इस गोचर से आपकी निर्णय शक्ति में संतुलन और गहराई आएगी और आपको अपनी नई मंज़िल मिलेंगी। आर्थिक स्थिति में भी लाभ बना रहेगा। अपना घर लेने की सोच रहे हैं तो वह सपना भी अवश्य पूरा होगा।
उपाय: शनिदेव की आराधना भी करें।
11. कुंभ राशिफल : शनि गोचर 11 मई 2020 सेकुम्भ राशि में शनि बारहवें और प्रथम भाव का स्वामी हो कर इस समय शनि आपकी राशि से बारहवें भाव यानि व्यय भाव में गोचर करेगा। जिससे आपकी राशि में संघर्ष व मेहनत बढ़ जाएगी और आपको अपनी जिंदगी की हकीक़त पता चलेगी। इस समय में आपके अपने दूर जाने लगेंगे और कुछ ऐसे रिश्ते करीब आएंगे, जिसके बारे में आपने कभी सोचा भी नहीं था।
मीन राशि में शनि एकादश और बारहवें भाव के स्वामी हो कर आपकी राशि से एकादश भाव यानि आय भाव में ही गोचर करेगा। शनि का एकादश भाव में गोचर करने पर इसका पूर्ण प्रभाव आपकी राशि पर बना रहेगा। इस समय में आलस को अपने पर हावी न होने दें नहीं तो बहुत ही महत्वपूर्ण अवसरों से वंचित रह जाओगे। व्यापार से जुड़े बहुत से नये अवसर आएंगे और आपको आगे बढ़ने का का मौका मिलेगा। आप कुछ नया कर दिखाओगे। समाज में भी आपकी नई पहचान बनेगी। सेहत के हिसाब से यह गोचर बेहतर रहेगा। आपकी आर्थिक स्थिति में भी आपके माता पिता आपकी मदद करेंंगे।