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कार्डियो व्यायाम भी अधिक करने से हो सकती है दिक्कत

locationजयपुरPublished: Mar 18, 2021 04:30:37 pm

Submitted by:

Hemant Pandey

फिटनेस की जब बात होती है तो सबसे पहले वर्कआउट का नाम आता है। इसमें हार्ड कोर और लो इंटेंसिटी वर्कआउट है।

कार्डियो व्यायाम भी अधिक करने से हो सकती है दिक्कत

कार्डियो व्यायाम भी अधिक करने से हो सकती है दिक्कत

फिटनेस की जब बात होती है तो सबसे पहले वर्कआउट का नाम आता है। इसमें हार्ड कोर और लो इंटेंसिटी वर्कआउट है। इनमें भी सबसे ज्यादा कार्डियो किया जाता है। अधिकतर लोग कार्डियो इसलिए करते हैं क्योंकि उन्हें वजन कम करना होता है। असल में कार्डियो दिल और श्वसन प्रणाली को मजबूत करता है। इससे आपका हार्ट हैल्दी रहता है। यह हार्ट रेट को बढ़ाता है, जिससे काफी तेजी से कैलोरी बर्न होती व फैट कम होता है। जानते हैं कार्डियो के बारे में-
प्र दूषण ज्यादा होने से हृदय और फेफड़ों पर असर पड़ता है। कई बार इससे फेफड़ों में संक्रमण भी हो जाता है। इसका असर हृदय पर पड़ता है। जिनका दिल कमजोर होता है, उनकी सांस फूलने लगती है। इससे शरीर में पानी भर जाता है। इस स्थिति में भी वजन कम करने के लिए कोई व्यक्ति कार्डियो करता हे तो यह खतरनाक है। कई बार जानलेवा भी हो सकता है।
क्यों कार्डियो से हो
सकता है नुकसान
हा र्ट एक मिनट में 60-80 बार पंप करता है। कार्डियो से इसकी बीट डेढ़ गुना यानी 100-130 तक भी पहुंच जाती है। इसमें करीब 15 मिनट का भी समय होता है। इसमें ही तेजी से कैलोरी बर्न होती व वजन घटने की संभावना बढ़ती है। लेकिन जब जरूरत से ज्यादा कार्डियो करते हैं तो इसका नुकसान हार्ट की नसों पर होता है। अगर व्यक्ति ज्यादा कार्डियो करता है तो हार्ट बीट बढऩे से हृदय आघात का खतरा बढ़ जाता है।
शुरुआत में ऐसे करें
दि नभर में 10-15 मिनट के वर्कआउट से भी कार्डियो का लक्ष्य पा सकते हैं। इसके लिए नाश्ते से 10 मिनट पहले, लंच ब्रेक के दौरान 10 मिनट और रात के खाने के बाद 10 मिनट वॉक करेंगे तो भी अच्छा रहेगा। सुबह 15 मिनट और दोपहर में 15 मिनट भी टहल सकते हैं। यदि आप अभी शुरुआत कर रहे हैं तो धीरे-धीरे सप्ताह में 150 मिनट तक आएं। पहले से कर रहे हैं तो 30 मिनट भी कर सकते हैं।
इनका ध्यान रखें
टहलना, साइक्लिंग, स्क्वॉट, रस्सी कूदना आदि कार्डियो में आते हैं। कोई भी कार्डियो को करने से पहले 5-10 मिनट का वॉर्मअप जरूरी है। अपनी क्षमता के अनुसार धीरे-धीरे व्यायाम का स्तर बढ़ाएं। चार से छह हफ्तों के बाद एक व्यायाम और बढ़ाएं। टीएचआर यानी टार्गेट हार्ट रेट की अनदेखी न हो जाए। टार्गेट हार्ट रेट की गणना कर सकते हैं। इससे आपको पता रहेगा कि कितना हद तक व्यायाम करने पर आप अच्छा महसूस करते हैं।

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