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Patrika Exclusive: नक्सल मोर्चे पर सबसे बड़ी सफलता से उत्साहित फोर्स, बारिश से पहले क्लीन स्वीप का काउंटडाउन

Patrika Exclusive: फोर्स ने तय कर लिया है कि नक्सल के खिलाफ चल रही निर्णायक लड़ाई का बड़ा हिस्सा बारिश से पहले पूरा कर लिया जाएगा।

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Patrika Exclusive: नक्सल मोर्चे पर सबसे बड़ी सफलता से उत्साहित फोर्स, बारिश से पहले क्लीन स्वीप का काउंटडाउन

Patrika Exclusive: @आकाश मिश्रा नक्सल मोर्चे पर छत्तीसगढ़ सरकार की मंशा अब स्पष्ट हो चुकी है। सरकार ने फोर्स के आला अधिकारियों से कह दिया है कि चुन-चुनकर खात्मा करें। अब बस्तर के जंगल में मौजूद एक भी नक्सली का बचना मुश्किल है। नक्सलियों के जनरल सेक्रेट्री बसव राजू के खात्मे के बाद फोर्स का मनोबल बढ़ा हुआ है। सूत्र बता रहे हैं कि फोर्स ने तय कर लिया है कि नक्सल के खिलाफ चल रही निर्णायक लड़ाई का बड़ा हिस्सा बारिश से पहले पूरा कर लिया जाएगा।

यह भी पढ़ें: CG Naxal Operation: Video: नक्सल ऑपरेशन को लेकर CM का बड़ा बयान, कहा- बसवा राजू के मारे जाने से नक्सलवाद की टूट गई है कमर…

1 जुलाई की टाइमलाइन तय की गई है। इससे पहले फोर्स बस्तर के जंगलों को पूरी तरह से स्कैन करेगी। अबूझमाड़ से लेकर इंद्रावती टाइगर रिजर्व तक के इलाके फोर्स के निशाने पर हैं। इन इलाकों को अब तक सेफ समझ रहे नक्सली भी जान चुके हैं कि अब बचना मुश्किल है। यही कारण है कि वे बाहर निकलने की कोशिश कर रहे हैं और मारे जा रहे हैं।

डीआरजी जवानों में कई पूर्व नक्सली

बस्तर में अब तक हुए बड़े एनकाउंटर को लेकर अब एक मॉडल सामने आ रहा है। यह मॉडल सरेंडर से सर्वनाश का है। इसके तहत सरेंडर करने वाले पूर्व नक्सली ही अब नक्सलियों का काल बन रहे हैं। सरेंडर के बाद डीआरजी यानी डिस्ट्रिक्ट रिजर्व फोर्स ज्वाइन करने वाले जवानों को मिली सफलता का प्रतिशत इस साल सबसे अधिक है। इसके अलावा सरेंडर करने वाले कई पूर्व नक्सलियों के इनपुट्स ने भी सफलता दिलाई है। बसव राजू के मामले में उसका पूर्व गनमैन ही फोर्स का एसेट बना और उससे मिले पिन पॉइंट इनपुट्स ने राजू के सफाए की स्क्रिप्ट लिख दी।

टॉप लीडरशीप में अब यह फोर्स के निशाने पर

पिछले महीने बीजापुर के कर्रेगुट्टा पहाड़ी पर शुरू हुए ऑपरेशन के बाद यह बात सामने आई कि नक्सलियों की टॉप लीडरशीप पहाड़ी पर घिर गई है, पर बड़े नक्सल लीडर्स को छोटे लड़ाकों का कवर मिला और वे पहाड़ी से नीचे आ गए और सुरक्षित इलाकों में पहुंच गए। अब वही नक्सली फोर्स के निशाने पर हैं। इनके खात्मे के लिए ही बारिश के पूर्व का लक्ष्य तय किया गया है। माड़वी हिड़मा, देवा बारसे, दामोदर, गुडसा उसेंडी जैसे कई बड़े नक्सल लीडर्स का मूवमेंट इस वक्त अबूझमाड़ से इंद्रावती टाइगर रिजर्व के बीच मौजूद है, जिन्हें ट्रैप करने का प्रयास जारी है।

