
मालवा एक्सप्रेस में एसी की जगह स्लीपर कोच देखकर हक्के-बक्के रह गए यात्री, फिर हुआ ये...
इंदौर. मालवा एक्सप्रेस में एसी की जगह स्लीपर कोच जोडऩे से नाराज यात्रियों ने रेलवे स्टेशन पर जमकर हंगामा किया। इस दौरान उनकी रेलवे अधिकारियों से बहस भी हुई। शनिवार दोपहर 12.15 बजे जब मालवा एक्सप्रेस से जाने वाले यात्रियों को पता चला कि गाड़ी में अतिरिक्त एसी कोच के बजाय स्लीपर कोच जोडा गया है वे भडक़ गए। उन्होंने इसे रेलवे अधिकारियों की लापरवाही बताया। इधर, अधिकारियों का कहना था कि तकनीकी परेशानी की वजह से ट्रेन में स्लीपर कोच लगाया गया है।
डॉ. आंबेडकर नगर (महू) से चलने वाली मालवा एक्सप्रेस इंदौर स्टेशन पर 15 मिनट ठहरती है। ट्रेन इंदौर स्टेशन पहुंची तो यात्री बी-1 एसी कोच के बजाय स्लीपर कोच लगा देखकर हक्के-बक्के रह गए। इनमें अधिकतर यात्री शहर के बाहर के होने से लौट भी नहीं पा रहे थे। दिल्ली जा रहे परिवार ने बताया, रेलवे अफसरों ने इस संबंध में पूर्व में कोई सूचना नहीं दी। अब हम यात्रा निरस्त भी नहीं कर सकते। रेल अधिकारी सहयोग भी नहीं कर रहे। माता वैष्णो देवी के दर्शन को जाने वाले यात्रियों ने कहा, हमारा पूरा शेड्यूल फिक्स है, टे्रन कैसे छोड़ दें। रेलवे प्रवक्ता का कहना है कि बी-१ एसी कोच में तकनीकी खराबी के चलते नहीं लगाया जा सका। इसका अनाउंसमेंट कर दिया था।
बजट में राशि मिलने से महू-खंडवा और अकोला के बीच गेज परिवर्तन कार्य पकड़ेगा गति इमहू-खंडवा और अकोला गेज परिवर्तन काम में अब गति आएगी। शुक्रवार को केंद्र सरकार ने बजट में इसके लिए एकमुश्त 355 करोड़ की राशि दी है। बजट में इंदौर को कोई बड़ी सौगात नहीं मिली। लक्ष्मीबाई नगर से रतलाम दोहरीकरण के लिए राशि मिलने की उम्मीद थी, जो पूरी नहीं हुई।
रतलाम-इंदौर-महू-खंडवा-अकोला के बीच गेज परिवर्तन को बजट मिलने के बाद निर्माण कार्य में रफ्तार आएगी। रेल जानकारों की मानें तो रतलाम-अकोला गेज परिवर्तन प्रोजेक्ट को अनुमानित 355 करोड़ रुपए का बजट स्वीकृत हुआ है। हालांकि बजट की राशि स्पष्ट नहीं हो सकी है। पूर्व में रेलवे को गेज परिवर्तन के लिए 487 करोड़ रुपए का बजट दिया जा चुका है।
Published on:
07 Jul 2019 12:46 pm
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