कप्तान सुनील छेत्री रहे नायक
इस अहम मुकाबले में भारतीय टीम की जीत के नायक कप्तान सुनील छेत्री रहे। उन्होंने इस मैच में दो गोल किए, जबकि अनिरुद्ध थापा और जेजे लालपेखलुआ ने एक-एक गोल दागा। बता दें कि छेत्री टीम के लिए कुल 67 गोल कर चुके हैं। यह दुनियाभर में किसी भी प्लेयर से ज्यादा है, जिसने अपने देश के लिए गोल किया है। अनिरुद्ध थापा ने भारत के लिए अपना पहला गोल दागा। भारतीय टीम आठ साल के लंबे अंतराल के बाद इस टूर्नामेंट में वापसी कर रही है। भारत ने थाईलैंड को इससे पहले आखिरी बार 1986 में कुआलालम्पुर में हुए मेदेर्का टूर्नामेंट में हराया था।
किया अटैकिंग फुटबॉल का प्रदर्शन
भारत ने मैच की सकारात्मक शुरुआत की और अटैकिंग फुटबॉल का मुजाहरा किया। तीसरे मिनट में आशिक कुरुनियान ने लेफ्ट फ्लेंक से बॉक्स में शानदार क्रॉस दिया, लेकिन बॉक्स में कोई भी भारतीय खिलाड़ी गेंद को अपने नियंत्रण में नहीं ले पाया। इसके 11 मिनट बाद भारत को 18 गज के बॉक्स के बाहर फ्री-किक मिली। युवा मिडफील्डर थापा ने फ्री-किक ली और थाईलैंड के डिफेंडर ने हेडर के जरिए गेंद को क्लियर कर दिया। मैच के 26वें मिनट कुरुनियान एक बार फिर गेंद लेकर थाईलैंड के बॉक्स में दाखिल हुए और गेंद गोलकीपर से लग कर डिफेंडर के हाथों से टकरा गई। इस फाउल के लिए भारत को पेनाल्टी मिली, जिस पर गोल करने में छेत्री ने कोई गलती नहीं की।
एक गोल से पिछड़ने के बाद थाईलैंड की टीम ने बराबरी की ताबड़तोड़ कोशिशें की। इसका नतीजा यह हुआ कि भारतीय डिफेंस में मिले थोड़े से जगह का फायदा उठाते हुए 33वें मिनट में थाईलैंड के कप्तान तेरासिल दांगडा ने बेहतरीन हेडर के जरिए गोल दाग दिया। थाईलैंड के लिए दांगडा का यह 43वां गोल है।
भारत ने दूसरे हाफ में बनाया दबदबा
भारत ने दूसरे हाफ की धमाकेदार शुरुआत की। मैच शुरू हुए दो मिनट ही बीते थे कि 47वें मिनट में विंगर उदांता सिंह ने दाएं छोर से बॉक्स में बेहतरीन पास दिया और कुरुनियान ने गेंद को छेत्री की ओर धकेल दिया। छेत्री ने इसे सीधे गोलपोस्ट में पहुंचा दिया। भारतीय खिलाड़ियों का 2-1 की बढ़त बनाने के बाद आत्मविश्वास काफी बढ़ गया। उसने लगातार अटैक करते हुए थाईलैंड कें डिफेंस को परेशान रखा। 68वें मिनट में छेत्री ने बॉक्स में एक बार फिर खलबली मचाई और बॉक्स में ही मौजूद थापा को पास दिया जिन्होंने राष्ट्रीय टीम के लिए अपना पहला गोल करते हुए स्कोर 3-1 कर दिया।
भारतीय टीम ने अपने आक्रामक खेल को जारी रखा। सब्स्टीट्यूट के रूप में मैदान पर आए स्ट्राइकर जेजे लालपेखुआ ने 81वें मिनट में गोल करते हुए भारत की जीत सुनिश्चित कर दी। जेजे लंबे समय से खराब फॉर्म में चल रहे थे और उनके इस शानदार प्रदर्शन से कोच स्टीफन कांस्टेनटाइन को बाकी के मैचों के लिए आक्रमण में अधिक विकल्प मौजूद करा दिए।
भारत का अगला मुकाबला गुरुवार को मेजबान संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) के खिलाफ होगा।