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ब्रज होली महोत्सव एक मार्च से, पर्यटन को मिलेगा नया आयाम

राजस्थान की संस्कृति को देश्भर में नई पहचान दिलाने के लिए पर्यटन विभाग की ओर से मेले—उत्सवों को खास बनाया जा रहा है।

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ब्रज होली महोत्सव एक मार्च से, पर्यटन को मिलेगा नया आयाम

ब्रज होली महोत्सव एक मार्च से, पर्यटन को मिलेगा नया आयाम

राजस्थान की संस्कृति को देश्भर में नई पहचान दिलाने के लिए पर्यटन विभाग की ओर से मेले—उत्सवों को खास बनाया जा रहा है। ताकि प्रदेश के पर्यटन को नए आयाम मिल सके। इस कड़ी में फाल्गुन मास में पुष्कर मेले के साथ ही अब पर्यटन विभाग और भरतपुर जिला प्रशासन की ओर से भरतपुर, डीग और कामां में एक से तीन मार्च तक ब्रज होली महोत्सव आयोजित होगा। राजस्थानी सांस्कृतिक संध्या, श्रीराम भारतीय कला केंद्र, नई दिल्ली की ओर से श्रीकृष्ण की जीवनी पर आधारित नाट्य मंचन और बरसाना के माधवॉज रॉक बैंड की ओर से भक्ति संध्या आकर्षण का केंद्र रहेगी।

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महोत्सव में देशी और विदेशी पर्यटक

महोत्सव में देशी और विदेशी पर्यटकों को होली के कई रंग गुलालगोटा, गुलाल होली, कुंज, दूध-दही, लड्डू, फूलों की होली और लट्ठमार होली के रूप में देखने को मिलेंगे। एक मार्च को डीग के मेला मैदान में खेलकूद प्रतियोगिताओं में रस्साकशी, कबड्डी, मटका दौड़, नींबू दौड़ सहित दादा-पोता दौड़ होगी। डीग महल परिसर में दोपहर में मेहंदी, रंगोली और मूंछ प्रतियोगिता के बाद लोक कलाकारों की शानदार मनमोहक प्रस्तुतियां होंगी और शाम को श्रीकृष्ण की जीवनी पर आधारित नाटक का मंचन होगा। विभागीय अधिकारियों के मुताबिक देश—विदेश से आने वाले सैलानियों को प्रदेश की पर्यटन संस्कृति के बारे में जानकारी भी दी जाएगी। सोशल नेटवर्क पर हर गतिविधि से सैलानियों को जोड़ा जाएगा। विभाग ने इसकी तैयारियां भी शुरू की है। इसके साथ ही थीम के मुताबिक अलग—अलग दिन कार्यक्रम खास होंगे। यात्रियोंं की सुविधा के मद्देनजर एक अलग से टीम भी गठित की है।

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होली तक बनी रहेगी मेहमानों की आवाजाही

इधर पुष्कर की होली ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी अलग पहचान कायम की है। प्रतिवर्ष हजारों विदेशी पर्यटक केवल होली खेलने के लिए ही पुष्कर आते हैं। लेकिन बीते दो साल कोरोना के कारण होली पर विदेशी पर्यटक नहीं आ सके।


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