17 दिसंबर 2025,

बुधवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

भाजपा का यह सहयोगी दल 13 जनवरी को मनाएगा महासंकल्प रैली, विधानसभा चुनाव से पहले दिखाएगा अपनी ताकत

निषाद पार्टी 13 जनवरी को लखनऊ में संकल्प दिवस पर अपनी ताकत दिखाएगी। राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं कैबिनेट मंत्री संजय निषाद ने कहा कि यह दिन महासंकल्प रैली के रूप में मनाया जाएगा

2 min read
Google source verification
Up news, gorakhpur

फोटो सोर्स: इमेज, डॉ संजय निषाद

भाजपा के सहयोगी दल निषाद पार्टी का 13वां संकल्प दिवस को महासंकल्प रैली के रूप में मनाने की तैयारी है। 13 जनवरी 2026 को लखनऊ में प्रस्तावित इस ऐतिहासिक आयोजन में मछुआ समाज का विशाल महासंगम देखने को मिलेगा। पार्टी नेतृत्व का आह्वान है कि समाज के लोग भारी संख्या में लखनऊ पहुंचें और एकजुटता का प्रदर्शन करें।

कैबिनेट मंत्री संजय निषाद बोले…संकल्प दिवस उनके जीवन का महत्वपूर्ण मोड़

निषाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष व कैबिनेट मंत्री डा. संजय निषाद ने बताया कि संकल्प दिवस उनके जीवन का महत्वपूर्ण मोड़ है। इसी दिन उन्होंने जनसेवा और राजनीति के माध्यम से समाज के अधिकारों के लिए संघर्ष का संकल्प लिया था। उन्होंने कहा कि 2016 में निषाद पार्टी का गठन मछुआ समाज को राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक अधिकार दिलाने के उद्देश्य से किया गया था।

केंद्र व प्रदेश सरकार द्वारा 24 कल्याणकारी योजनाएं लागू

संजय निषाद ने कहा कि पार्टी के प्रयासों से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार में मछुआ समाज के लिए 24 कल्याणकारी योजनाएं लागू कराई गईं, जिनका लाभ आज समाज को मिल रहा है। ताल, पोखरों, घाटों के आवंटन, राजस्व संहिता के तहत अधिकार और सम्मान की लड़ाई को आगे बढ़ाया गया है।

पंचायत चुनाव, विधानसभा चुनाव से पहले शक्ति प्रदर्शन

संकल्प दिवस को लेकर पूरे प्रदेश में तैयारियां तेज हैं। प्रत्येक जनपद में बैठकों का दौर चल रहा है और इंटरनेट मीडिया के माध्यम से व्यापक प्रचार किया जा रहा है। लखनऊ में आयोजन स्थल का चयन शीघ्र किया जाएगा। पार्टी पदाधिकारियों का कहना है कि यह महासंकल्प रैली न केवल शक्ति प्रदर्शन होगी, बल्कि 2026 के पंचायत चुनाव और 2027 के विधानसभा चुनाव से पहले समाज की एकता और संकल्प का संदेश भी देगी। संजय निषाद ने कहा कि जब तक समाज अपनी ताकत नहीं दिखाएगा, तब तक उसका खोया हुआ मान-सम्मान वापस नहीं मिलेगा।