
कैलाश को लगा झटका... हाथ से छूटा एक बड़ा विभाग
इंदौर। दो नंबरी भाजपाइयों के हाथ से नगर निगम का राजस्व विभाग चला गया। इसको लेकर भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय व उनके विधायक बेटे ने काफी प्रयास भी किया कि विभाग मनीष मामा को मिल जाए। अनुभव के आधार पर महापौर ने विभागों का वितरण किया। जबर्दस्त संतुलन बनाने में वे कामयाब भी रहे।
महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने एमआईसी सदस्यों के बीच विभागों का बंटवारा कर दिया। सबसे महत्वपूर्ण माने जाने वाले लोक निर्माण व उद्यान विभाग की कमान राजेंद्र राठौर के हाथ में दी गई, जिसके लिए कैलाश का खासा दबाव था। इस मामले में उनकी चल गई, लेकिन समर्थक मनीष शर्मा उर्फ मामा को राजस्व दिलाने में वे सफल नहीं हुए। ये विभाग निरंजनसिंह चौहान को दिया गया। इसके लिए कैलाश के साथ बेटे आकाश भी दबाव बना रहे थे कि तीन नंबर को महत्वपूर्ण विभाग दिया जाए।
चौंकाने वाली बात ये है कि अधिकांश समय ये विभाग उनके समर्थकों के पास ही रहा है। कैलाश जब महापौर थे, तब उनके खास रहे ललित पोरवाल के पास था। रमेश मेंदोला को दिया जाना लगभग तय हो गया था, लेकिन बाद में छीनकर उन्हें दिया गया था। उमाशशि शर्मा के महापौर काल में शंकर यादव व सपना चौहान के पास रहा। कृष्णमुरारी मोघे के कार्यकाल में चंदू शिंदे प्रभारी थे तो मालिनी गौड़ के समय सूरज कैरो के हाथ में कमान थी। कुल मिलाकर उनके इर्द-गिर्द ही विभाग रहता था। एमआईसी का सबसे महत्वपूर्ण व आरामदायक विभाग है। इस विभाग का जाना विजयवर्गीय के लिए करारा झटका भी है।
सुदर्शन रहे फायदे में
एक नंबर विधानसभा से दोनों एमआईसी सदस्यों को अच्छा विभाग मिला। निरंजनसिंह चौहान को राजस्व विभाग सौंपा गया तो अश्विनी शुक्ल को स्वास्थ्य विभाग की जिम्मेदारी दी गई। स्वच्छता में पांच बार नंबर वन आने के बाद इस विभाग का महत्व और भी बढ़ गया है। इसके अलावा बबलू शर्मा को भी जल कार्य विभाग दिया गया, जो बड़े विभागों में से एक है। इधर, पांच नंबर से राजेश उदावत को योजना व सूचना प्रौद्योगिकी विभाग दिया।
ये विभाग लोक निर्माण का हिस्सा होता था, जिसमें मकान के नशे से लेकर तमाम काम शामिल हैं। विधायक रमेश मेंदोला के समर्थक जीतू यादव को वर्कशॉप व विद्युत विभाग दिया गया। शहर में लग रही स्ट्रीट लाइट और निगम की गाडिय़ों का बड़ा भारी लवाजमा उसमें आता है। इधर, चार नंबर के राकेश जैन व प्रिया डांगी को साधारण विभाग दिए गए। जैसी कि पहले ही आशंका जताई जा रही थी।
इस तरह किया गया विभागों का बंटवारा
राजेंद्र राठौर (लोक निर्माण व उद्यान विभाग), अश्विनी शुक्ल (स्वच्छता एवं ठोस अपशिष्ट प्रबंधन), निरंजन सिंह चौहान (राजस्व विभाग), राजेश उदावत (योजना एवं सूचना प्रौद्योगिकी), बबलू शर्मा (जलकार्य व सीवरेज), नंदकिशोर पहाडिय़ा (सामान्य प्रशासन विभाग), प्रिया डांगी (वित्त एवं लेखा विभाग), मनीष शर्मा (शहरी गरीबी उपशमन), जीतू यादव (विद्युत एवं यांत्रिकी विभाग), राकेश जैन (यातायात व परिवहन विभाग)।
Published on:
25 Aug 2022 10:48 am
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