
राष्ट्र संत कमल मुनि कमलेश ने गदग गौशाला का जायजा लिया। इस मौके पर जैन संघ के पदाधिकारी भी उपस्थित थे।
पशुधन का कोई विकल्प नहीं
इस अवसर पर यहां महावीर गौशाला गदग में राष्ट्र संत कमल मुनि कमलेश ने कहा कि पशुधन का कोई विकल्प नहीं है। हीरे पन्ने माणक मोती से कीमती है। इनकी रक्षा करने पर ही पर्यावरण की रक्षा संभव है।
कीटनाशक दवाइयों से जमीन खराब हो रही
राष्ट्रसंत में स्पष्ट कहा कि पशुधन नहीं बचा तो नकली दूध और घी से धर्मस्थल की पवित्रता नष्ट हो जाएगी। तिरुपति मंदिर की तरह धार्मिक आस्था के साथ खिलवाड़ होगा। जैन संत ने कहा कि खेतों में कीटनाशक दवाइयां और यूरिया आदि खाद से जमीन अनउपजाऊ हो रही है। कैंसर आदि रोगों की बाढ़ आ रही है। पंजाब में ध्यान आकर्षित करने के लिए कैंसर ट्रेन तक का नाम दिया गया है।
गौशाला में ढाई सौ गोवंश
महावीर गौसेवा समिति केे पदाधिकारियों ने बताया कि गौशाला में ढाई सौ गोवंश हैं। पांच एकड़ जमीन नई खरीदी जा रही है। गौशाला के अध्यक्ष अशोक फोलामूथा, कोषाध्यक्ष श्रवण बाघमार, सचिन पोरवाल, प्रवीण, शैलेंद्र शाह ने इसे रिसर्च सेंटर के रुप मे बनाने का संकल्प लिया।
कर्नाटक सरकार गौशालाओं के लिए दें अनुदान
मुनि ने कहा कि जंगली खूंखार जानवर के शिकार पर तो सरकार दंड देती है फिर पालतू पशु पर खंजर चलाने की इजाजत कैसे दे सकती है। उन्होंने कहा कि जब सरकार मत्स्य मंत्रालय बना सकती है तो गौ मंत्रालय क्यों नहीं बना सकती है। राजस्थान में अपने कार्यकाल में कांग्रेस की गहलोत सरकार ने गौशालाओं को बड़ी संख्या में अनुदा दिया। नंदी शाला को डेढ़ करोड़ रुपए प्रदान किया। ऐसे में कर्नाटक की कांग्रेस सरकार को भी गौशालाओं को अनुदान देने की दिशा में कदम बढाने चाहिए।
Published on:
04 Apr 2025 08:54 pm
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