scriptAGR Due Case : सरकार और टेलीकॉम कंपनियों को फटकर, एमडी पहुंचेंगे SC के दरबार | SC take strong note over agr payment on telecom companies and Govt | Patrika News
उद्योग जगत

AGR Due Case : सरकार और टेलीकॉम कंपनियों को फटकर, एमडी पहुंचेंगे SC के दरबार

एजीआर मामले में सुप्रीम कोर्ट हुआ सख्त, अभी तक क्यों नहीं हुआ भुगतान
बकाएदार कंपनियों के मैनेजिंग डायरेक्टर्स को जारी हुआ अवमानना का नोटिस
17 मार्च को सुप्रीम कोर्ट में होंगे तलब, चुकाने हैं 1.47 लाख करोड़ रुपए का बकाया

Feb 14, 2020 / 05:17 pm

Saurabh Sharma

Supreme Court Recruitment 2019

Supreme Court Recruitment 2019

नई दिल्ली। एडजस्टेड ग्रॉस रेवेन्यू के बकाए मामले में सुप्रीम कोर्ट ने सरकार और टेलीकॉम कंपनियों की जमकर क्लास ली है। मामले की सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि सरकार के अधिकारी सुप्रीम कोर्ट से ऊपर हैं। वहीं कोर्ट ने टेलीकॉम कंपनियों के मैनेजिंग डायरेक्टर्स को अवमानना का नोटिस जारी करते हुए 17 मार्च को कोर्ट में हाजिर होने के लिए कहा है। साथ कंपनियों से अभी तक बकाया ना चुकाने का कारण भी पूछा है। आपको बता दें कि देश की टेलीकॉम कंपनियों एयरटेल, वोडाफो आईडिया और टाटा टेलिसर्विसेज आदि पर 1.47 लाख करोड़ रुपए का बकाया है।

यह भी पढ़ेंः- गैस सिलेंडर की महंगाई पर सरकार का मरहम, अब दोगुनी मिलेगी सब्सिडी

डॉट और कंपनियों को फटकर
सुप्रीम कोर्ट ने डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकॉम को डांट लगाते हुए पूछा कि आखिर विभाग ने भुगतान ना करने वाली कंपनियों पर कार्रवाई ना करने का नोटिफिकेशन जारी किया कैसे? सुप्रीम कोर्ट को ताज्जुब हुआ कि आदेश जारी होने के बाद भी अभी तक किसी भी कंपनी ने एजीआर की रकम जमा नहीं कराई है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि विभाग में बैठा डेस्क अधिकारी अटॉर्नी जनरल और अन्य संवैधानिक प्राधिकरणों पत्र लिखकर कैसे बोल सकता है कि टेलीकॉम कंपनियों पर भुगतान के लिए जोर नहीं दिया जाना चाहिए। क्या सरकारी विभाग का अफसर सुप्रीम कोर्ट से भर बड़ा हो गया है। अगर ऐसा है तो कोर्ट को बंद कर दीजिए। कोर्ट ने परेशानी भरे लहजे में कहा कि एजीआर मामले में समीक्षा याचिका खारिज कर दी, लेकिन इसके बाद भी एक भी पैसा जमा नहीं हुआ। देश में जिस तरह से चीजें हो रही हैं, इससे हमारी अंतरआत्मा हिल गई है।

यह भी पढ़ेंः- आरटीआई में खुलासा, 9 महीनों में बैंकों को 1.17 लाख करोड़ रुपए का चूना

आखिर कौन बेतुकी हरकतें कर रहा है
सुप्रीम कोर्ट की पीठ इस मामले में काफी गुस्से में देखी गई। पीठ ने यहां तक कह डाला कि उन्हें नहीं पता कि कौन ऐसी हरकतों को अंजाम दे रहा है। क्या देश में कानून नाम की कोई चीज नहीं है? बेहतर है कि इस देश में न रहा जाए और देश छोड़ दिया जाए।Ó आपको बता दें पूरे मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति अरुण मिश्रा, न्यायमूर्ति एस. अब्दुल नजीर और न्यायमूर्ति एम.आर.शाह की पीठ कर रही थी। उच्चतम न्यायालय ने एजीआर बकाए को लेकर सुनवाई करते हुए टेलीकॉम कंपनियों और कुछ अन्य कंपनियों को एजीआर का 1.47 लाख करोड़ रुपए का भुगतान करने का आदेश दिया था। जिसकी लास्ट डेट 23 जनवरी थी।

यह भी पढ़ेंः- शेयर बाजार में अमरीका चीन ट्रेड डील और कोराना वायरस का मिक्स्ड इंपैक्ट, सेंसेक्स में 84 अंकों की बढ़त

किस कंपनी पर कितना बकाया
सुप्रीम कोर्ट ने अक्टूबर 2019 में सरकार द्वारा टेलिकॉम कंपनियों से उन्हें मिलने वाले एवरेज ग्रॉस रेवेन्यू पर मांगे गए शुल्क को जायज ठहराते हुए वोडाफोन आइडिया लिमिटेड पर 53,038 करेाड़ रुपए चुकाने को कहा था। इसमें 24,729 करोड़ रुपये का स्पेक्ट्रम बकाया और 28,309 करोड़ रुपये लाइसेंस शुल्क शामिल हैं। वहीं, एयरटेल पर 35586 करोड़ रुपए का बकाया है। बाकी रकम दूसरी कंपनियों पर है।

Home / Business / Industry / AGR Due Case : सरकार और टेलीकॉम कंपनियों को फटकर, एमडी पहुंचेंगे SC के दरबार

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो