जयपुर

UPSC Success Story: 9वीं कक्षा में चली गई थी आंखों की रोशनी, मां बनी आंखों की ज्योति; जयपुर के मनु ने 91वीं रैंक लाकर रचा इतिहास

UPSC Success Story: तकनीक का सही इस्तेमाल किया जाए तो यह जीवन में उपयोगी साबित हो सकती है। यूपीएससी फाइनल रिजल्ट में जयपुर के 23 साल के दृष्टिहीन मनु गर्ग ने 91 वीें रैंक हासिल करके यह साबित कर दिया।

2 min read
Apr 23, 2025

UPSC Success Story: जयपुर। तकनीक का सही इस्तेमाल किया जाए तो यह जीवन में उपयोगी साबित हो सकती है। यूपीएससी फाइनल रिजल्ट में जयपुर के 23 साल के दृष्टिहीन मनु गर्ग ने 91 वीें रैंक हासिल करके यह साबित कर दिया। शास्त्री नगर निवासी मनु गर्ग ने बिना ब्रेल लिपि जाने यूपीएससी क्लीयर कर दिया। मनु का कहना है कि उन्हें ब्रेल लिपि नहीं आती। लेकिन उन्होंने यूपीएससी क्लीयर के लिए तकनीकी का इस्तेमाल किया।

उन्होंने बताया कि तकनीक बहुत एडंवास हो गई है। उन्होंने कुछ ऐसे सॉफ्टवेयर के जरिए पढ़ाई की, जो उन्हें पढ़कर सुनाते थे। इसी तकनीकी के सहारे उन्होंने तैयारी की। मनु नेे बताया कि नौंवी कक्षा में उनकी आंखों की रोशनी चली गई। इसके बाद मां ने हिम्मत दी। मां आंखों की ज्योति बनी और मुझे आगे बढ़ाया।

यह वीडियो भी देखें

दूसरे प्रयास में मिली सफलता

मनु ने बताया कि उन्हें दूसरे प्रयास में सफलता मिली है। पहले प्रयास में असफल रहे, लेकिन इससे उन्हें प्रेरणा मिली। उन्होंने बताया कि बचपन में पहली बार चार साल का था तब आईएएस नाम सुना। तभी से यूपीएएससी क्लीयर करने की ठान ली। आईएएस बनने के बाद मैं समाज का उद्दार कर सकता हूं साथ ही खुद का पर्सनिलिटी डवलपमेंट भी कर सकता हूं। जब भी हताश हुआ परिवार मेरी हिम्मत बना।

घंटे नहीं देखता बस टॉपिक क्लीयर करता रहता

मनु ने बताया कि तैयारी के दौरान यह नहीं देखा कि कितने घंटे पढ़ाई कर रहा हूं। बस जिस टॉपिक को क्लीयर करने बैठता तब तक नहीं उठता जब तक क्लीयर नहीं हो जाता। चाहे इसे क्लीयर करने में रात के दो ही क्यों नहीं बज जाते। मनु जेएनयू से पीएचडी कर रहे हैं।


यह भी पढ़ें

Also Read
View All

अगली खबर