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यूपी और गुजरात से ज्‍यादा महंगा होगा कर्नाटक चुनाव

Published: May 02, 2018 02:08:51 pm

Submitted by:

Saurabh Sharma

कर्नाटक साउथ इंडिया के सबसे अमीर राज्‍यों में से एक हैं। ऐसे में वहां नेताओं के पास रुपयों की कोई कमी नहीं है।

karnataka election

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नई दिल्‍ली। जिस तरह से कर्नाटक चुनाव की हीट बढ़ रही है, उससे तो यही लग रहा है कि खर्च के मामले में इस बार कर्नाटक चुनाव यूपी और गुजरात चुनावों को भी पीछे छोड़ सकता है। क्‍योंकि जिस तरह से राहुल और मोदी एवं अमित शाह ताबड़तोड़ रैलियां कर रहे हैं और दोनों पार्टियों के कैंडिडेट खर्चा कर रहे हैं वो तमाम रिकॉर्ड तोड़ने को तैयार बैठे हैं। आपको बता दें कि पार्टियों के खर्चे के लिहाज से उत्‍तर प्रदेश का चुनाव सबसे महंगा चुनाव साबित हुआ था। वो भी तब जब देश में अचानक से नोटबंदी लागू कर दी गई थी। ऐसे में अब ना तो नोटबंदी है और ना ही कोई कढ़ा आदेश जिससे चुनावों में रुपया खर्च करने में कोई दिक्‍कत हो।

यूपी में हुए 5500 करोड़ रुपए खर्च
उत्तर प्रदेश के चुनाव में विभिन्न दलों ने 5500 करोड़ रुपए खर्च किए थे। जिनमें से करीब 1000 करोड़ रुपए ‘वोट के बदले नोट’ पर खर्च किए गए थे। यूपी चुनाव में चौड़े पर्दे पर प्रदर्शन और वीडियो वैन समेत प्रिंट और इलेक्ट्रोनिक पर ही 600-900 करोड़ रुपए खर्च हुआ था। वहीं हर वोट पर करीब 750 रुपए का खर्च आया था जो उस समय देश में सर्वाधिक था। अगर बात यूपी की सभी पार्टियों में इन रुपयों को बराबर में बांट दिया जाए तो हर पार्टी ने औसत 1150 करोड़ रुपये से अधिक खर्च किए थे।

गुजरात में भी कम नहीं हुए थे खर्च
देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गृह प्रदेश गुजरात के चुनावों में कम रुपया खर्च नहीं हुआ था। जिस तरह से देश के सभी बीजेपी सीएम और केंद्रीय कैबिनेट गुजरात में रैलियां कर रहा था तो उसमें पार्टी फंड की ओर से रिकॉर्ड खर्चा किया गया था। पार्टी फंड की ओर से कितना खर्चा हुआ अभी तक इसका अधिकारिक आंकड़ा तो नहीं मिल सका है, लेकिन जानकारों की मानें तो 900 करोड़ रुपए से अधिक पार्टी की ओर से खर्चा हुआ था। वहीं पार्टी के 182 उम्‍मीदवारों ने औसत 16.45 लाख रुपये खर्च किए थे। इसका मतलब ये हुआ कि कैंडीडेट्स ने 29,93,90,000 रुपये खर्च हुए थे। वहीं बात कांग्रेस की करें तो वहां पार्टी की ओर से कोई कम खर्चा नहीं हुआ। जानकारों की मानें तो कांग्रेस ने पार्टी फंड से करीब 700 करोड़ रुपये का खर्चा किया था। वहीं 178 कैंडीडेट्स ने औसतन 15.99 लाख खर्चा किया। कांग्रेस कैंडीडेट्स ने कुल 28,46,22,000 रुपये का खर्चा किया।

यूपी को पछाड़ेगा कर्नाटक यूपी का चुनाव
कुछ ही दिनों में कर्नाटक में मतदान होने वाले हैं। अगर कर्नाटक में नेताओं की संपत्ति की बात करें तो वो यूपी और गुजरात के नेताओं से काफी ज्‍यादा है। दोनों प्रमुख पार्टियां भी खर्चा करने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है। राहुल की कितनी रैलियां और दौरे और कितने समय से चल रहे हैं यह किसी से छिपा नहीं है। जानकारों की मानें तो कांग्रेस कर्नाटक चुनाव में कुल खर्च 1300 करोड़ के आसपास पहुंच सकता है। वहीं बात बीजेपी की करें तो अभी तक अमित शा‍ह कर्नाटक में डेरा डाले हुए थे। योगी आदित्‍यनाथ भी कर्नाटक में रथ यात्रा निकाल चुके हैं। जिनमें करोड़ों रुपयों का खर्चा हो चुका है। पीएम नरेंद्री की अभी शुरूआत हुई है। जानकारों की मानें तो बीजेपी का भी चुनावी खर्चा 1400 से 1500 करोड़ के आसपास होने की उम्‍मीद है।

कैंडीडेट्स भी बहा रहे हैं रुपया
बीजेपी और कांग्रेस दोनों ही पार्टियों ने सभी 224 सीटों पर कैंडीडेट्स उतर दिए हैं। जैसा कि हम पहले ही बता चुके हैं कि कर्नाटक साउथ इंडिया के सबसे अमीर राज्‍यों में से एक हैं। ऐसे में वहां नेताओं के पास रुपयों की कोई कमी नहीं है। एक कैंडीडेट की 26 लाख की खर्च सीमा होने के बाद अनुमान 2 करोड़ से ऊपर का लगाया जा रहा है। ये दोनों पार्टियों के कैंडीडेट्स का है। जानकारों की मानें तो जिस तर‍ह से नेताओं के घरों से 2000 रुपये के नोटों के रूप में करोड़ों रुपये बरामद हुए हैं वो इस बात की ओर इशारा कर रहा है कि कैंडीडेट्स किस तरह से खर्चा कर रहे हैं। अनुमान के अनुसार बीजेपी और कांग्रेस के 448 कैंडीडेट्स 900 करोड़ रुपए का खर्चा कर सकते हैं।

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