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पूर्व विधायक व भाजपा नेता ने मंत्री को पत्र लिखकर याद दिलाया उनका काम

पूर्व विधायक मुन्नालाल गोयल (EX MLA MUNNA LAL GOYAL) ने लिखा ये वक्त मरीजों (PATIENTS) की जान बचाने का है, न कि सड़क सेनेटाइज (SENETIZE) करने का...

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ग्वालियर. ग्वालियर (GWALIOR) में कोरोना संकट (CORONA VIRUS) के बीच भाजपा नेता व पूर्व विधायक मुन्नालाल गोयल ने अपनी ही सरकार पर सवाल उठाए हैं। पूर्व विधायक मुन्नालाल गोयल ने एक मरीज की मौत के बाद प्रदेश के ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर (MINISTER PADYUMAN SINGH TOMAR) को पत्र (LETTER) लिखा है जिसमें उन्होंने मंत्री को उनका काम याद दिलाते हुए लिखा है कि मंत्री जी का काम सड़क सैनेटाइज करने का नहीं है बल्कि लोगों की जान बचाने का है और मंत्री जी को लोगों की जान बचानी चाहिए। अपने पत्र में मुन्नालाल गोयल ने जयारोग्य अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही उजागर करते हुए सवाल भी उठाए हैं।

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पत्र लिखकर मंत्री को याद दिलाया उनका काम
प्रदेश सरकार में ऊर्जा मंत्री और ग्वालियर जिले के कोविड प्रभारी मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर को लिखे पत्र में पूर्व विधायक और भाजपा नेता मुन्नालाल गोयल ने लिखा है कि कोरोना काल में पीड़ित मरीजों के इलाज में अस्पताल प्रबंधन की असंवेदनशीलता ने मुझे व्यथित किया है। उन्होंने आगे लिखा कि मंत्री जी ये समय सड़कों को सेनेटाइज करने का नहीं..सेनेटाइजेशन का काम नगर निगम का है और उन्हें सौंप दें..यह वक्त कोरोना मरीजों की जान बचाने का है। आप इतने व्यस्त हैं कि कोरोना संकट में कार्यकर्ताओं से चर्चा करने की भी आपको फुर्सत नहीं है। बता दें कि बीते कुछ दिनों से मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर खुद अपने विधानसभा क्षेत्र में गली मोहल्लों व बाजारों में जाकर सेनेटाइजेशन कर रहे हैं।

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जयारोग्य अस्पताल में हुई मरीज की मौत ने व्यथित किया- मुन्नालाल गोयल
भाजपा नेता व पूर्व मंत्री मुन्ना लाल गोयल ने मंत्री को लिखे पत्र में जयारोग्य अस्पताल की व्यवस्थाओं पर भी सवाल उठाए। उन्होंने लिखा कि 28 अप्रैल को लाल सिंह कौशल नाम के एक मरीज को कमलाराजा अस्पताल में भर्ती किया गया था जहां उनसका ऑक्सीजन लेवल 90 प्रतिशत था। 2 मई को अस्पताल में ही उसका ऑक्सीजन लेवल घटकर 75 हो गया। तब से ही परिजन जयारोग्य अस्पताल प्रबंधन से वेंटीलेटर बेड की व्यवस्था करने की गुहार लगा रहा था। 5 मई को लाल सिंह का ऑक्सीजन लेवल घटकर 61 हो गया और मरीज के परिजन मदद की आस लिए मेरे पास आए। मैंने दोपहर 3 बजे जेएएच अधीक्षक को फोन कर चर्चा कर मरीज को वेंटीलेटर वेड उपलब्ध कराने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि वो व्यवस्था कर रहे हैं। उसी रात मरीज का ऑक्सीजन लेवल घटकर 50 रह गया। मुझे जानकारी मिली तो मैंने फिर से अधीक्षक डॉ. धाकड़ को फोन किया तब भी उनका जवाब वही था कि वो व्यवस्था कर रहे हैं। रात 10.30 बजे डीएम को मोबाइल पर फोन किया लेकिन फोन नहीं उठा और रात 11 बजे मरीज लाल सिंह की मौत हो गई। मुन्ना गोयल ने आरोप लगाते हुए लिखा कि जानकारी के अनुसार आईसीयू में वेंटीलेटर बेड खाली पर मरीज को उपलब्ध नहीं कराया गया जिससे उसकी मौत हो गई।

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