
Production of wheat expected to be at record 115 million tonnes: IIWBR
नई दिल्ली। भारतीय गेहूं एवं जौ अनुसंधान संस्थान (आईआईडब्ल्यूबीआर) का अनुमान है कि देश में इस साल रिकॉर्ड 11.5 करोड़ टन गेहूं का उत्पादन हो सकता है, जोकि पिछले साल से तकरीबन सात फीसदी ज्यादा होगा। विशेषज्ञ बताते हैं कि रबी सीजन की फसलों के लिए मौसम अनुकूल है और गेहूं की बुआई में किसानों ने खूब दिलचस्पी ली है। दिलचस्प बात यह है कि देश की राजधानी दिल्ली की सीमाओं पर तकरीबन तीन महीने से किसान धरना प्रदर्शन पर बैठे हैं, फिर भी उनकी खेती-किसानी के काम पर कोई असर नहीं पड़ा है।
गेहूं का बनेगा नया रिकॉर्ड
ख्यात कृषि वैज्ञानिक और भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के तहत आने वाले हरियाणा के करनाल स्थित भारतीय गेहूं एवं जौ अनुसंधान संस्थान (आईआईडब्ल्यूबीआर) के निदेशक डॉ. ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह के अनुसार उनके संस्थान का आकलन है कि गेहूं के उत्पादन में देश में फिर एक नया रिकॉर्ड बनेगा और इस साल भारत का गेहूं उत्पादन करीब 11.5 करोड़ टन रहेगा बशर्ते आगे मौसम की कोई ऐसी मार न पड़े।
गेहूं की कई वैरायटी
केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय द्वारा जारी फसल वर्ष 2019-20 (जुलाई-जून) के चौथे अग्रिम उत्पादन अनुमान के अनुसार, देश में गेहूं का उत्पादन करीब 10.76 करोड़ टन आंका गया है। डॉ. सिंह ने कहा, "हमारे पास अब गेहूं की ऐसी वेरायटीज है जो देश के विभिन्न जलवायु क्षेत्र के लिए अनुकूल है और अच्छी पैदावार देती है। मसलन, गेहूं की डीबीब्ल्यू-187 की प्रति हेक्टेयर पैदावार 80 क्विंटल तक है। इसी प्रकार की कई अन्य वेरायटीज हैं।
लगातार बढ़ रही है सरकारी खरीद
आईआईडब्ल्यूबीआर के निदेशक ने बताया कि मध्यप्रदेश में इस साल गेहूं की बुआई काफी ज्यादा हुई है और फसल भी अच्छी है। गेहूं की बुवाई में किसानों की ज्यादा दिलचस्पी की वजह पूछने पर उन्होंने कहा कि सबसे बड़ी वजह है कि सरकारी खरीद लगातार बढ़ रही है जिससे किसानों को गेहूं का लाभकारी दाम मिलना सुनिश्चित हुआ है। पिछले सीजन में सरकारी एजेंसियों ने देशभर में किसानों से 389.83 लाख टन गेहूं तय न्यूनतम समर्थन मूल्य 1,925 रुपये प्रति क्विंटल पर खरीदा। इस साल गेहूं की फसल के लिए केंद्र सरकार ने एमएसपी 50 रुपये बढ़ाकर 1,975 रुपये प्रति क्विंटल तय किया है।
गेहूं की बुवाई हुई ज्यादा
चालू फसल वर्ष 2020-21 (जुलाई-जून) में गेहूं की बुवाई 346 लाख हेक्टेयर से ज्यादा हुई है जोकि पिछले साल से तकरीबन तीन फीसदी अधिक है। गेहूं की बुवाई सबसे ज्यादा उत्तर प्रदेश में 99 लाख हेक्टेयर से अधिक हुई है जबकि दूसरे नंबर पर मध्य प्रदेश है जहां गेहूं का रकबा इस साल पिछले साल से 8.30 लाख हेक्टेयर बढ़कर करीब 88 लाख हेक्टेयर हो गया है। पंजाब में 35 लाख हेक्टेयर और हरियाणा में 25 लाख हेक्टेयर से अधिक भूमि में गेहूं की बुवाई हुई है। हरियाणा में रकबा थोड़ा बढ़ा है जबकि पंजाब में तकरीबन पिछले साल के बराबर है।
Published on:
17 Feb 2021 01:50 pm
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