यूएन से शिकायत की तैयारी

एक तरफ फोर्स लगातार नक्सलियों का सफाया कर रही है तो दूसरी ओर कुछ मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने छत्तीसगढ़ में चल रहे ऑपरेशन कगार पर सवाल खड़े करते हुए कहा है कि बस्तर में नक्सली नहीं, आदिवासी मर रहे हैं। अब तक 400 आदिवासियों के मारे जाने का आरोप लगाते हुए मानवाधिकार कार्यकर्ता यूएन से पूरे मामले की शिकायत की तैयारी में हैं।

बसव राजू पर ही था 10 करोड़ रुपए का इनाम

अबूझमाड़ में बुधवार को हुए देश के सबसे बड़े नक्सल एनाकाउंटर में अब तक के सबसे महंगे नक्सली मारे गए हैं। मुठभेड़ में 27 नक्सली मारे इन सभी पर 12 करोड़ 33 लाख रुपए का ईनाम था। देश के सबसे बड़े नक्सली और नक्सलियों के जनरल सेक्रेटरी बसव राजू पर ही अकेले 10 करोड़ का इनाम था। देश के अलग-अलग राज्यों का वह मोस्ट वांटेड था और उन राज्यों ने उस पर करोड़ों का इनाम घोषित किया था। मुठभेड़ में पांच नक्सली तेलंगाना के और बाकी सभी बस्तर के अलग-अलग जिलों के मारे गए हैं। सभी का शव गुरुवार को अबूझमाड़ से नारायणपुर जिला मुख्यालय पहुंचा। हेलीकॉप्टर के जरिए शवों को लाया गया। सुरक्षा के लिहाज से ऐसा किया गया।

तुमरेल में कोबरा जवान शहीद, नक्सली ढेर

नक्सलियों की मौजूदगी की सूचना पर सुकमा व बीजापुर के सीमावर्ती तुमरेल में कोबरा, जिला सुकमा डीआरजी व एसटीएफ की संयुक्त पार्टी सर्च अभियान में रवाना हुई थी। अभियान के दौरान टीम गुरुवार की सुबह तुमरेल के जंगल से गुजर रही थी। यहां घात लगाए नक्सलियों ने सुरक्षाबलों पर गोलीबारी शुरू कर दी। दोपहर बाद जब फायरिंग थमी तो पुलिस ने इलाके की सर्चिंग की। यहां पर एक शव बरामद हुआ। शव की शिनाख्त नहीं हो सकी है। इस भीषण गोलीबारी में 210 वाहिनी कोबरा टीम के भी विक्रांत राणा, महादेव व एंटोनी राज व मेहुल सोलंकी सहित चार जवान घायल हो गए। उपचार के दौरान जवान मेहुल सोलंकी शहीद हो गए।

12 करोड़ 33 लाख का इनाम

डीआरजी ने बुधवार को ऑपरेशन में बसव राजू समेत 27 नक्सलियों को ढेर कर दिया था। अब उनकी शिनाख्त हो गई है। बसवराजू को मिलाकर इन पर कुल 12 करोड़ 33 लाख का इनाम घोषित था।

नंबाला केशव राव/बसव राजू

जंगू नवीन/मधु

रोषन/टीपू/महेश/अनित

सोमली/सजन्तिन/हिडमे

संगीता भूमिका

उंगा/नवीन/गुड्डु माडवी

बुच्ची/बसंती/रामे मुचाकी

उगेन्द्र/विवेक

बीमे/भीमे/मासे माडवी

रवि वण्डो गीता

जुगो/जमुना पोडियाम

विज्जा उर्फ लालसू उरसा

छोटी उर्फ रेशमा पोडियाम

कोसी उर्फ क्रांति माडवी

ईडमे उर्फ सनकी मुचाकी

सूर्या उर्फ संतु ताती

कोसा उर्फ नागेश होड़ी

राजू ओयाम सुनील

बदरू ओढ़ी

मंडको उर्फ सरिता

राजेश तेलम उर्फ जिला

आयते उर्फ रागो वेको

कल्पना अवलम उर्फ एडो

नंदू उर्फ निलेश मण्डावी