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Rajasthan: पुलिस की सुरक्षा में रखा 40,200 लीटर डीजल पानी में बदला, नीलामी करने पहुंची टीम हैरान

रसद विभाग के अधिकारी ने बताया कि सीज किए गए 40,200 लीटर डीजल को पुलिस अधिकारियों की निगरानी में सील किया गया था। आईजी ओमप्रकाश ने डीजल की सुरक्षा के लिए दो पुलिस कांस्टेबल की तैनाती की थी।

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Hanumangarh diesel

फोटो-पत्रिका

हनुमानगढ़। पल्लू क्षेत्र में हनुमानगढ़–सरदारशहर मेगा हाईवे पर स्थित गांव बिसरासर के पास महादेव होटल पर जून 2025 में पकड़े गए अवैध डीजल के मामले में बड़ा उलटफेर सामने आया है। लगभग छह महीने पहले जिस टैंक में 40,200 लीटर अवैध डीजल सीज कर पुलिस सुरक्षा में रखा गया था, वही डीजल अब नीलामी के समय पानी में बदला हुआ मिला।

मंगलवार को जब रसद विभाग की टीम नीलामी की प्रक्रिया शुरू करने मौके पर पहुंची, तो सील खोले जाने के बाद टैंक से निकले सैंपल में 80 प्रतिशत तक पानी निकला। यह देखकर मौजूद सभी अधिकारी दंग रह गए।

छह माह पहले था शुद्ध डीजल

22 जून को तत्कालीन बीकानेर आईजी ओमप्रकाश, एसपी हरिशंकर यादव और रसद विभाग के अधिकारियों ने महादेव होटल पर कार्रवाई कर अवैध भंडारण में रखा डीजल जब्त किया था। उस समय लिए सैंपल में शुद्ध डीजल पाया गया था और टैंक को पुलिस सुरक्षा में सील कर दिया गया था। निगरानी के लिए पल्लू थाने से दो कांस्टेबलों की नियमित ड्यूटी भी लगाई गई थी।

नीलामी टीम पहुंची तो गायब मिले पुलिसकर्मी

मंगलवार को नीलामी के लिए डीएसओ सुनील कुमार घोड़ेला, चुरू जिला रसद अधिकारी अंशुल तिवाड़ी सहित टीम मौके पर पहुंची। लेकिन आश्चर्य की बात यह रही कि निगरानी के लिए तैनात कांस्टेबल कुलदीप और प्रमोद कुमार मौके पर मौजूद ही नहीं थे। टीम ने दोनों को बुलवाया और उनके सामने टैंक की सील खोली गई। जैसे ही सैंपल लिया गया, टैंक से डीजल की जगह पानी निकला। इस पर अधिकारियों ने तुरंत नीलामी प्रक्रिया रोक दी और मामले को संदिग्ध मानते हुए उच्चाधिकारियों को रिपोर्ट भेजी।

पुलिस सुरक्षा में पानी कैसे पहुंचा?

डीएसओ घोड़ेला ने कहा कि टैंक को सील करते समय सबकुछ पुलिस निगरानी में हुआ था। फिर छह महीने बाद डीजल के स्थान पर पानी मिलना गंभीर सवाल खड़ा करता है। उन्होंने बताया कि नीलामी की सूचना पोर्टल और अखबारों के माध्यम से सार्वजनिक की गई थी, लेकिन मौके पर पुलिस कर्मियों की अनुपस्थिति भी संदिग्ध है।

पुलिस बोली- हमें सूचना ही नहीं दी

स्थानीय थाना प्रभारी सुरेश कुमार मील ने बताया कि रसद विभाग द्वारा उन्हें नीलामी की प्रक्रिया की कोई पूर्व सूचना नहीं दी गई। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि रसद विभाग ने मौके पर बैठकर पूर्व रिपोर्टें फाड़कर अपनी सुविधानुसार तीसरी रिपोर्ट बनाई और कांस्टेबलों के हस्ताक्षर करवाए। उन्होंने कहा कि टैंक में पानी कैसे आया, इसकी जिम्मेदारी तय करने के लिए निष्पक्ष जांच आवश्यक है।

जून की कार्रवाई

22 जून को आईजी बीकानेर रेंज की विशेष टीम ने महादेव होटल में अवैध 'केमिकल डीजल' बेचने वाले एक गुप्त पंप का खुलासा किया था। वहां से 40,200 लीटर डीजल, एक तेल टैंकर, पिकअप वाहन, डिजिटल मशीनें, लेन-देन का रजिस्टर और नकदी बरामद हुई थी। तीन व्यक्तियों को मौके से गिरफ्तार भी किया गया था।